"दिल्ली की कृषि": अवतरणों में अंतर

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*ये गतिविधियाँ खाद्यान्‍नों, फ़सलों के मुक़ाबले अधिक लाभदायक साबित हुई हैं।
*ये गतिविधियाँ खाद्यान्‍नों, फ़सलों के मुक़ाबले अधिक लाभदायक साबित हुई हैं।
==सिंचाई==
==सिंचाई==
दिल्‍ली के गाँवों का तेज़ी से शहरीकरण होने की वजह से सिंचाई के अंतर्गत आने वाली खेती योग्‍य भूमि धीरे-धीरे कम होती जा रही है। राज्‍य में ‘केशोपुर प्रवाह सिंचाई योजना चरण तृतीय’ तथा ‘जल संशोधन संयंत्र से सुधार एवं प्रवाह विस्‍तार सिंचाई प्रणाली’ नामक दो योजनाएं चलाई जा रही है। [[राष्‍ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्‍ली]] के ग्रामीण क्षेत्र में 350 हेक्‍टेयर की सिंचाई राज्‍य नलकूपों द्वारा और 1,376 हेक्‍टेयर की सिंचाई अतिरिक्‍त पानी द्वारा की जा रही है। इसके अलावा 4,900 हेक्‍टेयर भूमि की सिंचाई हरियाणा सरकार के अधीन पश्चिमी यमुना नहर द्वारा की जा रही है।  
दिल्‍ली के गाँवों का तेज़ी से शहरीकरण होने की वजह से सिंचाई के अंतर्गत आने वाली खेती योग्‍य भूमि धीरे-धीरे कम होती जा रही है। राज्‍य में ‘केशोपुर प्रवाह सिंचाई योजना चरण तृतीय’ तथा ‘जल संशोधन संयंत्र से सुधार एवं प्रवाह विस्‍तार सिंचाई प्रणाली’ नामक दो योजनाएं चलाई जा रही है। [[राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली]] के ग्रामीण क्षेत्र में 350 हेक्‍टेयर की सिंचाई राज्‍य नलकूपों द्वारा और 1,376 हेक्‍टेयर की सिंचाई अतिरिक्‍त पानी द्वारा की जा रही है। इसके अलावा 4,900 हेक्‍टेयर भूमि की सिंचाई हरियाणा सरकार के अधीन पश्चिमी यमुना नहर द्वारा की जा रही है।  
 


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11:54, 31 मई 2012 के समय का अवतरण

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सिंचाई

दिल्‍ली के गाँवों का तेज़ी से शहरीकरण होने की वजह से सिंचाई के अंतर्गत आने वाली खेती योग्‍य भूमि धीरे-धीरे कम होती जा रही है। राज्‍य में ‘केशोपुर प्रवाह सिंचाई योजना चरण तृतीय’ तथा ‘जल संशोधन संयंत्र से सुधार एवं प्रवाह विस्‍तार सिंचाई प्रणाली’ नामक दो योजनाएं चलाई जा रही है। राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली के ग्रामीण क्षेत्र में 350 हेक्‍टेयर की सिंचाई राज्‍य नलकूपों द्वारा और 1,376 हेक्‍टेयर की सिंचाई अतिरिक्‍त पानी द्वारा की जा रही है। इसके अलावा 4,900 हेक्‍टेयर भूमि की सिंचाई हरियाणा सरकार के अधीन पश्चिमी यमुना नहर द्वारा की जा रही है।


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