"महेन्द्र वर्मन द्वितीय": अवतरणों में अंतर
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'''महेन्द्र वर्मन द्वितीय''' (668-70ई.) [[नरसिंह वर्मन प्रथम]] का पुत्र एवं उत्तराधिकारी था। | |||
*उसने बहुत कम समय तक शासन किया था। | *उसने बहुत कम समय तक शासन किया था। | ||
*काशाक्कृदिलेख के वर्णन के आधार पर कहा जाता है कि, उसने घटिका (विद्वान ब्राह्मणों की संस्था) का विस्तार किया। | *काशाक्कृदिलेख के वर्णन के आधार पर कहा जाता है कि, उसने घटिका (विद्वान ब्राह्मणों की संस्था) का विस्तार किया। |
05:42, 14 अप्रैल 2012 का अवतरण
महेन्द्र वर्मन द्वितीय (668-70ई.) नरसिंह वर्मन प्रथम का पुत्र एवं उत्तराधिकारी था।
- उसने बहुत कम समय तक शासन किया था।
- काशाक्कृदिलेख के वर्णन के आधार पर कहा जाता है कि, उसने घटिका (विद्वान ब्राह्मणों की संस्था) का विस्तार किया।
- कुछ लेखों में इसे ‘मध्यम लोकपाल‘ कहा गया है।
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