"इषुकार": अवतरणों में अंतर

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
यहाँ जाएँ:नेविगेशन, खोजें
छो (Text replace - ")</ref" to "</ref")
No edit summary
पंक्ति 1: पंक्ति 1:
{{पुनरीक्षण}}
{{पुनरीक्षण}}
जैन उत्तराध्ययन सूत्र<ref>41, 1</ref> के अनुसार इषुकार कुरु जनपद में एक नगर था। जहाँ इस नाम के राजा का शासन था। जान पड़ता है कि यहाँ कुरु के राजवंश की मुख्य शाखा के [[हस्तिनापुर]] से कौशांबी चले जाने के पश्चात् इसी वंश के किसी छोटे-मोटे राजा ने राज्य स्थापित कर लिया होगा<ref>दे0 पोलिटिकल हिस्ट्री आव एंशेंट इंडिया, चतुर् संस्करण, पृ0 113</ref>
*जैन उत्तराध्ययन सूत्र<ref>जैन उत्तराध्ययन सूत्र 41, 1</ref> के अनुसार इषुकार [[कुरु]] जनपद में एक नगर था।  
*इषुकार नाम के ही राजा का यहाँ शासन था।  
*यहाँ कुरु के राजवंश की मुख्य शाखा के [[हस्तिनापुर]] से कौशांबी चले जाने के पश्चात् ऐसा जान पड़ता है कि इसी वंश के किसी छोटे-मोटे राजा ने राज्य स्थापित कर लिया होगा।<ref>पोलिटिकल हिस्ट्री ऑफ़ एंशिएंट इंडिया, चतुर्थ संस्करण, पृ. 113</ref>  
 
 



12:51, 27 जुलाई 2011 का अवतरण

इस लेख का पुनरीक्षण एवं सम्पादन होना आवश्यक है। आप इसमें सहायता कर सकते हैं। "सुझाव"
  • जैन उत्तराध्ययन सूत्र[1] के अनुसार इषुकार कुरु जनपद में एक नगर था।
  • इषुकार नाम के ही राजा का यहाँ शासन था।
  • यहाँ कुरु के राजवंश की मुख्य शाखा के हस्तिनापुर से कौशांबी चले जाने के पश्चात् ऐसा जान पड़ता है कि इसी वंश के किसी छोटे-मोटे राजा ने राज्य स्थापित कर लिया होगा।[2]

 




पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. जैन उत्तराध्ययन सूत्र 41, 1
  2. पोलिटिकल हिस्ट्री ऑफ़ एंशिएंट इंडिया, चतुर्थ संस्करण, पृ. 113

बाहरी कड़ियाँ

संबंधित लेख