"अनमोल वचन 7": अवतरणों में अंतर
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* अपना जीवन जीने के केवल दो ही तरीके हैं. पहला यह मानना कि कोई चमत्कार नहीं होता है. दूसरा है कि हर वस्तु एक चमत्कार है। ~ अल्बर्ट आईन्सटीन | * अपना जीवन जीने के केवल दो ही तरीके हैं. पहला यह मानना कि कोई चमत्कार नहीं होता है. दूसरा है कि हर वस्तु एक चमत्कार है। ~ अल्बर्ट आईन्सटीन | ||
==जॉर्ज बर्नार्ड शॉ== | ==जॉर्ज बर्नार्ड शॉ (George Bernard Shaw)== | ||
* सत्य को कह देना ही मेरा मज़ाक करने का तरीका है। संसार में यह सब से विचित्र मज़ाक है। ~ जार्ज बर्नार्ड शॉ | * सत्य को कह देना ही मेरा मज़ाक करने का तरीका है। संसार में यह सब से विचित्र मज़ाक है। ~ जार्ज बर्नार्ड शॉ | ||
* आमतौर पर आदमी उन चीजों के बारे में जानने के लिए उत्सुक रहता है जिनका उससे कोई लेना देना नहीं होता। ~ जॉर्ज बर्नार्ड शॉ | * आमतौर पर आदमी उन चीजों के बारे में जानने के लिए उत्सुक रहता है जिनका उससे कोई लेना देना नहीं होता। ~ जॉर्ज बर्नार्ड शॉ | ||
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* आप अपने भविष्य को नहीं बदल सकते लेकिन आप अपनी आदतों को बदल सकते है तथा सुनिश्चित मानें आपकी आदतें आपका भविष्य बदल देंगी। ~ बर्नाड शॉ | * आप अपने भविष्य को नहीं बदल सकते लेकिन आप अपनी आदतों को बदल सकते है तथा सुनिश्चित मानें आपकी आदतें आपका भविष्य बदल देंगी। ~ बर्नाड शॉ | ||
==बेंजामिन फ्रैंकलिन== | ==बेंजामिन फ्रैंकलिन (Benjamin Franklin)== | ||
* मछली एवं अतिथि, तीन दिनों के बाद दुर्गन्धजनक और अप्रिय लगने लगते हैं। ~ बेंजामिन फ्रैंकलिन | * मछली एवं अतिथि, तीन दिनों के बाद दुर्गन्धजनक और अप्रिय लगने लगते हैं। ~ बेंजामिन फ्रैंकलिन | ||
* हँसमुख चेहरा रोगी के लिये उतना ही लाभकर है जितना कि स्वस्थ ऋतु। ~ बेन्जामिन | * हँसमुख चेहरा रोगी के लिये उतना ही लाभकर है जितना कि स्वस्थ ऋतु। ~ बेन्जामिन | ||
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* काम वह वस्तु नहीं है जिससे किसी व्यक्ति की पराजय होती है, वास्तव में वह वस्तु चिंता है। ~ हेनरी वार्ड बीचर | * काम वह वस्तु नहीं है जिससे किसी व्यक्ति की पराजय होती है, वास्तव में वह वस्तु चिंता है। ~ हेनरी वार्ड बीचर | ||
==राल्फ वाल्डो एमर्सन== | ==राल्फ वाल्डो एमर्सन (Ralph Waldo Emerson)== | ||
* यदि किसी असाधारण प्रतिभा वाले आदमी से हमारा सामना हो तो हमें उससे पूछना चाहिये कि वो कौन सी पुस्तकें पढता है। ~ एमर्शन | * यदि किसी असाधारण प्रतिभा वाले आदमी से हमारा सामना हो तो हमें उससे पूछना चाहिये कि वो कौन सी पुस्तकें पढता है। ~ एमर्शन | ||
* प्रत्येक व्यक्ति के लिये उसके विचार ही सारे तालो की चाबी हैं। ~ इमर्सन | * प्रत्येक व्यक्ति के लिये उसके विचार ही सारे तालो की चाबी हैं। ~ इमर्सन | ||
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* जीवन मुख्य रुप से अथवा मोटे तौर पर तथ्यों और घटनाओं पर आधारित नहीं है. यह मुख्य रुप से किसी व्यक्ति के दिलो दिमाग में निरन्तर उठने वाले विचारों के तूफानों पर आधारित होती है। ~ मार्क ट्वेन | * जीवन मुख्य रुप से अथवा मोटे तौर पर तथ्यों और घटनाओं पर आधारित नहीं है. यह मुख्य रुप से किसी व्यक्ति के दिलो दिमाग में निरन्तर उठने वाले विचारों के तूफानों पर आधारित होती है। ~ मार्क ट्वेन | ||
==गोथे== | ==गोथे (Goethe)== | ||
* सही मायने में बुद्धिपूर्ण विचार हजारों दिमागों में आते रहे हैं। लेकिन उनको अपना बनाने के लिये हमको ही उन पर गहराई से तब तक विचार करना चाहिये जब तक कि वे हमारी अनुभूति में जड न जमा लें। ~ गोथे | * सही मायने में बुद्धिपूर्ण विचार हजारों दिमागों में आते रहे हैं। लेकिन उनको अपना बनाने के लिये हमको ही उन पर गहराई से तब तक विचार करना चाहिये जब तक कि वे हमारी अनुभूति में जड न जमा लें। ~ गोथे | ||
* बाँटो और राज करो, एक अच्छी कहावत है; (लेकिन) एक होकर आगे बढो, इससे भी अच्छी कहावत है। ~ गोथे | * बाँटो और राज करो, एक अच्छी कहावत है; (लेकिन) एक होकर आगे बढो, इससे भी अच्छी कहावत है। ~ गोथे | ||
पंक्ति 218: | पंक्ति 218: | ||
* धैर्य रखें, सभी कार्य सरल होने से पहले कठिन ही दिखाई देते हैं। – सादी | * धैर्य रखें, सभी कार्य सरल होने से पहले कठिन ही दिखाई देते हैं। – सादी | ||
==थामस फुलर== | ==थामस फुलर (Thomas Fuller)== | ||
* जो पाप में पड़ता है, वह मनुष्य है, जो उसमें पड़ने पर दुखी होता है, वह साधु है और जो उस पर अभिमान करता है, वह शैतान होता है। ~ फुलर | * जो पाप में पड़ता है, वह मनुष्य है, जो उसमें पड़ने पर दुखी होता है, वह साधु है और जो उस पर अभिमान करता है, वह शैतान होता है। ~ फुलर | ||
* हमारी शक्ति हमारे निर्णय करने की क्षमता में निहित है। ~ फुलर | * हमारी शक्ति हमारे निर्णय करने की क्षमता में निहित है। ~ फुलर | ||
पंक्ति 300: | पंक्ति 300: | ||
* जब हम निर्माण करें, तो ऐसा सोच कर करें कि यह हमेशा हमेशा के लिए है। ~ जॉन रस्किन | * जब हम निर्माण करें, तो ऐसा सोच कर करें कि यह हमेशा हमेशा के लिए है। ~ जॉन रस्किन | ||
==बिल कोस्बी== | ==बिल कोस्बी (Bill Cosby)== | ||
* मैं नही जानता कि सफलता की सीढी क्या है; पर असफला की सीढी है, हर किसी को प्रसन्न करने की चाह। ~ बिल कोस्बी | * मैं नही जानता कि सफलता की सीढी क्या है; पर असफला की सीढी है, हर किसी को प्रसन्न करने की चाह। ~ बिल कोस्बी | ||
* मुझे सफलता का उपाय नहीं मालूम लेकिन यह मालूम है कि सब को खुश करने का प्रयत्न असफलता का उपाय है। ~ बिल कोस्बी | * मुझे सफलता का उपाय नहीं मालूम लेकिन यह मालूम है कि सब को खुश करने का प्रयत्न असफलता का उपाय है। ~ बिल कोस्बी | ||
पंक्ति 342: | पंक्ति 342: | ||
* अभिकल्पना किसी यंत्र की बाहरी बनावट मात्र नहीं है, अभिकल्पना तो इसकी कार्यविधि का मूल है। ~ स्टीव जॉब्स | * अभिकल्पना किसी यंत्र की बाहरी बनावट मात्र नहीं है, अभिकल्पना तो इसकी कार्यविधि का मूल है। ~ स्टीव जॉब्स | ||
==मदर टेरेसा== | ==मदर टेरेसा (Mother Teresa)== | ||
* यदि आप सौ व्यक्तियों की सहायता नहीं कर सकते तो केवल एक की ही सहायता कर दें। - मदर टेरेसा | * यदि आप सौ व्यक्तियों की सहायता नहीं कर सकते तो केवल एक की ही सहायता कर दें। - मदर टेरेसा | ||
* भगवान यह अपेक्षा नहीं करते कि हम सफल हों, वे तो केवल इतना ही चाहते हैं कि हम प्रयास करें। - मदर टेरेसा | * भगवान यह अपेक्षा नहीं करते कि हम सफल हों, वे तो केवल इतना ही चाहते हैं कि हम प्रयास करें। - मदर टेरेसा | ||
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==थॉमस एडिसन== | ==थॉमस एडिसन (Thomas Edison)== | ||
* मैं यह नहीं कहूँगा कि मैं 1000 बार असफल हुआ, मैं यह कहूँगा कि ऐसे 1000 रास्ते हैं जो आपको असफलता तक पहुँचाते हैं। ~ थॉमस एडिसन | * मैं यह नहीं कहूँगा कि मैं 1000 बार असफल हुआ, मैं यह कहूँगा कि ऐसे 1000 रास्ते हैं जो आपको असफलता तक पहुँचाते हैं। ~ थॉमस एडिसन | ||
* अगर हम अपने सामर्थ्यानुसार कर्म करें, तो हम अपने आप को अचंभित कर डालेंगें। ~ थॉमस एडिसन | * अगर हम अपने सामर्थ्यानुसार कर्म करें, तो हम अपने आप को अचंभित कर डालेंगें। ~ थॉमस एडिसन | ||
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==एंथनी राबिन्स== | ==एंथनी राबिन्स (Anthony Robbins)== | ||
* समस्त सफलताएं कर्म की नींव पर आधारित होती हैं। ~ एंथनी राबिन्स | * समस्त सफलताएं कर्म की नींव पर आधारित होती हैं। ~ एंथनी राबिन्स | ||
* मुझे काफी समय पहले ही पता लग गया था कि यदि मैं लोगों की उनकी चाहतों को पूरा करने में सहायता करता हूं तो मुझे हमेशा वह सब मिल जाएगा जो मैं चाहता था और मुझे कभी भी चिंता नहीं करनी पड़ेगी। ~ एंथनी राबिन्स | * मुझे काफी समय पहले ही पता लग गया था कि यदि मैं लोगों की उनकी चाहतों को पूरा करने में सहायता करता हूं तो मुझे हमेशा वह सब मिल जाएगा जो मैं चाहता था और मुझे कभी भी चिंता नहीं करनी पड़ेगी। ~ एंथनी राबिन्स |
16:37, 7 अक्टूबर 2011 का अवतरण
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इन्हें भी देखें: अनमोल वचन 1, अनमोल वचन 2, अनमोल वचन 3, अनमोल वचन 4, अनमोल वचन 5, अनमोल वचन 6, अनमोल वचन 8, कहावत लोकोक्ति मुहावरे एवं सूक्ति और कहावत
अनमोल वचन |
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टीका टिप्पणी और संदर्भ