बुत्रद्ध रासो
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- बुत्रद्ध रासो का रचयिता जल्ह था, जिसे 'पृथ्वीराज रासो' का पूरक कवि भी माना गया है।
- कवि ने अपनी इस रचना में समय नहीं दिया है।
- जल्ह की इस रचना को 'पृथ्वीराज रासो' के बाद की रचना माना जाता है।[1]
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टीका टिप्पणी और संदर्भ
- ↑ रासो काव्य : वीरगाथायें (हिन्दी)। । अभिगमन तिथि: 15 मई, 2011।