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'''अतिपांडुकंबला''' सिद्ध शिला के दक्षिण के सिंहासन का नाम है। इस पर जैन [[तीर्थंकर]] बैठते हैं। [[जैन धर्म]] में प्रचलित इस शब्द का प्रयोग [[हिन्दी साहित्य]] में किया गया है।  
'''अतिपांडुकंबला''' सिद्ध शिला के [[दक्षिण दिशा|दक्षिण]] के सिंहासन का नाम है। इस पर जैन [[तीर्थंकर]] बैठते हैं। [[जैन धर्म]] में प्रचलित इस शब्द का प्रयोग [[हिन्दी साहित्य]] में किया गया है।  


==टीका टिप्पणी और संदर्भ==
==टीका टिप्पणी और संदर्भ==

13:40, 12 अप्रैल 2018 के समय का अवतरण

अतिपांडुकंबला सिद्ध शिला के दक्षिण के सिंहासन का नाम है। इस पर जैन तीर्थंकर बैठते हैं। जैन धर्म में प्रचलित इस शब्द का प्रयोग हिन्दी साहित्य में किया गया है।

टीका टिप्पणी और संदर्भ

  • पुस्तक- पौराणिक कोश |लेखक- राणा प्रसाद शर्मा | पृष्ठ संख्या- 561

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जैन धर्म शब्दावली

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