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| class="headbg16" style="border:1px solid #B0B0FF; padding:10px; -moz-border-radius: 6px;-webkit-border-radius: 6px; border-radius: 6px;" valign="top" | <div class="headbg15" style="padding-left:8px;"><span style="color:#191406">'''विशेष आलेख'''</span></div>  
 
| class="headbg16" style="border:1px solid #B0B0FF; padding:10px; -moz-border-radius: 6px;-webkit-border-radius: 6px; border-radius: 6px;" valign="top" | <div class="headbg15" style="padding-left:8px;"><span style="color:#191406">'''विशेष आलेख'''</span></div>  
 
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<center>'''[[वाराणसी]]'''</center>
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<center>'''[[होली]]'''</center>
<div id="rollnone"> [[चित्र:Kolaz-Varanasi.jpg|right|120px|वाराणसी के विभिन्न दृश्य |link=वाराणसी]] </div>
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<div id="rollnone">[[चित्र:Kolaz-Holi.jpg|right|150px|right|होली के विभिन्न दृश्य |link=होली]]</div>
*वाराणसी दक्षिण-पूर्वी [[उत्तर प्रदेश]] राज्य में [[गंगा नदी]] के बाएँ तट पर स्थित एक ऐतिहासिक नगर है।  
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*होली [[भारत]] के प्रमुख त्योहारों ([[दीपावली]], [[रक्षाबंधन]] और [[दशहरा]]) में से एक है।  
*वाराणसी '''विश्व के प्राचीनतम बसे हुए नगरों में से एक ''' है जो हज़ारों साल से उत्तर [[भारत]] का धार्मिक एवं सांस्कृतिक केन्द्र रहा है।
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*प्रचलित मान्यता के अनुसार यह त्योहार [[हिरण्यकशिपु]] की बहन [[होलिका]] के मारे जाने की स्मृति में मनाया जाता है। [[संस्कृत]] शब्द होलक्का से होली शब्द का जन्म हुआ है।
*ऐतिहासिक आलेखों से प्रमाणित होता है कि ईसा पूर्व की '''छठी शताब्दी में वाराणसी ([[काशी]]) भारतवर्ष का बड़ा ही समृद्धशाली और महत्त्वपूर्ण''' राज्य था।
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*यह [[ब्रज]] का विशेष त्योहार है। फाल्गुन के माह रंगभरनी [[एकादशी]] से सभी मन्दिरों में फाग उत्सव प्रारम्भ होते हैं जो दौज तक चलते हैं। दौज को [[बलदेव मन्दिर मथुरा|बल्देव (दाऊजी)]] में हुरंगा होता है।
*वाराणसी  '''महान कलाकार और साहित्यकारों की जन्मभूमि''' रही है, जिनमें [[उस्ताद बिस्मिल्ला ख़ाँ]], [[रवि शंकर|पंडित रवि शंकर]], [[प्रेमचंद]], [[भारतेन्दु हरिश्चंद्र]] और [[जयशंकर प्रसाद]] प्रमुख हैं।  '''[[वाराणसी|.... और पढ़ें]]'''
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*होलिकापूजन पूर्ण चंद्रमा ([[फाल्गुन]] [[पूर्णिमा]]) के दिन ही होता है। इसी दिन सायंकाल को होली जलाई जाती है, तथा लोग इसी अग्नि के चारों ओर नृत्य व [[संगीत]] का आनन्द लेते हैं। 
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*देश के कई अलग-अलग प्रान्तों में होली को अलग अलग नामों से जाना जाता है। जैसे- डोल पूर्णिमा ([[पश्चिम बंगाल]]), कमान पंदिगाई ([[तमिलनाडु]]), होला मोहल्ला ([[पंजाब]]), कामना हब्बा ([[कर्नाटक]]), फगुआ ([[बिहार]]) आदि। [[होली|.... और पढ़ें]]
 
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11:28, 15 मार्च 2011 का अवतरण

विशेष आलेख

होली
होली के विभिन्न दृश्य

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