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'''यज़ता''' [[पारसी धर्म]] में '[[अहुर मज़्दा]]' (प्राचीन ईरानी धर्म में सर्वोच्च देवता) द्वारा बनाए गए दूतों के संघ के सदस्य, जो विश्व व्यवस्था बनाए रखने में मदद करते हैं और अर्हिमन एवं उनके [[राक्षस|राक्षसों]] की शक्तियों का दमन करते हैं।
'''यज़ता''' [[पारसी धर्म]] में [[अहुर मज़्दा]] (प्राचीन ईरानी धर्म में सर्वोच्च देवता) द्वारा बनाए दूतों के संघ के सदस्य, जो विश्व व्यवस्था बनाए रखने में मदद करते हैं और अर्हिमन एवं उनके राक्षसों की शक्तियों का दमन करते हैं। यज़ता [[सूर्य]] की रोशनी एकत्र कर उसे [[धरती]] पर उंडेलते हैं। अपने शुद्धिकरण एवं उत्थान में मनुष्य की सहायता के लिए उनकी मदद आवश्यक है। वे मानव को दानव भगाने एवं नरक की भावी यातना से अपने को मुक्त कराने के बारे में शिक्षा देते हैं। ज़रथुस्त्र अपने अभियान के लिए शक्ति प्राप्त करने के लिए उनसे प्रार्थना करते हैं।  


जो व्यक्ति आनुष्ठानिक आहुतियों के ज़रिये यज़ता को याद करते हैं, वे कृपा प्राप्त कर समृद्ध होते हैं। मुख्य यज़ता अधिकतर प्राचीन ईरानी देवता हैं, जिनका पद घटाकर सहायक का बना दिया गया है। ये हैं, अतर ([[अग्नि]]), मिथ्र ([[प्रकाश]]), अन्हिता (उर्वरता), राश्नु (धर्मात्मा), स्राओश (अहुर के संदेशवाहक) और वेरेथ्राग्न (सत्य)
*यज़ता [[सूर्य]] की रोशनी एकत्र कर उसे [[धरती]] पर उंड़ेलते हैं। अपने शुद्धिकरण एवं उत्थान में मनुष्य की सहायता के लिए उनकी मदद आवश्यक है।
*ये मानव को दानव भगाने एवं नरक की भावी यातना से अपने को मुक्त कराने के बारे में शिक्षा देते हैं।
*[[ज़रथुष्ट्र]] अपने अभियान के लिए शक्ति प्राप्त करने के लिए उनसे प्रार्थना करते हैं।
*जो व्यक्ति आनुष्ठानिक आहुतियों के ज़रिये 'यज़ता' को याद करते हैं, वे कृपा प्राप्त कर समृद्ध होते हैं।
*मुख्य 'यज़ता' अधिकतर प्राचीन ईरानी [[देवता]] हैं, जिनका पद घटाकर सहायक का बना दिया गया है। ये हैं-
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08:16, 23 जून 2014 के समय का अवतरण

यज़ता पारसी धर्म में 'अहुर मज़्दा' (प्राचीन ईरानी धर्म में सर्वोच्च देवता) द्वारा बनाए गए दूतों के संघ के सदस्य, जो विश्व व्यवस्था बनाए रखने में मदद करते हैं और अर्हिमन एवं उनके राक्षसों की शक्तियों का दमन करते हैं।

  • यज़ता सूर्य की रोशनी एकत्र कर उसे धरती पर उंड़ेलते हैं। अपने शुद्धिकरण एवं उत्थान में मनुष्य की सहायता के लिए उनकी मदद आवश्यक है।
  • ये मानव को दानव भगाने एवं नरक की भावी यातना से अपने को मुक्त कराने के बारे में शिक्षा देते हैं।
  • ज़रथुष्ट्र अपने अभियान के लिए शक्ति प्राप्त करने के लिए उनसे प्रार्थना करते हैं।
  • जो व्यक्ति आनुष्ठानिक आहुतियों के ज़रिये 'यज़ता' को याद करते हैं, वे कृपा प्राप्त कर समृद्ध होते हैं।
  • मुख्य 'यज़ता' अधिकतर प्राचीन ईरानी देवता हैं, जिनका पद घटाकर सहायक का बना दिया गया है। ये हैं-
  1. अतर (अग्नि)
  2. मिथ्र (प्रकाश)
  3. अन्हिता (उर्वरता)
  4. राश्नु (धर्मात्मा)
  5. स्राओशा (अहुर के संदेशवाहक)
  6. वेरेथ्राग्न (सत्य)


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

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