"विजयादित्य": अवतरणों में अंतर

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
यहाँ जाएँ:नेविगेशन, खोजें
छो (Text replace - "{{लेख प्रगति" to "{{प्रचार}} {{लेख प्रगति")
No edit summary
 
(5 सदस्यों द्वारा किए गए बीच के 6 अवतरण नहीं दर्शाए गए)
पंक्ति 1: पंक्ति 1:
*[[विक्रमादित्य प्रथम]] की मृत्यु के बाद उसका पुत्र [[विनयादित्य]] [[वातापी कर्नाटक|वातापी साम्राज्य]] का स्वामी बना।
'''विजयादित्य''' (696 से 733 ई.), [[विनयादित्य]] का पुत्र एवं राजसिंहासन का उत्तराधिकारी था। उसके समय में [[चालुक्य साम्राज्य]] की शक्ति पुर्ण रूप से अक्षुण्ण बनी रही।  
*उसके समय में [[चालुक्य साम्राज्य]] की शक्ति अक्षुण्ण बनी रही।  
*उसके शासनकाल के अब तक लगभग 40 अभिलेख प्राप्त हो चुके हैं।
*विनयादित्य के बाद उसका पुत्र विजयादित्य और फिर [[विक्रमादित्य द्वितीय]] (733--744) वातापी के राजसिंहासन पर आरूढ़ हुए।
*अपने शासन के दौरान उसने लगभग चार प्रदेशों को जीता था, पर इसके विषय में स्पष्ट जानकारी का अभाव है।
 
*विजयादित्य का शासन काल [[ब्राह्मण]] धर्म के पुनरुत्थान एवं स्थापत्य तथा ललित कलाओं के विकास का काल था।
 
*उसने [[बीजापुर ज़िला|बीजापुर ज़िले]] के '[[पट्टडकल]]' नामक स्थान में 'विजयेश्वर शिव मंदिर' का निर्माण कराया था।
 
*उसकी बहन कुमकुम देवी ने 'लक्ष्मेश्वर' में 'आनेसेज्येयवसादि' नामक एक भव्य जैन मंदिर का निर्माण कराया।
*विजयादित्य पिता की भांति उसने 'श्रीपृथ्वीवल्लभ', 'महाराजाधिराज', 'परमेश्वर', 'सत्याश्रम', 'भट्टारक', 'साहसरसिक' तथा 'समस्त भुवनाश्रय' आदि का विरुद्ध धारण किया था।


{{प्रचार}}
{{प्रचार}}
पंक्ति 14: पंक्ति 15:
|शोध=
|शोध=
}}
}}
==टीका टिप्पणी और संदर्भ==
 
<references/>
==संबंधित लेख==
==संबंधित लेख==
{{चालुक्य राजवंश}}
{{चालुक्य साम्राज्य}}
{{भारत के राजवंश}}
 
[[Category:इतिहास_कोश]]
[[Category:इतिहास_कोश]]
[[Category:दक्षिण भारत के साम्राज्य]]
[[Category:दक्षिण भारत के साम्राज्य]]
[[Category:चालुक्य साम्राज्य]]
[[Category:चालुक्य साम्राज्य]]
__INDEX__
__INDEX__

07:35, 14 अप्रैल 2012 के समय का अवतरण

विजयादित्य (696 से 733 ई.), विनयादित्य का पुत्र एवं राजसिंहासन का उत्तराधिकारी था। उसके समय में चालुक्य साम्राज्य की शक्ति पुर्ण रूप से अक्षुण्ण बनी रही।

  • उसके शासनकाल के अब तक लगभग 40 अभिलेख प्राप्त हो चुके हैं।
  • अपने शासन के दौरान उसने लगभग चार प्रदेशों को जीता था, पर इसके विषय में स्पष्ट जानकारी का अभाव है।
  • विजयादित्य का शासन काल ब्राह्मण धर्म के पुनरुत्थान एवं स्थापत्य तथा ललित कलाओं के विकास का काल था।
  • उसने बीजापुर ज़िले के 'पट्टडकल' नामक स्थान में 'विजयेश्वर शिव मंदिर' का निर्माण कराया था।
  • उसकी बहन कुमकुम देवी ने 'लक्ष्मेश्वर' में 'आनेसेज्येयवसादि' नामक एक भव्य जैन मंदिर का निर्माण कराया।
  • विजयादित्य पिता की भांति उसने 'श्रीपृथ्वीवल्लभ', 'महाराजाधिराज', 'परमेश्वर', 'सत्याश्रम', 'भट्टारक', 'साहसरसिक' तथा 'समस्त भुवनाश्रय' आदि का विरुद्ध धारण किया था।


पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

संबंधित लेख