"सदस्य:रविन्द्र प्रसाद/1": अवतरणों में अंतर
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-किसान सभा | -किसान सभा | ||
-[[भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी|कम्युनिस्ट पार्टी]] | -[[भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी|कम्युनिस्ट पार्टी]] | ||
{[[विजयनगर साम्राज्य]] का सबसे प्रसिद्ध राजकीय त्यौहार कौन-सा था? | |||
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-[[बसंत पंचमी|बसंत]] | |||
-[[महानवमी]] | |||
+[[रामनवमी]] | |||
-[[विनायक चतुर्थी]] | |||
||[[चित्र:Ramayana.jpg|right|80px|रामनवमी]]'रामनवमी' एक ऐसा पर्व है, जिस पर [[चैत्र मास]] के [[शुक्ल पक्ष]] की [[प्रतिपदा]] को प्रतिवर्ष नये [[विक्रम संवत|विक्रम सवंत्सर]] का प्रारंभ होता है। [[रामनवमी]] को [[राम]] के जन्मदिन की स्मृति में मनाया जाता है। इस दिन श्रद्धालु बड़ी संख्या में उनके जन्मोत्सव को मनाने के लिए राम की मूर्तियों को पालने में झुलाते हैं। राम को भगवान [[विष्णु]] का [[अवतार]] माना जाता है। भगवान विष्णु ने राम के रूप में [[असुर|असुरों]] का संहार करने के लिए [[पृथ्वी]] पर अवतार लिया और जीवन में मर्यादा का पालन करते हुए "मर्यादा पुरुषोत्तम" कहलाए।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[महानवमी]] | |||
{[[दास प्रथा]] की स्पष्ट अवनति किस [[शताब्दी]] के पश्चात हुई? | {[[दास प्रथा]] की स्पष्ट अवनति किस [[शताब्दी]] के पश्चात हुई? | ||
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+सोलहवीं शताब्दी | +सोलहवीं शताब्दी | ||
||'दास प्रथा' [[भारत]] में प्राय: सभी युगों में विद्यमान रही है। यद्यपि चौथी शताब्दी ई.पू. में [[मेगस्थनीज]] ने लिखा था कि, "भारतवर्ष में दास प्रथा नहीं है", तथापि [[कौटिल्य]] के '[[अर्थशास्त्र ग्रन्थ|अर्थशास्त्र]]' तथा [[मौर्य]] सम्राट [[अशोक के अभिलेख|अशोक के अभिलेखों]] में [[प्राचीन भारत]] में [[दास प्रथा]] प्रचलित होने के संकेत उपलब्ध होते हैं। भारत में ब्रिटिश शासन के दौरान भी लम्बे समय तक चलने के बाद वर्ष 1843 ई. में इस प्रथा को बन्द करने के लिए एक अधिनियम पारित कर दिया गया।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[दास प्रथा]] | ||'दास प्रथा' [[भारत]] में प्राय: सभी युगों में विद्यमान रही है। यद्यपि चौथी शताब्दी ई.पू. में [[मेगस्थनीज]] ने लिखा था कि, "भारतवर्ष में दास प्रथा नहीं है", तथापि [[कौटिल्य]] के '[[अर्थशास्त्र ग्रन्थ|अर्थशास्त्र]]' तथा [[मौर्य]] सम्राट [[अशोक के अभिलेख|अशोक के अभिलेखों]] में [[प्राचीन भारत]] में [[दास प्रथा]] प्रचलित होने के संकेत उपलब्ध होते हैं। भारत में ब्रिटिश शासन के दौरान भी लम्बे समय तक चलने के बाद वर्ष 1843 ई. में इस प्रथा को बन्द करने के लिए एक अधिनियम पारित कर दिया गया।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[दास प्रथा]] | ||
{[[लॉर्ड मैकाले|मैकाले]] की शिक्षा व्यवस्था किसके लिए थी? | {[[लॉर्ड मैकाले|मैकाले]] की शिक्षा व्यवस्था किसके लिए थी? |
08:22, 21 जनवरी 2013 का अवतरण
इतिहास सामान्य ज्ञान
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