"महाधिवक्ता": अवतरणों में अंतर
भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
No edit summary |
No edit summary |
||
पंक्ति 1: | पंक्ति 1: | ||
'''महाधिवक्ता''' ([[अंग्रेज़ी]]: ''Advocate General'') किसी देश या प्रदेश का उच्च विधि अधिकारी होता है, जो प्राय: विधिक मामलों में न्यायालय या सरकारों को सलाह देने का कार्य करता है। | '''महाधिवक्ता''' ([[अंग्रेज़ी]]: ''Advocate General'') किसी देश या प्रदेश का उच्च विधि अधिकारी होता है, जो प्राय: विधिक मामलों में न्यायालय या सरकारों को सलाह देने का कार्य करता है। उदाहरण के लिये [[भारत]] में सभी राज्यों में महाधिवक्ता होते हैं। | ||
*राज्य में जो स्थिति महाधिवक्ता की होती है, वही स्थिति केन्द्र में [[महान्यायवादी]] (एटॉर्नी जनरल) की होती है। | *राज्य में जो स्थिति महाधिवक्ता की होती है, वही स्थिति केन्द्र में [[महान्यायवादी]] (एटॉर्नी जनरल) की होती है। | ||
*[[संविधान]] के अनुच्छेद 167 के तहत राज्य सरकार के विधिक सलाहकार के रूप में महाधिवक्ता की नियुक्ति होती है। | |||
*महाधिवक्ता की नियुक्ति [[राज्यपाल]] द्वारा होती है और वह उसी के प्रसाद-पर्यंत अपना पद धारण करता है। | |||
*वे सारी योग्यताएँ जो [[उच्च न्यायालय]] के न्यायाधीश के लिए निर्धारित होती हैं, वही महाधिवक्ता के लिए भी निर्धारित होती हैं। | |||
*महाधिवक्ता का वेतन राज्यपाल द्वारा निर्धारित किया जाता है तथा कार्यकाल के दौरान उसके वेतन एवं भत्ते में किसी प्रकार की कटौती नहीं की जा सकती। | |||
*राज्यपाल द्वारा सौंपे गए सभी विषयों पर विधि सम्बंधी सलाह देना महाधिवक्ता का कर्तव्य है। | |||
*राज्य विधानमण्डल की कार्यवाहियों में भाग लेने तथा भाषण देने का अधिकार भी महाधिवक्ता रखता है, किंतु उसे किसी विषय पर मतदान करने का अधिकार प्राप्त नहीं है।<ref>{{cite web |url= http://books.google.co.in/books?id=BS2n1Cjp0H4C&pg=SA11-PA13&lpg=SA11-PA13&dq=%E0%A4%AE%E0%A4%B9%E0%A4%BE%E0%A4%A7%E0%A4%BF%E0%A4%B5%E0%A4%95%E0%A5%8D%E0%A4%A4%E0%A4%BE+%E0%A4%95%E0%A5%80+%E0%A4%A8%E0%A4%BF%E0%A4%AF%E0%A5%81%E0%A4%95%E0%A5%8D%E0%A4%A4%E0%A4%BF+%E0%A4%95%E0%A4%B0%E0%A4%A4%E0%A4%BE+%E0%A4%B9%E0%A5%88&source=bl&ots=XTYtv-M0bz&sig=RbJCMacfOzyOd1u3JRJF9n33K18&hl=en&sa=X&ei=zDyEVJ_WEZTmuQSL5IK4BQ&ved=0CDEQ6AEwAw#v=onepage&q=%E0%A4%AE%E0%A4%B9%E0%A4%BE%E0%A4%A7%E0%A4%BF%E0%A4%B5%E0%A4%95%E0%A5%8D%E0%A4%A4%E0%A4%BE%20%E0%A4%95%E0%A5%80%20%E0%A4%A8%E0%A4%BF%E0%A4%AF%E0%A5%81%E0%A4%95%E0%A5%8D%E0%A4%A4%E0%A4%BF%20%E0%A4%95%E0%A4%B0%E0%A4%A4%E0%A4%BE%20%E0%A4%B9%E0%A5%88&f=false|title=महाधिवक्ता |accessmonthday= 07 दिसम्बर|accessyear= 2014|last= |first= |authorlink= |format= |publisher=गूगल बुक्स|language=हिन्दी}}</ref> | |||
{{लेख प्रगति|आधार=|प्रारम्भिक= प्रारम्भिक1|माध्यमिक= |पूर्णता= |शोध= }} | {{लेख प्रगति|आधार=|प्रारम्भिक= प्रारम्भिक1|माध्यमिक= |पूर्णता= |शोध= }} |
11:56, 7 दिसम्बर 2014 के समय का अवतरण
महाधिवक्ता (अंग्रेज़ी: Advocate General) किसी देश या प्रदेश का उच्च विधि अधिकारी होता है, जो प्राय: विधिक मामलों में न्यायालय या सरकारों को सलाह देने का कार्य करता है। उदाहरण के लिये भारत में सभी राज्यों में महाधिवक्ता होते हैं।
- राज्य में जो स्थिति महाधिवक्ता की होती है, वही स्थिति केन्द्र में महान्यायवादी (एटॉर्नी जनरल) की होती है।
- संविधान के अनुच्छेद 167 के तहत राज्य सरकार के विधिक सलाहकार के रूप में महाधिवक्ता की नियुक्ति होती है।
- महाधिवक्ता की नियुक्ति राज्यपाल द्वारा होती है और वह उसी के प्रसाद-पर्यंत अपना पद धारण करता है।
- वे सारी योग्यताएँ जो उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के लिए निर्धारित होती हैं, वही महाधिवक्ता के लिए भी निर्धारित होती हैं।
- महाधिवक्ता का वेतन राज्यपाल द्वारा निर्धारित किया जाता है तथा कार्यकाल के दौरान उसके वेतन एवं भत्ते में किसी प्रकार की कटौती नहीं की जा सकती।
- राज्यपाल द्वारा सौंपे गए सभी विषयों पर विधि सम्बंधी सलाह देना महाधिवक्ता का कर्तव्य है।
- राज्य विधानमण्डल की कार्यवाहियों में भाग लेने तथा भाषण देने का अधिकार भी महाधिवक्ता रखता है, किंतु उसे किसी विषय पर मतदान करने का अधिकार प्राप्त नहीं है।[1]
|
|
|
|
|
टीका टिप्पणी और संदर्भ
- ↑ महाधिवक्ता (हिन्दी) गूगल बुक्स। अभिगमन तिथि: 07 दिसम्बर, 2014।