कुशल पाल सिंह का कॅरियर

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कुशल पाल सिंह का कॅरियर
के.पी. सिंह
के.पी. सिंह
पूरा नाम कुशल पाल सिंह
जन्म 15 अगस्त, 1931
जन्म भूमि बुलंदशहर
कर्म भूमि भारत
कर्म-क्षेत्र उद्योगपति
शिक्षा एरोनॉटिकल इंजीनियरिंग
पुरस्कार-उपाधि पद्म भूषण
प्रसिद्धि ‘डीएलएफ इंडिया’ के अध्यक्ष और मुख्य कार्यकारी अधिकारी
नागरिकता भारतीय
अन्य जानकारी भारत का एकमात्र ‘नाईट गोल्फ क्लब’ और एशिया का सर्वश्रेष्ठ ‘गोल्फ क्लब’ डीएलएफ की खास उपलब्धि है
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कुशल पाल सिंह भारत वर्तमान में ‘डीएलएफ इंडिया’ के अध्यक्ष और मुख्य कार्यकारी अधिकारी हैं। भारत के सबसे अमीर रियल स्टेट डेवल पर कुशल पाल सिंह को लोग के.पी. सिंह के नाम से जानते हैं, इनको भारत के रियल एस्टेट के क्षेत्र में सबसे बड़े विकास पुरुष के रूप में जाना जाता है।

कॅरियर

के.पी. सिंह सेना की नौकरी छोड़कर अपने स्वसुर चौधरी राघवेन्द्र सिंह के रियल स्टेट के कारोबार के साथ जुड़ गए, जो ‘डीएलएफ’ के संस्थापक थे। वर्ष 1960 में इन्होंने अमेरिकन यूनिवर्सल इलेक्ट्रिक कंपनी में कार्यभार ग्रहण किया, जो यूनिवर्सल इलेक्ट्रिक कंपनी, ओवोस्सो (मिशिगन) और सिंह परिवार के बीच एक संयुक्त उद्यम था। इसके बाद इन्होंने भारत में औद्योगिक बैट्री के निर्माण के लिए फिलाडेल्फिया के ‘इएसबी इंक’ के सहयोग से ‘विलार्ड इंडिया लिमिटेड’ नाम से एक और कंपनी की स्थापना की और इसके प्रबंध निदेशक बने। वर्ष 1979 में अमेरिकन यूनिवर्सल इलेक्ट्रिक कंपनी का ‘डीएलएफ यूनिवर्सल लिमिटेड’ में विलय हो गया और के.पी. सिंह नई कंपनी के प्रबंध निदेशक बने।

डीएलएफ की स्थापना और उसका व्यवसाय

‘डीएलएफ’ के निदेशक बनने के बाद के.पी. सिंह ने अपनी महत्वाकांक्षा के अनुरूप गुडगांव (हरियाणा) के ग्रामीण क्षेत्रों की जमीन विकसित करना प्राम्भ किया। इनके मन में दिल्ली के आस-पास एक छोटा-सा शहर विकसित करने का बड़ा विचार आया और ये जमीन खरीदने लगे। इनको इस व्यवसाय में सफलता मिली। इन्हें गुडगांव के रियल स्टेट उद्योग में उज्ज्वल भविष्य दिखाई देने लगा, परिणामत: इस क्षेत्र में एक जबरदस्त उछाल आ गया। समय के साथ इनका सपना साकार रूप लेने लगा और संकल्पनाएं मूर्त रूप लेने लगीं। गुडगांव की पहचान भारत के एक अग्रणी रियल स्टेट मार्किट तथा व्यवसायिक गतिविधियों के केंद्र के रूप में हुई। जिसे आज प्रायः ‘मिलेनियम सिटी’ के नाम से जाना जाता है। के.पी. सिंह का पुत्र राजीव और पिया इनके रियल स्टेट के व्यवसाय में इनके साथ लगे हुए हैं।[1]

डीएलएफ यूनिवर्सल का वर्तमान स्वरूप

के.पी. सिंह के नेतृत्व में ‘डीएलएफ’ ने लगभग 3000 एकड़ भूमि खरीद कर उसको भवन निर्मण हेतु विकसित किया है। यह एक ऐसी व्यवसायिक संस्थान है जिसने बहुराष्ट्रीय कम्पनियों को भारत में अपनी तरफ आकर्षित किया, रोजगार के अवसर पैदा किये और अंतर्राष्टीय स्तर पर रियल स्टेट क्षेत्र में प्रतिस्पर्धा पैदा की। इन्होंने ‘जीई’ और ‘नेस्ले’ जैसी बड़ी कम्पनियों को भारत में आगे बढ़ाया। ‘डीएलएफ साइबर सिटी’ भारत का सबसे बड़ा विकसित टेक्नोलॉजी पार्क है, जो लगभग 125 एकड़ में फैला हुआ है। भारत का एकमात्र ‘नाईट गोल्फ क्लब’ और एशिया का सर्वश्रेष्ठ ‘गोल्फ क्लब’ डीएलएफ की खास उपलब्धि है. दिल्ली स्थित ‘डीएलएफ एम्पोरियो मॉल’ भारत का सबसे बड़ा लक्ज़री मॉल है।[1]

भारतीय रियल स्टेट के महापुरोधा

वर्तमान भारतीय अर्थव्यवस्था के अविस्मरणीय विकास में भारतीय रियल स्टेट के माध्यम से के.पी. सिंह का योगदान अतुलनीय है। उन्होंने परम्परागत रास्तों को छोड़कर नए मार्ग का अनुशरण किया और विश्व-स्तरीय रियल स्टेट के मापदन्डों को अपनाकर प्रत्यक्ष विदेशी पूंजी निवेश (एफडीआई) को भारत में आने के लिए प्रोत्साहित किया। इसके साथ ही इन्होंने रियल स्टेट के व्यवसाय क्षेत्र में आउटसोर्सिंग जैसे एक नए रास्ते को अपनाया और इस व्यवसाय में भारत का विश्व-स्तर पर नाम रोशन किया। 84 वर्षीय के.पी. सिंह के पास आजकल लगभग 4 बिलियन अमेरिकन डॉलर की संपत्ति होने का आकलन किया गया है। वर्तमान में डीएलएफ के पास लगभग 10,000 एकड़ का ‘लैंड बैंक’ है, जिसके द्वारा इनका देश के विभिन्न शहरों में कई प्रोजेक्ट चल रहे हैं। इस कंपनी का वर्तमान बाजार मूल्य लगभग 1,25,000 करोड़ रुपए का अनुमानित किया गया है।[1]


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. 1.0 1.1 1.2 कुशल पाल सिंह (हिन्दी) itshindi.com। अभिगमन तिथि: 26 अक्टूबर, 2017।

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