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डंकन जोनाथन [[ईस्ट इंडिया कम्पनी]] की सेवा में 1772 ई. में [[भारत]] आया था। उसे 1778 ई. में [[बनारस]] स्थित रेजीडेण्ट एवं सुपरिण्टेण्डेण्ट बनाया गया, जहाँ पर डंकन जोनाथन ने प्रशासन का सुधार और शिशुबलि की कुप्रथा का निवारण किया। बाद में 1795 से 1811 ई. तक डंकन जोनाथन [[बम्बई]] का गवर्नर रहा और [[काठियावाड़]] में भी प्रचलित शिशुबलि की कुप्रथा का निवारण किया। इस प्रकार डंकन जोनाथन ने एक महत्त्वपूर्ण सामाजिक सुधार का श्रीगणेश किया। बम्बई के गवर्नर की हैसियत से डंकन जोनाथन ने चतुर्थ मैसूर युद्ध (1799 ई.) और दूसरे मराठा युद्ध (1803-05 ई.) में महत्त्वपूर्ण भूमिका अदा की। [[मिस्र]] के विरुद्ध बैर्ड के अभियान (1801 ई.) को संगठित करने तथा [[गुजरात]] एवं काठियावाड़ में शान्ति स्थापित करने में भी डंकन जोनाथन ने विशेष योगदान दिया। उसकी कब्र पर लगे पत्थर में ठीक ही लिखा है कि वह 'सज्जन' और 'न्यायिक' व्यक्ति था।
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डंकन जोनाथन [[ईस्ट इंडिया कम्पनी]] की सेवा में 1772 ई. में [[भारत]] आया था। उसे 1778 ई. में [[बनारस]] स्थित रेजीडेण्ट एवं सुपरिण्टेण्डेण्ट बनाया गया, जहाँ पर डंकन जोनाथन ने प्रशासन का सुधार और शिशुबलि की कुप्रथा का निवारण किया। बाद में 1795 से 1811 ई. तक डंकन जोनाथन [[बम्बई]] का गवर्नर रहा और [[काठियावाड़]] में भी प्रचलित शिशुबलि की कुप्रथा का निवारण किया। इस प्रकार डंकन जोनाथन ने एक महत्त्वपूर्ण सामाजिक सुधार का श्रीगणेश किया। बम्बई के गवर्नर की हैसियत से डंकन जोनाथन ने चतुर्थ मैसूर युद्ध (1799 ई.) और दूसरे मराठा युद्ध (1803-05 ई.) में महत्त्वपूर्ण भूमिका अदा की। [[मिस्र]] के विरुद्ध बैर्ड के अभियान (1801 ई.) को संगठित करने तथा [[गुजरात]] एवं काठियावाड़ में शान्ति स्थापित करने में भी डंकन जोनाथन ने विशेष योगदान दिया। उसकी क़ब्र पर लगे पत्थर में ठीक ही लिखा है कि वह 'सज्जन' और 'न्यायिक' व्यक्ति था।
 
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11:08, 6 अप्रैल 2011 का अवतरण

डंकन जोनाथन ईस्ट इंडिया कम्पनी की सेवा में 1772 ई. में भारत आया था। उसे 1778 ई. में बनारस स्थित रेजीडेण्ट एवं सुपरिण्टेण्डेण्ट बनाया गया, जहाँ पर डंकन जोनाथन ने प्रशासन का सुधार और शिशुबलि की कुप्रथा का निवारण किया। बाद में 1795 से 1811 ई. तक डंकन जोनाथन बम्बई का गवर्नर रहा और काठियावाड़ में भी प्रचलित शिशुबलि की कुप्रथा का निवारण किया। इस प्रकार डंकन जोनाथन ने एक महत्त्वपूर्ण सामाजिक सुधार का श्रीगणेश किया। बम्बई के गवर्नर की हैसियत से डंकन जोनाथन ने चतुर्थ मैसूर युद्ध (1799 ई.) और दूसरे मराठा युद्ध (1803-05 ई.) में महत्त्वपूर्ण भूमिका अदा की। मिस्र के विरुद्ध बैर्ड के अभियान (1801 ई.) को संगठित करने तथा गुजरात एवं काठियावाड़ में शान्ति स्थापित करने में भी डंकन जोनाथन ने विशेष योगदान दिया। उसकी क़ब्र पर लगे पत्थर में ठीक ही लिखा है कि वह 'सज्जन' और 'न्यायिक' व्यक्ति था।


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