भारतकोश:Next Week/20 अप्रॅल 2010

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  • जब तक जीना, तब तक सीखना - अनुभव ही जगत में सर्वश्रेष्ठ शिक्षक है। -स्वामी विवेकानन्द
  • यह मनुष्य अन्तकाल में जिस-जिस भी भाव को स्मरण करता हुआ शरीर को त्याग करता है, वह उस-उस को ही प्राप्त होता हैं; क्योंकि वह सदा उसी भाव से भावित रहा है । - श्रीमद्भागवत गीता
  • इतिहास याने अनादिकाल से अब तक का सारा जीवन । पुराण याने अनादि काल से अब तक टिका हुआ अनुभव का अमर अंश। -विनोबा भावे
  • जीवन का कार्यक्रम है रचनात्मक, विनाशात्मक नहीं;
    मनुष्य का कर्तव्य है अनुराग, विराग नहीं। -भगवतीचरण वर्मा
  • ईमानदारी और बुद्धिमानी के साथ किया हुआ काम कभी व्यर्थ नहीं जाता । - हजारीप्रसाद द्विवेदी
  • शब्द खतरनाक वस्तु हैं । सर्वाधिक खतरे की बात तो यह है कि वे हमसे यह कल्पना करा लेते हैं कि हम बातों को समझते हैं जबकि वास्तव में हम नहीं समझते । - चक्रवर्ती राजगोपालाचार्य

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