"पहेली 26 जुलाई 2017": अवतरणों में अंतर
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||[[चित्र:Mangal Panday.jpg|right|border|100px|मंगल पांडे]]'मंगल पांडे' का नाम '[[भारतीय स्वाधीनता संग्राम]]' में अग्रणी योद्धाओं के रूप में लिया जाता है, जिनके द्वारा भड़काई गई क्रांति की ज्वाला से [[अंग्रेज़]] [[ईस्ट इंडिया कंपनी]] का शासन बुरी तरह हिल गया था। [[मंगल पांडे]] की शहादत ने [[भारत]] में पहली क्रांति के बीज बोए थे। अंग्रेज़ सरकार ने उन पर मुक़दमा चलाकर [[6 अप्रैल]], [[1857]] को मौत की सज़ा सुनाई थी। [[ 8 अप्रैल]] का दिन [[मंगल पांडे]] की फ़ाँसी के लिए निश्चित किया गया। बैरकपुर के जल्लादों ने मंगल पांडे के पवित्र ख़ून से अपने हाथ रँगने से इनकार कर दिया। तब [[कलकत्ता]] से चार जल्लाद बुलाए गए। 8 अप्रैल, 1857 के [[सूर्य]] ने उदित होकर मंगल पांडे के बलिदान का समाचार संसार में प्रसारित कर | ||[[चित्र:Mangal Panday.jpg|right|border|100px|मंगल पांडे]]'मंगल पांडे' का नाम '[[भारतीय स्वाधीनता संग्राम]]' में अग्रणी योद्धाओं के रूप में लिया जाता है, जिनके द्वारा भड़काई गई क्रांति की ज्वाला से [[अंग्रेज़]] [[ईस्ट इंडिया कंपनी]] का शासन बुरी तरह हिल गया था। [[मंगल पांडे]] की शहादत ने [[भारत]] में पहली क्रांति के बीज बोए थे। अंग्रेज़ सरकार ने उन पर मुक़दमा चलाकर [[6 अप्रैल]], [[1857]] को मौत की सज़ा सुनाई थी। [[ 8 अप्रैल]] का दिन [[मंगल पांडे]] की फ़ाँसी के लिए निश्चित किया गया। बैरकपुर के जल्लादों ने मंगल पांडे के पवित्र ख़ून से अपने हाथ रँगने से इनकार कर दिया। तब [[कलकत्ता]] से चार जल्लाद बुलाए गए। 8 अप्रैल, 1857 के [[सूर्य]] ने उदित होकर मंगल पांडे के बलिदान का समाचार संसार में प्रसारित कर दिया और इस प्रकार [[भारत]] के एक वीर पुत्र ने आज़ादी के यज्ञ में अपने प्राणों की आहुति दे दी।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[मंगल पांडे]] | ||
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12:25, 27 जून 2017 के समय का अवतरण
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