हेस्नाम कन्हाईलाल

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हेस्नाम कन्हाईलाल
हेस्नाम कन्हाईलाल
हेस्नाम कन्हाईलाल
पूरा नाम हेस्नाम कन्हाईलाल
जन्म 17 जनवरी, 1941
जन्म भूमि मणिपुर, भारत
मृत्यु 6 अक्टूबर 2016
मृत्यु स्थान इम्फाल, मणिपुर
पति/पत्नी सावित्री हेस्नाम
संतान पुत्र- हेस्नाम तोम्बा
कर्म भूमि भारत
कर्म-क्षेत्र रंगमंच कार्यक्रम
मुख्य रचनाएँ मेमायर्स ऑफ़ अफ़्रीका’, ‘कर्ण’, ‘अचिन गायनेर गाथा’, ‘द्रोपदी’
पुरस्कार-उपाधि संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार - 1985, पद्मश्री - 2004 तथा पद्मभूषण - 2016
विशेष योगदान हेस्नाम कन्हाईलाल ने भारतीय रंगमंच की विविधता को समृद्ध किया था।
नागरिकता भारतीय
अन्य जानकारी महाश्वेता देवी की कहानी पर आधारित हेस्नाम कन्हाईलाल की प्रस्तुति 'द्रोपदी' अत्यंत प्रशंसित और विवादित रही। इसमें उनकी पत्नी सावित्री का बेमिसाल अभिनय था।

हेस्नाम कन्हाईलाल (अंग्रेज़ी: Heisnam Kanhailal; जन्म- 17 जनवरी, 1941, मणिपुर, भारत; मृत्यु: 6 अक्टूबर 2016, इम्फाल, मणिपुर) मणिपुर से प्रसिद्ध भारतीय रंगमंच निर्देशक एवं ‘कलाक्षेत्र मणिपुर’ के संस्थापक-निदेशक थे। वे संगीत नाटक अकादमी के फेलो भी थे। उन्होंने अपने जीवनकाल में भारतीय रंगमंच की विविधिता को समृद्ध किया।[1]

परिचय

भारतीय रंगमंच के अप्रतिम निर्देशक हेस्नाम कन्हाईलाल का जन्म 17 जनवरी, 1941 को मणिपुर में हुआ था। उनकी पत्नी का नाम सावित्री हेस्नाम हैं, जो विख्यात रंगमंच अभिनेत्री हैं और उनके पुत्र हेस्नाम तोम्बा उभरते हुए निर्देशक हैं।

कार्यक्षेत्र

हेस्नाम ने भारतीय रंगमंच की विविधता को समृद्ध किया। उनकी रंगभाषा में पुर्वोत्तर का शरीर, मानस और वहां की लोक परंपराओं के साथ वहां की जनता का संघर्ष और प्रतिरोध भी शामिल है। उनकी रंगभाषा में पूर्वोत्तर की ध्वनियों का खेल भी था, जो उसे गहराई देता था। उनकी प्रस्तुतियां देश विदेश में मंचित हुईं और सराही गईं। कन्हाईलाल ने मणिपुर में कलाक्षेत्र रंगमंडल की स्थापना की थी और इसके साथ वे काम करते रहे। वे देश-विदेश की विभिन्न संस्थाओं में अभिनेताओं को प्रशिक्षण भी दे चुके थे।[1]

प्रमुख प्रस्तुति

हेस्नाम कन्हाईलाल ने बहुत-सी प्रस्तुतियाँ दी, जो काफी लोकप्रिय एवं सराहनीय रहीं। उनकी कुछ प्रस्तुति निम्न प्रकार हैं-

‘मेमायर्स ऑफ़ अफ़्रीका’, ‘कर्ण’, ‘पेबेट’, ‘डाकघर’, ‘अचिन गायनेर गाथा’, ‘द्रोपदी’ इत्यादि उनकी चर्चित नाट्य प्रस्तुतियां हैं।

महाश्वेता देवी की कहानी पर आधारित उनकी प्रस्तुति 'द्रोपदी' अत्यंत प्रशंसित और विवादित रही। इसमें उनकी पत्नी सावित्री का बेमिसाल अभिनय था। प्रस्तुति के बीच एक ऐसा क्षण आता है, जब वे मंच पर अनावृत होती हैं।[2]

पुरस्कार

संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार - 1985
पद्मश्री - 2004
पद्मभूषण - 2016

निधन

हेस्नाम कन्हाईलाल का फेफड़ों के कैंसर के कारण 6 अक्टूबर, 2016 को निधन हो गया। उनके निधन से भारतीय रंगमंच का एक युगांत हो गया है।


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. 1.0 1.1 भारतीय रंगमंच के अप्रतिम निर्देशक हेस्नाम कन्हाईलाल का निधन (हिंदी) khabar.ndtv.com। अभिगमन तिथि: 24 अगस्त, 2017।
  2. कहा जाता है कि मनोरमा देवी के बलात्कार और अपहरण के खिलाफ़ महिलाओं ने नग्न होकर आसाम राइफल्स के विरोध में जो प्रदर्शन किया था, उसकी प्रेरणा इस प्रस्तुति से ही मिली थी।

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