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||[[चित्र:Ashokthegreat1.jpg|अशोक|100px|right]]अशोक के [[सारनाथ]] तथा [[सांची]] के लघु स्तंभलेख में संघभेद के विरुद्ध यह आदेश जारी किया गया है कि, जो भिक्षु या भिक्षुणी संघ में फूट डालने का प्रयास करें, उन्हें संघ से बहिष्कृत किया जाए। यह आदेश [[कौशाम्बी]] और [[पाटलिपुत्र]] के महापात्रों को दिया गया है। इससे पता चलता है कि, [[बौद्ध धर्म]] का संरक्षक होने के नाते संघ में एकता बनाए रखने के लिए अशोक ने राजसत्ता का उपयोग किया।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[अशोक]] | ||[[चित्र:Ashokthegreat1.jpg|अशोक|100px|right]]अशोक के [[सारनाथ]] तथा [[सांची]] के लघु स्तंभलेख में संघभेद के विरुद्ध यह आदेश जारी किया गया है कि, जो भिक्षु या भिक्षुणी संघ में फूट डालने का प्रयास करें, उन्हें संघ से बहिष्कृत किया जाए। यह आदेश [[कौशाम्बी]] और [[पाटलिपुत्र]] के महापात्रों को दिया गया है। इससे पता चलता है कि, [[बौद्ध धर्म]] का संरक्षक होने के नाते संघ में एकता बनाए रखने के लिए अशोक ने राजसत्ता का उपयोग किया।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[अशोक]] | ||
{ | {विख्यात [[चित्रकला|चित्रकारी]] 'द लास्ट जजमेंट' किस चित्रकार की है? | ||
|type="()"} | |type="()"} | ||
- | -लियोनार्डो द विंची | ||
+एंजेलो | |||
+ | -राफेल | ||
- | -वॉन गाफ़ | ||
- | |||
{प्राचीन [[ब्राह्मी लिपि]] को किसने स्पष्ट किया? | {प्राचीन [[ब्राह्मी लिपि]] को किसने स्पष्ट किया? | ||
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||[[चित्र:Sankhya-Darshan.jpg|सांख्य दर्शन|100px|right]] सांख्य शब्द की निष्पत्ति संख्या शब्द से हुई है। संख्या शब्द 'ख्या' धातु में सम् उपसर्ग लगाकर व्युत्पन्न किया गया है जिसका अर्थ है 'सम्यक् ख्याति'। संसार में प्राणिमात्र दु:ख से निवृत्ति चाहता है। दु:ख क्यों होता है, इसे किस तरह सदा के लिए दूर किया जा सकता है- ये ही मनुष्य के लिए शाश्वत ज्वलन्त प्रश्न हैं। इन प्रश्नों का उत्तर ढूँढ़ना ही ज्ञान प्राप्त करना है।{{point}} अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[सांख्य दर्शन|सांख्य]] | ||[[चित्र:Sankhya-Darshan.jpg|सांख्य दर्शन|100px|right]] सांख्य शब्द की निष्पत्ति संख्या शब्द से हुई है। संख्या शब्द 'ख्या' धातु में सम् उपसर्ग लगाकर व्युत्पन्न किया गया है जिसका अर्थ है 'सम्यक् ख्याति'। संसार में प्राणिमात्र दु:ख से निवृत्ति चाहता है। दु:ख क्यों होता है, इसे किस तरह सदा के लिए दूर किया जा सकता है- ये ही मनुष्य के लिए शाश्वत ज्वलन्त प्रश्न हैं। इन प्रश्नों का उत्तर ढूँढ़ना ही ज्ञान प्राप्त करना है।{{point}} अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[सांख्य दर्शन|सांख्य]] | ||
{[[ | {[[उपनिषद]] का प्रतिपाद्य विषय है? | ||
|type="()"} | |type="()"} | ||
-[[ | -[[भारत]] का सामाजिक व्यवहार | ||
-[[ | -[[हिन्दू धर्म]] | ||
+ | -प्राचीन भारतीय विधि | ||
+उपर्युक्त सभी | |||
{[[वैशेषिक दर्शन]] के प्रणेता कहे जाते हैं? | {[[वैशेषिक दर्शन]] के प्रणेता कहे जाते हैं? |
08:52, 18 नवम्बर 2011 का अवतरण
कला और संस्कृति
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