रहिमन भेषज के किए -रहीम
भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
रविन्द्र प्रसाद (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 12:34, 26 फ़रवरी 2016 का अवतरण ('<div class="bgrahimdv"> ‘रहिमन’ भेषज के किए, काल जीति जो जात ।<br /> बड...' के साथ नया पृष्ठ बनाया)
‘रहिमन’ भेषज के किए, काल जीति जो जात ।
बड़े-बड़े समरथ भये, तौ न कोऊ मरि जात ॥
- अर्थ
औषधियों के बल पर यदि काल को लकहीं जीत लिया गया होता तो, दुनिया के बड़े-बड़े समर्थ और शक्तिशाली मौत के पंजे से साफ बच जाते।
रहीम के दोहे |
टीका टिप्पणी और संदर्भ
संबंधित लेख