"अंगज (शब्द संदर्भ)" के अवतरणों में अंतर

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
यहाँ जाएँ:भ्रमण, खोजें
('{{बहुविकल्प|बहुविकल्पी शब्द=अंगज|लेख का नाम=अंगज (बह...' के साथ नया पृष्ठ बनाया)
 
 
पंक्ति 2: पंक्ति 2:
 
'''अंगज''' - [[विशेषण]] ([[संस्कृत]] अंङ्ज)<ref>{{पुस्तक संदर्भ |पुस्तक का नाम=हिंदी शब्दसागर, प्रथम भाग |लेखक= श्यामसुंदरदास बी. ए.|अनुवादक= |आलोचक= |प्रकाशक=नागरी मुद्रण, वाराणसी |संकलन= |संपादन= |पृष्ठ संख्या=05|url=|ISBN=}}</ref>
 
'''अंगज''' - [[विशेषण]] ([[संस्कृत]] अंङ्ज)<ref>{{पुस्तक संदर्भ |पुस्तक का नाम=हिंदी शब्दसागर, प्रथम भाग |लेखक= श्यामसुंदरदास बी. ए.|अनुवादक= |आलोचक= |प्रकाशक=नागरी मुद्रण, वाराणसी |संकलन= |संपादन= |पृष्ठ संख्या=05|url=|ISBN=}}</ref>
  
शरीर से उत्पन्न। तन से पैदा।
+
शरीर से उत्पन्न, तन से पैदा।
;उदाहरण
+
 
"कु अंगजों की बहु कष्टदायिता बता रही थी जो नेत्रवान को।"<ref>[[प्रियप्रवास -अयोध्यासिंह उपाध्याय 'हरिऔध'|प्रियप्रवास]], पृ. 103</ref>
+
;उदाहरण - "कु अंगजों की बहु कष्टदायिता बता रही थी जो नेत्रवान को।"<ref>[[प्रियप्रवास -अयोध्यासिंह उपाध्याय 'हरिऔध'|प्रियप्रवास]], पृ. 103</ref>
  
 
'''अंगज''' - [[संज्ञा]] [[पुल्लिंग]] ([[स्त्रीलिंग]] अंङ्जा)
 
'''अंगज''' - [[संज्ञा]] [[पुल्लिंग]] ([[स्त्रीलिंग]] अंङ्जा)
  
1. पुत्र, बेटा, लड़का।
+
1. [[पुत्र]], बेटा, लड़का।
;उदाहरण
+
 
"कृष्ण गेह कै काम, काम अंगज जनु अनुराध।"<ref>[[पृथ्वीराजरासो]], पृ. 1।727</ref>
+
;उदाहरण - "कृष्ण गेह कै काम, काम अंगज जनु अनुराध।"<ref>[[पृथ्वीराजरासो]], पृ. 1।727</ref>
 +
 
 +
2. पसीना।
 +
 
 +
3. बाल, केश, रोम।
 +
 
 +
4. काम, क्रोध आदि विकार।
 +
 
 +
5. [[साहित्य]] में स्त्रियों के यौवन संबंधी जो सात्विक विकार हैं, उनमें हाव, भाव और हेला- ये तीन 'अंगज' कहलाते हैं। कायिक।
 +
 
 +
6. [[कामदेव]]।
 +
 
 +
7. मद।
 +
 
 +
8. रोग।
  
2. पसीना। 3. बाल, केश, रोम। 4. काम, क्रोध आदि विकार। 5. [[साहित्य]] में स्त्रियों के यौवन संबंधी जो सात्विक विकार हैं, उनमें हाव, भाव और हेला- ये तीन 'अंगज' कहलाते हैं। कायिक। 6. [[कामदेव]]। 7. मद। 8. रोग। 9. [[रक्त]], खून<ref>अन्य कोश</ref>
+
9. [[रक्त]], खून<ref>अन्य कोश</ref>
  
 
{{लेख प्रगति|आधार=|प्रारम्भिक=प्रारम्भिक1|माध्यमिक= |पूर्णता= |शोध= }}
 
{{लेख प्रगति|आधार=|प्रारम्भिक=प्रारम्भिक1|माध्यमिक= |पूर्णता= |शोध= }}

13:33, 5 जनवरी 2020 के समय का अवतरण

Disamb2.jpg अंगज एक बहुविकल्पी शब्द है अन्य अर्थों के लिए देखें:- अंगज (बहुविकल्पी)

अंगज - विशेषण (संस्कृत अंङ्ज)[1]

शरीर से उत्पन्न, तन से पैदा।

उदाहरण - "कु अंगजों की बहु कष्टदायिता बता रही थी जो नेत्रवान को।"[2]

अंगज - संज्ञा पुल्लिंग (स्त्रीलिंग अंङ्जा)

1. पुत्र, बेटा, लड़का।

उदाहरण - "कृष्ण गेह कै काम, काम अंगज जनु अनुराध।"[3]

2. पसीना।

3. बाल, केश, रोम।

4. काम, क्रोध आदि विकार।

5. साहित्य में स्त्रियों के यौवन संबंधी जो सात्विक विकार हैं, उनमें हाव, भाव और हेला- ये तीन 'अंगज' कहलाते हैं। कायिक।

6. कामदेव

7. मद।

8. रोग।

9. रक्त, खून[4]


पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. हिंदी शब्दसागर, प्रथम भाग |लेखक: श्यामसुंदरदास बी. ए. |प्रकाशक: नागरी मुद्रण, वाराणसी |पृष्ठ संख्या: 05 |
  2. प्रियप्रवास, पृ. 103
  3. पृथ्वीराजरासो, पृ. 1।727
  4. अन्य कोश

बाहरी कड़ियाँ

संबंधित लेख