"द्रवणांक": अवतरणों में अंतर
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([[अंग्रेज़ी भाषा|अंग्रेज़ी]]:Melting Point) [[रसायन विज्ञान]] में [[पदार्थ]] को गर्म करने पर [[ठोस पदार्थ]] [[द्रव पदार्थ|द्रव]] अवस्था में परिवर्तित होते हैं, तो उनमें से अधिकांश में यह परिवर्तन एक विशेष [[दाब]] पर तथा एक नियत [[ताप]] पर होता है। यह नियत ताप वस्तु का द्रवणांक कहलाता है। जब तक पदार्थ | ([[अंग्रेज़ी भाषा|अंग्रेज़ी]]:Melting Point) [[रसायन विज्ञान]] में [[पदार्थ]] को गर्म करने पर [[ठोस पदार्थ]] [[द्रव पदार्थ|द्रव]] अवस्था में परिवर्तित होते हैं, तो उनमें से अधिकांश में यह परिवर्तन एक विशेष [[दाब]] पर तथा एक नियत [[ताप]] पर होता है। यह नियत ताप वस्तु का द्रवणांक कहलाता है। जब तक पदार्थ ग़लता रहता है, तब तक ताप स्थिर रहता है। यदि विशेष दाब नियत रहे। | ||
==द्रवणांक पर दाब का प्रभाव== | ==द्रवणांक पर दाब का प्रभाव== | ||
*उन पदार्थों के द्रवणांक दाब बढ़ाने से बढ़ जाते हैं, जिनका [[आयतन]] गलने पर बढ़ जाता है। जैसे-मोम, [[ताँबा]] आदि। | *उन पदार्थों के द्रवणांक दाब बढ़ाने से बढ़ जाते हैं, जिनका [[आयतन]] गलने पर बढ़ जाता है। जैसे-मोम, [[ताँबा]] आदि। |
14:20, 1 अक्टूबर 2012 के समय का अवतरण
(अंग्रेज़ी:Melting Point) रसायन विज्ञान में पदार्थ को गर्म करने पर ठोस पदार्थ द्रव अवस्था में परिवर्तित होते हैं, तो उनमें से अधिकांश में यह परिवर्तन एक विशेष दाब पर तथा एक नियत ताप पर होता है। यह नियत ताप वस्तु का द्रवणांक कहलाता है। जब तक पदार्थ ग़लता रहता है, तब तक ताप स्थिर रहता है। यदि विशेष दाब नियत रहे।
द्रवणांक पर दाब का प्रभाव
- उन पदार्थों के द्रवणांक दाब बढ़ाने से बढ़ जाते हैं, जिनका आयतन गलने पर बढ़ जाता है। जैसे-मोम, ताँबा आदि।
- उन पदार्थों के द्रवणांक दाब बढ़ाने से घट जाता है, जिनका आयतन गलने पर घट जाता है। जैसे- बर्फ, ढलवाँ लोहा आदि।
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