असाम्प्रत

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असाम्प्रत (विशेषण) [नञ्‌ तत्पुरुष समास]

1. अनुपयुक्त, अशोभन, अनुचित,-तम् (अव्य.) अनुचित रूप से, अयोग्यतापूर्वक [क्रियाविशेषण के रूप में बहुधा प्रयुक्त]-असांप्रत, विषवृक्षोऽपि संवर्ध्य स्वयं छेत्तुमसाम्प्रतम्‌[1], सम्प्रत्यसाम्प्रतं वक्तुमुक्तं मुसलपाणिना[2][3]


इन्हें भी देखें: संस्कृत-हिन्दी शब्दकोश (संकेताक्षर सूची), संस्कृत-हिन्दी शब्दकोश (संकेत सूची) एवं संस्कृत-हिन्दी शब्दकोश


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. -कु. 2/55
  2. -शि. 2/71, रघु. 8/60
  3. संस्कृत-हिन्दी शब्दकोश |लेखक: वामन शिवराम आप्टे |प्रकाशक: कमल प्रकाशन, नई दिल्ली-110002 |पृष्ठ संख्या: 139 |

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