ससि संकोच साहस सलिल -रहीम

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
यहाँ जाएँ:नेविगेशन, खोजें

ससि संकोच, साहस, सलिल, मान, सनेह ‘रहीम’ ।
बढ़त-बढ़त बढ़ि जात है, घटत-घटत घटि सोम ॥

अर्थ

चन्द्रमा, संकोच, साहस, जल, सम्मान और स्नेह, ये सब ऐसे है, जो बढ़ते-बढ़ते बढ़ जाते हैं, और घटते-घटते घटने की सीमा को छू लेते हैं।


पीछे जाएँ
पीछे जाएँ
रहीम के दोहे
आगे जाएँ
आगे जाएँ

टीका टिप्पणी और संदर्भ

संबंधित लेख