वार्णव नाम के नगर का उल्लेख पाणिनि की 'अष्टाध्यायी'[1] में हुआ है, जो वर्णुनद पर स्थित था। वर्तमान में 'बन्नू' (पश्चिमी पाकिस्तान) से इस नगर का अभिज्ञान किया गया है।[2]
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वार्णव नाम के नगर का उल्लेख पाणिनि की 'अष्टाध्यायी'[1] में हुआ है, जो वर्णुनद पर स्थित था। वर्तमान में 'बन्नू' (पश्चिमी पाकिस्तान) से इस नगर का अभिज्ञान किया गया है।[2]
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