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*पुर्तग़ाल देश के लोगों को पुर्तग़ाली कहा जाता है। [[वास्को द गामा]] एक पुर्तग़ाली नाविक थे। वास्को द गामा के द्वारा की गई [[भारत]] यात्राओं ने पश्चिमी यूरोप से केप ऑफ़ गुड होप होकर पूर्व के लिए समुद्री मार्ग खोल दिए थे। | *पुर्तग़ाल देश के लोगों को पुर्तग़ाली कहा जाता है। [[वास्को द गामा]] एक पुर्तग़ाली नाविक थे। वास्को द गामा के द्वारा की गई [[भारत]] यात्राओं ने पश्चिमी यूरोप से केप ऑफ़ गुड होप होकर पूर्व के लिए समुद्री मार्ग खोल दिए थे। | ||
*[[गोवा]] में जिस स्थान का नाम पुर्तग़ालियों ने गोवा रखा वह आज का छोटा सा समुद्र तटीय शहर 'गोअ-वेल्हा' है। कालान्तर में उस क्षेत्र को गोवा कहा जाने लगा जिस पर पुर्तग़ालियों ने | *[[गोवा]] में जिस स्थान का नाम पुर्तग़ालियों ने गोवा रखा वह आज का छोटा सा समुद्र तटीय शहर 'गोअ-वेल्हा' है। कालान्तर में उस क्षेत्र को गोवा कहा जाने लगा जिस पर पुर्तग़ालियों ने क़ब्ज़ा किया। | ||
*सन 1489 में [[वास्कोडिगामा]] द्वारा भारत के लिए समुद्री मार्ग की खोज के बाद पुर्तग़ाली यात्री भारत पहुंचे। सन 1510 में एल्फांसो द अलबुकर्क ने [[विजयनगर]] के सम्राट की सहायता से गोवा पर आक्रमण करके इस पर | *सन 1489 में [[वास्कोडिगामा]] द्वारा भारत के लिए समुद्री मार्ग की खोज के बाद पुर्तग़ाली यात्री भारत पहुंचे। सन 1510 में एल्फांसो द अलबुकर्क ने [[विजयनगर]] के सम्राट की सहायता से गोवा पर आक्रमण करके इस पर क़ब्ज़ा कर लिया। सन 1542 में जेसुइट संत फ्रांसिस जेवियर के आगमन से गोवा में धर्म परिवर्तन आरंभ हुआ। 17 वीं शताब्दी के उत्तरार्द्ध के कुछ वर्षो को छोड़कर, जब शिवाजी ने गोवा और उसके आसपास के क्षेत्रों पर अधिकार कर लिया था, पूरे क्षेत्र पर पुर्तग़ालियों का शासन रहा। | ||
*भारत के स्वतंत्र होने पर भी गोवा पुर्तग़ालियों के ही अधिकार में रहा। अंतत: 19 दिसंबर, 1961 को गोवा को मुक्त कर दिया गया और इसे [[दमन और दीव]] के साथ मिलाकर [[केंद्रशासित प्रदेश]] बनाया गया। | *भारत के स्वतंत्र होने पर भी गोवा पुर्तग़ालियों के ही अधिकार में रहा। अंतत: 19 दिसंबर, 1961 को गोवा को मुक्त कर दिया गया और इसे [[दमन और दीव]] के साथ मिलाकर [[केंद्रशासित प्रदेश]] बनाया गया। | ||
13:18, 25 अगस्त 2010 का अवतरण
- पुर्तग़ाल देश के लोगों को पुर्तग़ाली कहा जाता है। वास्को द गामा एक पुर्तग़ाली नाविक थे। वास्को द गामा के द्वारा की गई भारत यात्राओं ने पश्चिमी यूरोप से केप ऑफ़ गुड होप होकर पूर्व के लिए समुद्री मार्ग खोल दिए थे।
- गोवा में जिस स्थान का नाम पुर्तग़ालियों ने गोवा रखा वह आज का छोटा सा समुद्र तटीय शहर 'गोअ-वेल्हा' है। कालान्तर में उस क्षेत्र को गोवा कहा जाने लगा जिस पर पुर्तग़ालियों ने क़ब्ज़ा किया।
- सन 1489 में वास्कोडिगामा द्वारा भारत के लिए समुद्री मार्ग की खोज के बाद पुर्तग़ाली यात्री भारत पहुंचे। सन 1510 में एल्फांसो द अलबुकर्क ने विजयनगर के सम्राट की सहायता से गोवा पर आक्रमण करके इस पर क़ब्ज़ा कर लिया। सन 1542 में जेसुइट संत फ्रांसिस जेवियर के आगमन से गोवा में धर्म परिवर्तन आरंभ हुआ। 17 वीं शताब्दी के उत्तरार्द्ध के कुछ वर्षो को छोड़कर, जब शिवाजी ने गोवा और उसके आसपास के क्षेत्रों पर अधिकार कर लिया था, पूरे क्षेत्र पर पुर्तग़ालियों का शासन रहा।
- भारत के स्वतंत्र होने पर भी गोवा पुर्तग़ालियों के ही अधिकार में रहा। अंतत: 19 दिसंबर, 1961 को गोवा को मुक्त कर दिया गया और इसे दमन और दीव के साथ मिलाकर केंद्रशासित प्रदेश बनाया गया।