"हम्मीर रासो": अवतरणों में अंतर

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*हम्मीर रासो नामक रचना की कोई मूल प्रति नहीं मिलती है।  
*हम्मीर रासो नामक रचना की कोई मूल प्रति नहीं मिलती है।  
*इस रचना के रचयिता शाङ्र्गधर माना जाता है।  
*इस रचना के रचयिता शारंधर माना जाता है।  
*'[[प्राकृत]] पैगलम' में इसके कुछ [[छन्द]] उदाहरण के रुप में दिए गये है।  
*'[[प्राकृत]] पैगलम' में इसके कुछ [[छन्द]] उदाहरण के रुप में दिए गये है।  
*इस ग्रन्थ की भाषा हम्मीर के समय के कुछ बाद की लगती है। अतः [[भाषा]] के आधार पर इसे हम्मीर के कुछ बाद का माना जा सकता है।
*इस ग्रन्थ की भाषा हम्मीर के समय के कुछ बाद की लगती है। अतः [[भाषा]] के आधार पर इसे हम्मीर के कुछ बाद का माना जा सकता है।

10:51, 26 मई 2011 का अवतरण

  • हम्मीर रासो नामक रचना की कोई मूल प्रति नहीं मिलती है।
  • इस रचना के रचयिता शारंधर माना जाता है।
  • 'प्राकृत पैगलम' में इसके कुछ छन्द उदाहरण के रुप में दिए गये है।
  • इस ग्रन्थ की भाषा हम्मीर के समय के कुछ बाद की लगती है। अतः भाषा के आधार पर इसे हम्मीर के कुछ बाद का माना जा सकता है।


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

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