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{[[गुप्त काल]] में [[बुद्ध|भगवान बुद्ध]] की कांस्य निर्मित प्रतिमा कहाँ से प्राप्त हुई है? | {[[गुप्त काल]] में [[बुद्ध|भगवान बुद्ध]] की कांस्य निर्मित प्रतिमा कहाँ से प्राप्त हुई है? | ||
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+[[सुल्तानगंज]] | +[[सुल्तानगंज]] | ||
-[[बोध गया]] | -[[बोध गया]] | ||
-अजंता | -[[अजंता की गुफ़ाएँ|अजंता]] | ||
-[[मथुरा]] | -[[मथुरा]] | ||
||सुल्तानगंज से एक विशाल गुप्तकालीन बौद्ध प्रतिमा मिली है, जो वर्तमान में बर्मिघम [[इंग्लैण्ड]] के संग्रहालय में सुरक्षित है। यह बुद्ध प्रतिमा दो टन से भी अधिक भारी तथा दो मीटर ऊँची है।{{point}} अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[सुल्तानगंज]] | ||सुल्तानगंज से एक विशाल गुप्तकालीन [[बौद्ध]] प्रतिमा मिली है, जो वर्तमान में बर्मिघम, [[इंग्लैण्ड]] के संग्रहालय में सुरक्षित है। यह बुद्ध प्रतिमा दो टन से भी अधिक भारी तथा दो मीटर ऊँची है।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[सुल्तानगंज]] | ||
{संगम काल का सर्वाधिक महत्त्वपूर्ण नगर कौन सा था? | {संगम काल का सर्वाधिक महत्त्वपूर्ण नगर कौन-सा था? | ||
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-[[अरिकमेडु]] | -[[अरिकमेडु]] | ||
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-[[मदुरा]] | -[[मदुरा]] | ||
{[[खजुराहो]] में स्थित चतुर्भुज मंदिर का निर्माण किस चंदेल शासक ने करवाया था? | {[[खजुराहो]] में स्थित चतुर्भुज मंदिर का निर्माण किस [[चंदेल वंश|चंदेल]] शासक ने करवाया था? | ||
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+[[यशोवर्मन]] | +[[यशोवर्मन]] | ||
-[[धंगदेव]] | -[[धंगदेव]] | ||
-पृथ्वीवर्मन | -पृथ्वीवर्मन | ||
-[[गंडदेव]] | -[[गंडदेव]] | ||
||विजेता होने के साथ ही साथ एक निर्माता के रूप में [[यशोवर्मन]] ने [[खजुराहो]] में एक विशाल भगवान [[विष्णु]] का मन्दिर (कंदारिया महादेव मंदिर) का निर्माण करवाया, जिसे 'चतुर्भुज मंदिर' भी माना जाता है तथा इस मंदिर में [[वैकुण्ठ]] की मूर्ति स्थापित करायी थी।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[यशोवर्मन]] | |||
{[[दिल्ली]] के '[[तुग़लक़ वंश]]' का संस्थापक कौन था? | {[[दिल्ली]] के '[[तुग़लक़ वंश]]' का संस्थापक कौन था? | ||
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[[फ़िरोज़शाह तुग़लक़]] | [[फ़िरोज़शाह तुग़लक़]] | ||
-उपर्युक्त में से कोई नहीं | -उपर्युक्त में से कोई नहीं | ||
||[[चित्र:The-Tomb-Of-Ghayasuddin-Tughlak.jpg|ग़यासुद्दीन तुग़लक़ का मक़बरा, तुग़लकाबाद|100px|right]]ग़यासुद्दीन तुग़लक़ (1320-1325 ई.) | ||[[चित्र:The-Tomb-Of-Ghayasuddin-Tughlak.jpg|ग़यासुद्दीन तुग़लक़ का मक़बरा, तुग़लकाबाद|100px|right]]ग़यासुद्दीन तुग़लक़ (1320-1325 ई.), 8 सितम्बर, 1320 ई. को [[दिल्ली]] के सिंहासन पर बैठा। इसे [[तुग़लक़ वंश]] का संस्थापक भी माना जाता है। इसने कुल 29 बार [[मंगोल]] आक्रमण को विफल किया। सुल्तान बनने से पहले वह [[क़ुतुबुद्दीन मुबारक़ ख़िलजी]] के शासन काल में उत्तर-पश्चिमी सीमान्त प्रान्त का शक्तिशाली गर्वनर नियुक्त हुआ था।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[ग़यासुद्दीन तुग़लक़]] | ||
{ | {'मनसब' किन्हें प्रदान किया जाता था? | ||
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-केवल अमीरों को | -केवल अमीरों को | ||
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-[[गुरु रामदास]] | -[[गुरु रामदास]] | ||
-[[ | -[[शाहजी भोंसले]] | ||
+दादाजी कोंणदेव | +दादाजी कोंणदेव | ||
-उपर्युक्त में से कोई नहीं | -उपर्युक्त में से कोई नहीं | ||
{किस जाट नेता को 'प्लेटो' की उपाधि दी गई? | {किस [[जाट]] नेता को 'प्लेटो' की उपाधि दी गई? | ||
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-[[बदनसिंह]] | -[[बदनसिंह]] | ||
- | -[[गोकुल सिंह]] | ||
-[[राजाराम]] | -[[राजाराम]] | ||
+[[सूरजमल]] | +[[सूरजमल]] | ||
||[[चित्र:Maharaja-Surajmal-1.jpg|राजा सूरजमल|100px|right]]राजा सूरजमल सुयोग्य शासक था। उसने ब्रज में एक स्वतंत्र हिन्दू राज्य को बना इतिहास में गौरव प्राप्त किया। उसके शासन का समय सन 1755 से सन 1763 है। वह सन 1755 | ||[[चित्र:Maharaja-Surajmal-1.jpg|राजा सूरजमल|100px|right]]राजा सूरजमल सुयोग्य शासक था। उसने [[ब्रज]] में एक स्वतंत्र [[हिन्दू]] राज्य को बना [[इतिहास]] में गौरव प्राप्त किया। उसके शासन का समय सन 1755 ई. से सन 1763 ई. है। वह सन 1755 ई. के कई साल पहले से ही अपने [[पिता]] [[बदनसिंह]] के शासन के समय से ही राजकार्य सम्भालता था।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[सूरजमल]] | ||
{कौन विदेशी आक्रमणकारी '[[कोहिनूर हीरा]]' एवं '[[मयूर सिंहासन]]' को लूटकर अपने साथ स्वदेश ले गया? | |||
{कौन विदेशी आक्रमणकारी '[[कोहिनूर हीरा]]' एवं 'मयूर सिंहासन' को लूटकर अपने साथ स्वदेश ले गया? | |||
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+[[नादिरशाह]] | +[[नादिरशाह]] | ||
-[[अहमदशाह अब्दाली]] | -[[अहमदशाह अब्दाली]] | ||
- | -[[मुहम्मद ग़ोरी]] | ||
- | -[[अंग्रेज़]] | ||
||[[चित्र:Nader-Shah.jpg|नादिरशाह|100px|right]] नादिरशाह | ||[[चित्र:Nader-Shah.jpg|नादिरशाह|100px|right]]नादिरशाह के आक्रमण के कारण [[दिल्ली]] में हज़ारों नागरिक मारे गये और वहाँ भारी लूट की गई। इस लूट में [[नादिरशाह]] को बेशुमार दौलत मिली थी। उसे 20 करोड़ की बजाय 30 करोड़ रुपया नक़द मिला। उसके अतिरिक्त ढेरो जवाहरात, बेगमों के बहुमूल्य आभूषण, [[सोना]]-[[चाँदी]] के अगणित वर्तमान तथा अन्य वेश-क़ीमती वस्तुएँ उसे मिली थीं। इनके साथ ही साथ दिल्ली की लूट में उसे [[कोहिनूर हीरा]] और [[शाहजहाँ]] का 'तख्त-ए-ताऊस' ([[मयूर सिंहासन]]) भी मिला था।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[नादिरशाह]] | ||
{तेलंगाना किसान आंदोलन का मुख्य कारण क्या था? | {'तेलंगाना किसान आंदोलन' का मुख्य कारण क्या था? | ||
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- | -ज़मींदारों का अत्याचार | ||
+कम | +कम क़ीमत पर गल्ला वसूली | ||
-लगान की दरों में वृद्धि | -लगान की दरों में वृद्धि | ||
-किसानों को भूमि से बेदखल करना | -किसानों को भूमि से बेदखल करना | ||
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-अखिल भारतीय ट्रेड यूनियन कांग्रेस | -अखिल भारतीय ट्रेड यूनियन कांग्रेस | ||
-नेशनल ट्रेड यूनियन | -नेशनल ट्रेड यूनियन फ़ेडरेशन | ||
+मद्रास लेबर यूनियन | +मद्रास लेबर यूनियन | ||
-रेड ट्रेड यूनियन कांग्रेस | -रेड ट्रेड यूनियन कांग्रेस | ||
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+विलियम वेडरवर्न | +विलियम वेडरवर्न | ||
- | -जॉर्ज यूल | ||
- | -अल्फ़्रेड वेब | ||
-हेनरी काटन | -हेनरी काटन | ||
{[[भारत]] का वह | {[[भारत]] का वह अर्थशास्त्री कौन था, जिसने भारतीय [[कृषि]] व्यवस्था पर पुस्तक लिखी? | ||
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+आर. सी. दत्त | +आर. सी. दत्त | ||
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-रजनी पाम दत्त | -रजनी पाम दत्त | ||
{[[महात्मा गाँधी]] ने सर्वप्रथम 'कायदे-आजम' | {[[महात्मा गाँधी]] ने सर्वप्रथम 'कायदे-आजम' की उपाधि का प्रयोग किसके लिये किया था? | ||
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-[[सरदार पटेल]] | -[[सरदार पटेल]] | ||
-[[दादा भाई नौरोजी]] | -[[दादा भाई नौरोजी]] | ||
+ | +[[मोहम्मद अली जिन्ना]] | ||
-[[अबुल कलाम आज़ाद]] | -[[अबुल कलाम आज़ाद]] | ||
||[[चित्र:Jinnah Gandhi.jpg|100px|right|मोहम्मद अली जिन्ना]]मोहम्मद अली जिन्ना ने [[मुस्लिम लीग]] का पुनर्गठन किया और [[महात्मा गाँधी]] द्वारा उन्हें 'क़ायदे आज़म' (महान नेता) के रूप में पुकारा गया। 1940 ई. में उन्होंने धार्मिक आधार पर [[भारत]] के विभाजन तथा मुस्लिम बहुसंख्यक प्रान्तों को मिलाकर [[पाकिस्तान]] बनाने की मांग की। बहुत कुछ उन्हीं की वजह से 1947 ई. में भारत का विभाजन और पाकिस्तान की स्थापना हुई।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[मोहम्मद अली जिन्ना]] | |||
{' | {'ऑल इण्डिया विलेज इंडस्ट्रीज एसोसिएशन' की स्थापना किसने की थी? | ||
|type="()"} | |type="()"} | ||
+[[महात्मा गाँधी]] | +[[महात्मा गाँधी]] | ||
-एम. एन. राय | -एम. एन. राय | ||
-[[लाला लाजपत राय]] | -[[लाला लाजपत राय]] | ||
-[[इन्दुलाल याज्ञिक]] | -[[इन्दुलाल याज्ञिक]] | ||
{किस प्रमुख नेता ने [[महात्मा गाँधी]] का [[चम्पारन सत्याग्रह]], 1917 का नेतृत्व करने के कारण विरोध किया था? | {किस प्रमुख नेता ने [[महात्मा गाँधी]] का [[चम्पारन सत्याग्रह]], 1917 का नेतृत्व करने के कारण विरोध किया था? |
12:33, 30 अक्टूबर 2011 का अवतरण
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