"मनमोहन सूरी": अवतरणों में अंतर

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
यहाँ जाएँ:नेविगेशन, खोजें
No edit summary
No edit summary
पंक्ति 12: पंक्ति 12:
==संबंधित लेख==
==संबंधित लेख==
{{पद्मश्री}}
{{पद्मश्री}}
[[Category:जीवनी साहित्य]][[Category:अभियन्ता]][[Category:वैज्ञानिक]][[Category:पद्म श्री]][[Category:पद्म श्री (1961)]][[Category:चरित कोश]]
[[Category:जीवनी साहित्य]][[Category:अभियन्ता]][[Category:वैज्ञानिक]][[Category:पद्म श्री]][[Category:पद्म श्री (1961)]][[Category:शान्ति स्वरूप भटनागर पुरस्कार]][[Category:चरित कोश]]
__INDEX__
__INDEX__
__NOTOC__
__NOTOC__

07:41, 17 अक्टूबर 2022 का अवतरण

मनमोहन सूरी (अंग्रेज़ी: Manmohan Suri, जन्म- 13 जनवरी, 1928; मृत्यु- 25 जुलाई, 1981) भारतीय यांत्रिक इंजीनियर और केंद्रीय यांत्रिक इंजीनियरिंग अनुसंधान संस्थान (सीएमईआरआई), दुर्गापुर के निदेशक थे। उन्हें सूरी ट्रांसमिशन का आविष्कार करने के लिए जाना जाता है। मनमोहन सूरी को वर्ष 1961 में भारत सरकार ने 'पद्म श्री' से सम्मानित किया था।

  • मनमोहन सूरी का जन्म 13 जनवरी सन 1928 को पंजाब में हुआ था।
  • उन्होंने 'सूरी ट्रांसमिशन' का आविष्कार किया था। यह एक हाइड्रोमैकेनिकल ट्रांसमिशन यूनिट है, जिसने डीजल इंजनों की दक्षता बढ़ाने का कार्य किया। इस तकनीक को ग्यारह देशों में 36 पेटेंट विनिर्देशों के लिए जाना जाता है।
  • पंजाब ट्रैक्टर्स लिमिटेड के उत्पाद 'स्वराज फार्म ट्रैक्टर' की अवधारणा का श्रेय मनमोहन सूरी को दिया जाता है।
  • सन 1961 में मनमोहन सूरी को चौथा सर्वोच्च भारतीय नागरिक पुरस्कार पद्म श्री मिला।
  • वैज्ञानिक अनुसंधान के लिए भारत सरकार की सर्वोच्च एजेंसी वैज्ञानिक और औद्योगिक अनुसंधान परिषद ने उन्हें विज्ञान और प्रौद्योगिकी के लिए 'शान्ति स्वरूप भटनागर पुरस्कार' से सम्मानित किया था, जो 1962 में इंजीनियरिंग विज्ञान में उनके योगदान के लिए सर्वोच्च भारतीय विज्ञान पुरस्कारों में से एक है।


पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

टीका टिप्पणी और संदर्भ

संबंधित लेख