अनुपलब्धि
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अनुपलब्धि (स्त्रीलिंग) [उप+लभ+क्तिन्, न. त]
- पहचान न होना, प्राप्ति न होना, न मिलना, प्रत्यक्ष न होना, मीमांसकों की दृष्टि में ज्ञान का एक साधन, परन्तु नैयायिकों की दृष्टि में नहीं।[1]
इन्हें भी देखें: संस्कृत-हिन्दी शब्दकोश (संकेताक्षर सूची), संस्कृत-हिन्दी शब्दकोश (संकेत सूची) एवं संस्कृत-हिन्दी शब्दकोश
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टीका टिप्पणी और संदर्भ
- ↑ संस्कृत-हिन्दी शब्दकोश |लेखक: वामन शिवराम आप्टे |प्रकाशक: कमल प्रकाशन, नई दिल्ली-110002 |पृष्ठ संख्या: 44 |
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