तिस्ता नदी तिब्बत के पठार के दक्षिणी छोर से निकलकर सिक्किम राज्य, दार्जिलिंग एवं जलपाईगुड़ी ज़िलों में दक्षिण-पूर्व दिशा में प्रवाहित होती हुई पूर्वी पाकिस्तान के रंगपुर ज़िले में ब्रह्मपुत्र नदी में मिल जाती है। 18वीं शताब्दी के उत्तरार्ध तक इसका संगम गंगा नदी से होता रहा, किंतु सन 1787 ई. की बाढ़ में इसकी धारा दक्षिण-पूर्व को मुड़कर ब्रह्मपुत्र नदी में मिल गई।
- 'तिस्ता नदी' ब्रह्यपुत्र की सहायक नदी है। यह सिक्किम व पश्चिम बंगाल (भारत) और बांग्लादेश से होकर बहती है।[1]
- इस नदी का उद्गम हिमाचल प्रदेश में चुंथांग के पास है।
- तिस्ता नदी दक्षिण की ओर दार्जिलिंग, हिमाचल से होकर बहती हुई एक गहरा खड्ड कटती हुई और दक्षिण-पूर्व की ओर मुड़कर शिवोकगोता दर्रे से होती हुई पश्चिम बंगाल के मैदानों को जाती है। इसके बाद बांग्लादेश के रंगपुर क्षेत्र को पार करके कुल 400 कि.मी. के जलमार्ग के बाद चिलमारी के नीचे ब्रह्मपुत्र नदी से मिलती है।
- नदी के निचले प्रवाह में प्राय: उग्र धारा परिवर्तन होता है। ब्रह्यपुत्र नदी से संगम के पास पथरीले तलछट और रेतीले दलदल के कारण इस नदी में परिवहन दुष्कर है।
- गंगा और ब्रह्यपुत्र के बीच में मैदानों को सिंचाई उपलब्ध कराने के लिए नदी परियोजना कार्यक्रम के अंतर्गत बरिंद क्षेत्र की तिस्ता बांध (बैराज) परियोजना बनाई गई है।
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वीथिका
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तिस्ता नदी
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तिस्ता नदी
टीका टिप्पणी और संदर्भ
- ↑ भारत ज्ञानकोश, खण्ड-2 |लेखक: इंदू रामचंदानी |प्रकाशक: एन्साइक्लोपीडिया ब्रिटेनिका प्राइवेट लिमिटेड, नई दिल्ली |संकलन: भारतकोश पुस्तकालय |पृष्ठ संख्या: 370 |
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