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==भारतीय इतिहास — पुनरावलोकन==
====ईसवीं/वर्ष====
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!क्रम
!ईसवी/वर्ष
!स्थान
!विवरण
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|[[शक]]<ref>हिन्द-पार्थियन</ref> शासक गोंडोफर्नीज का शासन,<br />
ईसाई धर्म प्रचार हेतु रोमन संत सेंट टामस का भारत में आगमन।
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|उत्तर-पश्चिमी भारत
|[[शक]] विम कडफिसस का राज्य।
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|[[कुषाण वंश]] के महानतम शासक [[कनिष्क]] का राज्यारोहण,<br />
उसके द्वारा [[शक संवत]] का प्रारम्भ।
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[[कनिष्क]] का शासनकाल,<br />
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एवं कुमारलाट के द्वारा '''कल्पमंदितिका''' की रचना।
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====ईसवीं वर्ष====
*14–13 – शक (हिन्द-पार्थियन) शासक गोंडोफर्नीज का शासन, ईसाई धर्म प्रचार हेतु रोमन संत सेंट टामस का भारत में आगमन।
*15 – कुषाणों (यू-ची का तोचारियन) का भारत में प्रवेश।
*64 – उत्तर-पश्चिमी भारत में शक विम कडफिसस का राज्य।
*78 – कुषाण वंश के महानतम शासक कनिष्क का राज्यारोहण, उसके द्वारा शक संवत् का प्रारम्भ।
*78–101 – कनिष्क का शासनकाल, चौथी बौद्ध संगीति का (कश्मीर में) आयोजन।
*100 – अश्वघोष द्वारा 'सौन्दरानन्द' तथा 'बुद्धचरित' एवं कुमारलाट के द्वारा 'कल्पमंदितिका' की रचना।
*109–132 – महानतम सातवाहन शासक गौतमीपुत्र शातकर्णी द्वारा राज्य विस्तार।
*150 – बघेलखण्ड, वाराणसी तथा आगे चलकर मथुरातक के क्षेत्र में भारशिव नागाओं की विभिन्न शाखाओं का राज्य।
*200–250 – सातवाहनों का पतन, महाराष्ट्र में आभीर, उत्तरी कनारा तथा मैसूर ज़िलों में कुन्तल और कटु, आन्ध्र में इक्ष्वाकु तथा विदर्भ में वाकाटकों की सत्ता स्थापित।
*225 – विंध्यशक्ति द्वारा वाकाटक शासन की स्थापना, अगले 272 वर्षों तक इस वंश का शासन।
*250 – नासिक में आभीरों द्वारा त्रैकुटकर वंश की स्थापना, अगले 250 वर्षों तक इस वंश का शान।
*320–335 – चन्द्रगुप्त प्रथम ने गुप्त वंश को स्थापित किया।

06:23, 26 जून 2011 के समय का अवतरण