यशोधर्मन

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
व्यवस्थापन (वार्ता | योगदान) द्वारा परिवर्तित 11:16, 1 अगस्त 2017 का अवतरण (Text replacement - " महान " to " महान् ")
(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)
यहाँ जाएँ:नेविगेशन, खोजें

यशोधर्मन अथवा 'यशोधर्मा' मालवा का राजा था, जिसने 528 ई. के लगभग हूण नेता मिहिरकुल को पराजित किया था। उसने भारतीय इतिहास में अपना ख्यातिपूर्ण स्थान बनाया है। यशोधर्मन ने मन्दसौर में दो कीर्ति स्तम्भ भी स्थापित करवाये थे। उसके पूर्वजों के विषय में अधिक जानकारी उपलब्ध नहीं है।

  • मिहिरकुल को हराने में सम्भवत: नरसिंहगुप्त बालादित्य ने यशोधर्मन की मदद की थी।
  • यशोधर्मन की निश्चित शासन अवधि ज्ञात नहीं है, किंतु ऐसा विश्वास किया जाता है कि उसने छठी शताब्दी के पूर्वार्ध में शासन किया।
  • मन्दसौर में यशोधर्मन ने दो कीर्ति स्तम्भ स्थापित करवाये थे।
  • कीर्ति स्तम्भों पर अंकित अभिलेखों के अनुसार वह ब्रह्मपुत्र से पश्चिमी समुद्र और हिमालय से त्रावनकोर प्रदेश के पश्चिमी घाट में स्थित महेन्द्रगिरि तक सम्पूर्ण भारत पर शासन करता था।
  • यशोधर्मन की इन प्रशस्तियों में किये गए दावों के अनुपोषण में कोई ऐसा स्वतंत्र एवं पुष्ट प्रमाण उपलब्ध नहीं है, जिसके द्वारा यह सिद्ध होता हो कि वह महान् योद्धा और वीर विजेता राजा था।


पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

टीका टिप्पणी और संदर्भ

संबंधित लेख