स्वराज पॉल

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स्वराज पॉल
स्वराज पॉल
पूरा नाम स्वराज पॉल (बैरन पॉल)
जन्म 18 फरवरी, 1931
जन्म भूमि जालंधर
कर्म भूमि भारत
कर्म-क्षेत्र उद्योगपति
शिक्षा मैसाचुसेट्स प्रौद्योगिकी संस्थान
पुरस्कार-उपाधि पद्म भूषण
प्रसिद्धि कपारो ग्रुप के संस्थापक
नागरिकता भारतीय
अन्य जानकारी स्वराज पॉल भारतीय मूल के पहले व्यक्ति हैं जिन्हें हाउज़ ऑफ़ लॉर्ड्स का उपाध्यक्ष बनाया गया। वे इस पद आसीन होने वाले बारह लोगों में से एक हैं।
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स्वराज पॉल (बैरन पॉल) (अंग्रेजी: Swraj Paul, Baron Paul, जन्म: 18 फरवरी, 1931, जालंधर भारतीय मूल के ब्रिटिश उद्योगपति, समाजसेवी और लेबर राजनीतिज्ञ हैं। सन 1996 में वे लेबर पार्टी के टिकट पर ‘हाउस ऑफ़ लॉर्ड्स’ का सदस्य बने और बैरन पॉल की पदवी ग्रहण की। दिसम्बर 2008 में उन्हें ‘हाउस ऑफ़ लॉर्ड्स’ का उपाध्यक्ष चुना गया और अक्टूबर 2009 में उन्हें प्रिवी कौंसिल के लिए चुना गया। उन्हें इंग्लैंड के भूतपूर्व प्रधानमंत्री गॉर्डोन ब्राउन और औंकी पत्नी सारा का करीबी माना जाता है। यूनाईटेड किंगडम संसदीय खर्चे घोटाले के संदर्भ में उन्हें 1 नवम्बर 2010 को ‘हाउस ऑफ़ लॉर्ड्स’ के उपाध्यक्ष पद से इस्तीफा देना पड़ा।[1]

जीवन परिचय

लार्ड स्वराज पॉल का जन्म 18 फरवरी 1931 में पंजाब के जालंधर शहर में हुआ था। उनके पिता एक छोटा ढलाईखाना चलाते थे जहाँ बाल्टियों और कृषि उपकरणों का निर्माण होता था। उनकी प्रारंभिक शिक्षा लाहौर के फॉरमैन क्रिस्चियन कॉलेज से हुई जिसके बाद उन्होंने जालंधर के दोआबा कॉलेज से भी शिक्षा ग्रहण की। उसके पश्चात् उन्होंने बी.एस.सी, एम.एस.सी और इंजीनियरिंग की पढ़ाई अमेरिका के मशहूर मैसाचुसेट्स प्रौद्योगिकी संस्थान (एमआईटी) से की।[1]

कॅरियर

मैसाचुसेट्स प्रौद्योगिकी संस्थान (एमआईटी) से निकलने बाद उन्होंने भारत में अपने पारिवारिक कंपनी ‘एपीजे-सुरेन्द्र ग्रुप’ में कार्य किया। इस कंपनी की स्थापना उनके पिता ने की थी और उस समय इसका संचालन स्वराज पॉल के दो बड़े भाई – सत्य पॉल और जीत पॉल – कर रहे थे।

सार्वजनिक जीवन

लार्ड स्वराज पॉल कई महत्वपूर्ण सार्वजानिक पदों पर रह चुके हैं। वे थेम्स वैली विश्वविद्यालय के प्रो-चांसलर (1998) और उसके गवर्नर (1992-97) के पद पर आसीन रहे। सन 1998 से वे यूनिवर्सिटी ऑफ़ वॉलवेर्हम्प्टन और यूनिवर्सिटी ऑफ़ वेस्टमिंस्टर के चांसलर रहे जिसमें उनके पारिवारिक ट्रस्ट ने लगभग £300,000 का योगदान दिया। उन्होंने ‘अम्बिका पॉल फाउंडेशन’ के माध्यम से ‘यूनिवर्सिटी ऑफ़ वॉलवेर्हम्प्टन’ को उदारतापूर्वक दान दिया और इसके ‘स्टूडेंट्स यूनियन सेण्टर’ का नवीनीकरण का खर्चा भी वहन किया। नवीनीकरण के बाद उसका नाम ‘द अम्बिका पॉल स्टूडेंट्स यूनियन सेंटर’ कर दिया गया।[1]

पुरस्कार और सम्मान

लार्ड स्वराज पॉल को कई पुरस्कार और सम्मान मिल चुके हैं जिनमें यूनाइटेड किंगडम, अमेरिका, भारत, रूस और स्विट्ज़रलैंड के विश्विद्यालयों द्वारा मानद सम्मान भी शामिल हैं।

  • सन 1983 में भारत सरकार ने उन्हें पद्म भूषण से सम्मानित किया
  • इंडियन मर्चेंट्स चैम्बर ने उन्हें ‘भारत गौरव’ सम्मान दिया[1]

विवाद

लार्ड स्वराज पॉल का नाम ब्रिटेन के ‘सांसद व्यय घोटाले’ में आया था। इसके अंतर्गत सांसदों ने गलत ढंग से भत्ते का दावा किया था। सांसद व्यय घोटाले की वजह से तत्कालीन प्रधानमंत्री गार्डन ब्राउन और कंजरवेटिव नेता डेविड कैमरॉन समेत कई अन्य सांसदों को दावे की राशि का भुगतान करना पड़ा था।[1]


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. 1.0 1.1 1.2 1.3 1.4 स्वराज पॉल (हिन्दी) itshindi.com। अभिगमन तिथि: 10 नवम्बर, 2017।

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