"राष्ट्रमंडल खेल 2010": अवतरणों में अंतर
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[[चित्र:Commonwealth-Games-2010-logo.png|thumb|प्रतीक | {{राष्ट्रमंडल खेल}} | ||
[[चित्र:Commonwealth-Games-2010-logo.png|thumb|प्रतीक चिह्न, दिल्ली राष्ट्रमंडल खेल 2010]] | |||
'''राष्ट्रमंडल खेल 2010''' अथवा '''19वें राष्ट्रमंडल खेलों''' की मेज़बानी [[दिल्ली]] ने की। विभिन्न खेलों के लिए आयोजित किया जाने वाला यह अब तक का सबसे बड़ा आयोजन रहा। [[भारत]] पूरे तीन दशकों बाद ऐसे किसी आयोजन का मेज़बान बना। इससे पहले भारत 1982 में एशियाई खेलों की मेज़बानी कर चुका है। खेलों का शुभारंभ दिल्ली के '''जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम''' में हुआ। | |||
==क्वींस बैटन रिले== | ==क्वींस बैटन रिले== | ||
राष्ट्रमंडल खेलों की क्वींस बैटन आधुनिक तकनीक और | [[राष्ट्रमंडल खेल|राष्ट्रमंडल खेलों]] की क्वींस बैटन आधुनिक तकनीक और ख़ूबसूरती का अनूठा समागम है, जिसके भीतर लोकेशन ट्रैकिंग सिस्टम और खेलों की वेबसाइट को तस्वीरें भेजने में सक्षम कैमरा भी लगा हुआ है। एल्युमीनियम और सोने से बनी बैटन पर बनी 18 कैरेट सोने की पत्ती में महारानी एलिजावेथ का संदेश उकेरा हुआ है। यह प्राचीन भारतीय ताम्रपत्र का द्योतक है, जिसमें लेजर तकनीक का इस्तेमाल किया गया है। | ||
*फोले डिजाइन के माइकल फोले के साथ टाइटन इंडस्ट्रीज और भारत इलेक्ट्रानिक्स ने मिलकर बैटन को तैयार | *फोले डिजाइन के माइकल फोले के साथ टाइटन इंडस्ट्रीज और भारत इलेक्ट्रानिक्स ने मिलकर बैटन को तैयार किया। | ||
*इसमें दुनिया भर से खेल प्रेमियों के एसएमएस रिसीव करने वाली प्रणाली भी है। | *इसमें दुनिया भर से खेल प्रेमियों के एसएमएस रिसीव करने वाली प्रणाली भी है। | ||
====क्वींस बैटन यात्रा==== | ====क्वींस बैटन यात्रा==== | ||
क्वींस बैटन रिले दिल्ली 2010 की शुरुआत [[29 अक्टूबर]] [[2009]] में लंदन में हुई थी, जब भारत के ओलिंपिक स्वर्ण पदक विजेता [[अभिनव बिंद्रा]] को यह बैटन दी गई थी। जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम में 19वें राष्ट्रमंडल खेलों की शुरुआत 3 अक्टूबर, 2010 से | क्वींस बैटन रिले दिल्ली 2010 की शुरुआत [[29 अक्टूबर]] [[2009]] में लंदन में हुई थी, जब भारत के ओलिंपिक स्वर्ण पदक विजेता [[अभिनव बिंद्रा]] को यह बैटन दी गई थी। जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम में 19वें राष्ट्रमंडल खेलों की शुरुआत 3 अक्टूबर, 2010 से हुई। इस दौरान बैटन ने दुनिया के एक तिहाई देशों से होते हुए 190,000 किलोमीटर से ज़्यादा की दूरी तय की। बैटन का यह सफर परिवहन के हर संभव माध्यम जैसे हवा, पानी और ज़मीन के रास्ते से होते हुए हज़ारों हाथों से गुजरा। यह मैराथन 240 दिनों में 70 देशों से होते हुए भारत पहुंचा। क्वींस बैटन 2010 दिल्ली को भारतीयता के भाव, सद्भाव, विकास तथा विविधता के रंग में रंगा गया। इसे हस्तशिल्प तथा उन्नत किस्म की इंजीनियरिंग व तकनीक का इस्तेमाल करके बनाया गया। यह बैटन एल्यूमीनियम से त्रिकोणकार बनाई गई। इसे हेलिक्स के रूप में ऊपर से मोड़ा गया। इस पर भारत के सभी कोनों में मिलने वाली मिट्टी के रंग का लेपन भी किया गया। <ref name="gov">{{cite web |url=http://www.bharat.gov.in/outerwin.php?id=http://www.cwgdelhi2010.org/?q=sports |title=आधिकारिक वेबसाइट |accessmonthday=28 सितंबर |accessyear=2010 |last= |first= |authorlink= |format=पीएचपी |publisher= |language=[[हिन्दी]]}}</ref> | ||
==शुभंकर तथा प्रतीक | |||
==शुभंकर तथा प्रतीक चिह्न== | |||
[[चित्र:Shera-cwg-mascot.JPG|thumb|शुभंकर "शेरा", राष्ट्रमंडल खेल 2010]] | [[चित्र:Shera-cwg-mascot.JPG|thumb|शुभंकर "शेरा", राष्ट्रमंडल खेल 2010]] | ||
दिल्ली राष्ट्रमंडल खेल 2010 के लिए "शेरा" को शुभंकर बनाया गया | दिल्ली राष्ट्रमंडल खेल 2010 के लिए "शेरा" को शुभंकर बनाया गया, जो भारत का राष्ट्रीय पशु [[बाघ]] है। शेरा को सबसे पहले मेलबर्न राष्ट्रमंडल खेलों के दौरान दिखाया गया था, जो महिमा, साहस तथा अनुग्रह शक्ति का प्रतीक है। नारंगी तथा काले रंग की पट्टियों वाला यह बाघ भारत के भाव को प्रदर्शित करता है और खिलाडियों को सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए प्रेरित करता है। दिल्ली राष्ट्रमंडल खेल का प्रतीक चिह्न '''चक्र''' से प्रेरित है, जो देश की आज़ादी को प्रदर्शित करता है। ऊपर की ओर जाती इंद्रधनुषी रंगों वाली पट्टियां मानव अंगुलियों की प्रतीक हैं, जो सभी भारतवासियों को एकसाथ आकर देश को गौरवान्वित करने तथा जीवंत राष्ट्र के रूप में बढ़ावा देने के लिए प्रेरित करता है। प्रतीक चिह्न की टैगलाइन 'कम आउट एंड प्ले' है, जिसका अर्थ है "आइए साथ मिलकर खेलें"। यह देश के सभी नागरिकों के लिए आमंत्रण है कि वो साथ आएं और देश के लिए खेलें और अपना बेहतरीन प्रदर्शन दें, जिससे देश का सिर गर्व से ऊंचा हो सके। यह दिल्ली के लोगों के लिए भी एक संदेश है कि वो राष्ट्रमंडल खेल 2010 के दौरान मेज़बानी के नए प्रतिमान स्थापित करें।<ref name="gov"/>{{cite web |url=http://bharat.gov.in/spotlight/spotlight_archive.php?id=48 |title=आधिकारिक वेबसाइट |accessmonthday=28 सितंबर |accessyear=2010 |last= |first= |authorlink= |format=पीएचपी |publisher= |language=[[हिन्दी]]}}</ref> | ||
==17 स्पर्धाएँ== | ==17 स्पर्धाएँ== | ||
19वें राष्ट्रमंडल खेलों में लॉन टेनिस को पहली बार शामिल किया | 19वें राष्ट्रमंडल खेलों में लॉन टेनिस को पहली बार शामिल किया गया। हॉकी भी मुख्य स्पर्धा के तौर पर रही, जिसे [[1998]] के कुआलालंपुर में अस्थायी रूप से शामिल किया गया था। [[दिल्ली]] में होने वाले खेलों में महिला और पुरुष दोनों स्पर्धाएँ हुई। रग्बी सेवन और लॉन बॉल भारतीय के लिए ख़ास आकर्षण थे। खेलों की सूची में 17 खेल शामिल हैं, जो इस प्रकार है-<ref name="gov"/>{{cite web |url=http://www.bharat.gov.in/outerwin.php?id=http://www.cwgdelhi2010.org/?q=node/627 |title=आधिकारिक वेबसाइट |accessmonthday=2 अक्टूबर |accessyear=2010 |last= |first= |authorlink= |format=पीएचपी |publisher= |language=[[हिन्दी]] }}</ref> | ||
#तीरंदाजी, | #तीरंदाजी, | ||
#एक्वेटिक्स, | #एक्वेटिक्स, | ||
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#भारोत्तोलन और | #भारोत्तोलन और | ||
#कुश्ती | #कुश्ती | ||
*विशिष्ट विकलांग एथलिटों के लिए 4 खेलों में 15 स्पर्धाएं आयोजित | *विशिष्ट विकलांग एथलिटों के लिए 4 खेलों में 15 स्पर्धाएं आयोजित हुई। इनमें एथलेटिक्स, तैराकी, पॉवरलिफ्टिंग और टेबल टेनिस है। | ||
==देशों की संख्या== | ==देशों की संख्या== | ||
1930 के पहले राष्ट्रमंडल खेलों में सिर्फ़ 11 देशों के 400 एथलीटों ने ही हिस्सा लिया था। लेकिन 2010 तक देशों की संख्या बढ़कर 72 हो चुकी है। भाग लेने वाले खिलाड़ियों की संख्या भी क़रीब साढ़े सात हज़ार तक पहुँच चुकी है। '''आस्ट्रेलिया''', '''कनाडा''' और '''इंग्लैण्ड''' इन खेलों के पावरहाउस हैं। हालाँकि शुरुआती दो संस्करणों में आस्ट्रेलिया का प्रदर्शन ख़ास अच्छा नहीं रहा, लेकिन [[1938]] के बाद से कंगारू टीम कभी भी शीर्ष तीन की सूची से बाहर नहीं रही। आस्ट्रेलिया ने अब तक सबसे ज़्यादा 11 बार अंकतालिका में अव्वल स्थान हासिल किया है। | 1930 के पहले राष्ट्रमंडल खेलों में सिर्फ़ 11 देशों के 400 एथलीटों ने ही हिस्सा लिया था। लेकिन 2010 तक देशों की संख्या बढ़कर 72 हो चुकी है। भाग लेने वाले खिलाड़ियों की संख्या भी क़रीब साढ़े सात हज़ार तक पहुँच चुकी है। '''आस्ट्रेलिया''', '''कनाडा''' और '''इंग्लैण्ड''' इन खेलों के पावरहाउस हैं। हालाँकि शुरुआती दो संस्करणों में आस्ट्रेलिया का प्रदर्शन ख़ास अच्छा नहीं रहा, लेकिन [[1938]] के बाद से कंगारू टीम कभी भी शीर्ष तीन की सूची से बाहर नहीं रही। आस्ट्रेलिया ने अब तक सबसे ज़्यादा 11 बार अंकतालिका में अव्वल स्थान हासिल किया है। मेज़बान भारत का इस बार सबसे बड़ा दल उतरा। | ||
==आयोजन स्थल== | ==आयोजन स्थल== | ||
{| class=" | {| class="bharattable" align="right" style="margin:10px" | ||
|- | |- | ||
|[[चित्र:Jawaharlal Nehru Stadium.jpg|जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम|120px| | |[[चित्र:Jawaharlal Nehru Stadium.jpg|जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम|120px|center]] | ||
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|<small>जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम</small> | |<small>जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम</small> | ||
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| [[चित्र:Major-Dhyan-Chand-Stadium-Delhi.jpg|मेजर ध्यानचन्द स्टेडियम|120px | | [[चित्र:Major-Dhyan-Chand-Stadium-Delhi.jpg|मेजर ध्यानचन्द स्टेडियम|120px|center]] | ||
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|<small>मेजर ध्यानचन्द स्टेडियम</small> | |<small>मेजर ध्यानचन्द स्टेडियम</small> | ||
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| [[चित्र:Siri-fort-sports-complex.jpg|सिरी फोर्ट | | [[चित्र:Siri-fort-sports-complex.jpg|सिरी फोर्ट स्पोर्टस कांप्लेक्स|120px|center]] | ||
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|<small>सिरी फोर्ट | |<small>सिरी फोर्ट स्पोर्टस कांप्लेक्स</small> | ||
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| [[चित्र:RK-Khanna-Tennis-Complex.jpg|आर के खन्ना स्टेडियम|120px| | | [[चित्र:RK-Khanna-Tennis-Complex.jpg|आर के खन्ना स्टेडियम|120px|center]] | ||
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|<small>आर के खन्ना स्टेडियम</small> | |<small>आर के खन्ना स्टेडियम</small> | ||
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| [[चित्र:Mukherjee-swimming-stadium.jpg|श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम|120px| | | [[चित्र:Mukherjee-swimming-stadium.jpg|श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम|120px|center]] | ||
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|<small>श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम</small> | |<small>श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम</small> | ||
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| [[चित्र:Talkatora-Stadium.jpg|तालकटोरा स्टेडियम|120px| | | [[चित्र:Talkatora-Stadium.jpg|तालकटोरा स्टेडियम|120px|center]] | ||
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|<small>तालकटोरा स्टेडियम</small> | |<small>तालकटोरा स्टेडियम</small> | ||
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| [[चित्र:Thyagaraj-Sports-Stadiaum.jpg|त्यागराज स्टेडियम|120px| | | [[चित्र:Thyagaraj-Sports-Stadiaum.jpg|त्यागराज स्टेडियम|120px|center]] | ||
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|<small>त्यागराज स्टेडियम</small> | |<small>त्यागराज स्टेडियम</small> | ||
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| [[चित्र:Yamuna-sports-complex.jpg|यमुना | | [[चित्र:Yamuna-sports-complex.jpg|यमुना स्पोर्टस कांप्लेक्स|120px|center]] | ||
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|<small>यमुना | |<small>यमुना स्पोर्टस कांप्लेक्स</small> | ||
|- | |- | ||
| [[चित्र:Karni singh shooting-stadium.jpg|कर्णी सिंह शूटिंग रेंज|120px| | | [[चित्र:Karni singh shooting-stadium.jpg|कर्णी सिंह शूटिंग रेंज|120px|center]] | ||
|- | |- | ||
|<small>कर्णी सिंह शूटिंग रेंज</small> | |<small>कर्णी सिंह शूटिंग रेंज</small> | ||
|} | |} | ||
राष्ट्रमंडल | राष्ट्रमंडल खेलों के मुख्य आयोजन स्थल रहे–जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम, इंदिरा गांधी इंडोर स्टेडियम, श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम, सीरी फोर्ट कांप्लेक्स, करणी सिंह शूटिंग रेंज, तालकटोरा स्टेडियम, त्यागराज स्टेडियम, यमुना स्पोर्टस कांप्लेक्स, आर.के. खन्ना स्टेडियम और दिल्ली विश्वविद्यालय। इनमें मुख्य आठ स्टेडियम हैं। गेम्स के आयोजन के लिए कुछ पुराने स्टेडियमों का जीर्णोद्वार किया गया तो कुछ को नए सिरे से बनाया गया। | ||
'''जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम'''<br /> | '''जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम'''<br /> | ||
1980 में निर्मित यह स्टेडियम देश के सबसे पुराने स्टेडियमों में शुमार है। वैसे दर्शकों की क्षमता 78 हज़ार है, लेकिन उदघाटन और समापन समारोह के दौरान | 1980 में निर्मित यह स्टेडियम देश के सबसे पुराने स्टेडियमों में शुमार है। वैसे दर्शकों की क्षमता 78 हज़ार है, लेकिन उदघाटन और समापन समारोह के दौरान तक़रीबन 1.30 लाख दर्शक इसका आनन्द उठा सकते हैं। [[खेलगाँव]] से 12 किलोमीटर दूर है। | ||
'''मेजर ध्यानचन्द स्टेडियम'''<br /> | '''मेजर ध्यानचन्द स्टेडियम'''<br /> | ||
[[मेजर ध्यानचन्द]] के नाम पर बने इस स्टेडियम का नाम पहले नेशनल स्टेडियम था। यह एशियाई खेलों का गवाह भी है। इसे मुख्य रूप से [[हॉकी]] को समर्पित कर दिया गया है। यहाँ पर तीन सिथेंटिक पिच बनाए | [[मेजर ध्यानचन्द]] के नाम पर बने इस स्टेडियम का नाम पहले नेशनल स्टेडियम था। यह एशियाई खेलों का गवाह भी है। इसे मुख्य रूप से [[हॉकी]] को समर्पित कर दिया गया है। यहाँ पर तीन सिथेंटिक पिच बनाए गए। दो कॉम्पिटिशन पिच, एक वॉर्मअप पिच। खेलगाँव से 10 किलोमीटर दूर। | ||
'''सिरी फोर्ट | '''सिरी फोर्ट स्पोर्टस कांप्लेक्स'''<br /> | ||
डीडीए स्वामित्व वाली इस स्टेडियम में बैडमिंटन और स्क्वैश की प्रतिस्पर्द्धाएँ आयोजित | डीडीए स्वामित्व वाली इस स्टेडियम में [[बैडमिंटन]] और स्क्वैश की प्रतिस्पर्द्धाएँ आयोजित हुई। बैडमिंटन मैच के लिए जहाँ पाँच कोर्ट बनाए गए, वहीं स्क्वैश के लिए 11 कोर्ट बनाए गए। खेलगाँव से 17 किलोमीटर दूर। | ||
'''आर के खन्ना स्टेडियम'''<br /> | '''आर के खन्ना स्टेडियम'''<br /> | ||
पुराने टेनिस स्टेडियमों में शुमार यह स्टेडियम अपनी विशेष स्थापत्य के लिए विख्यात है। यहाँ टेनिस के सभी मैच आयोजित किए | पुराने टेनिस स्टेडियमों में शुमार यह स्टेडियम अपनी विशेष स्थापत्य के लिए विख्यात है। यहाँ टेनिस के सभी मैच आयोजित किए गये। एक सेंट्रल कोर्ट के साथ छह कॉम्पिटिशन कोर्ट और छह वॉर्मअप कोर्ट हैं। खेलगाँव से 22 किलोमीटर दूर। | ||
'''श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम'''<br /> | '''श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम'''<br /> | ||
इसे मुख्य रूप से दिल्ली कॉमनवेल्थ गेम्स के लिए ही बनाया गया | इसे मुख्य रूप से दिल्ली कॉमनवेल्थ गेम्स के लिए ही बनाया गया । स्पोर्टस अथॉरितटी ऑफ़ इंडिया (साई) के स्वामित्व वाली इस स्वीमिंग कांप्लेक्स में स्वीमिंग की सारी प्रतिस्पर्द्धाएँ आयोजित की गई। यहाँ एक 8 लेन वाला बड़ा कॉम्पिटिशन पूल तैयार। एक डायविंग पूल के साथ छह लेन वाला एक वॉर्म अप पूल भी है। यह खेलगाँव से 12 किलोमीटर दूर और इसकी दर्शक क्षमता लगभग 6 हज़ार है। | ||
'''तालकटोरा स्टेडियम'''<br /> | '''तालकटोरा स्टेडियम'''<br /> | ||
इस स्टेडियम में मुक्केबाज़ी की प्रतिस्पर्द्धाएँ आयोजित | इस स्टेडियम में मुक्केबाज़ी की प्रतिस्पर्द्धाएँ आयोजित हुई। लगभग तीन हज़ार की क्षमता वाली इस स्टेडियम में भारतीय मुक्केबाज़ी के हालिया शानदार प्रदर्शन को देखते हुए कई पदक मिलने की सम्भावना है। एक कॉम्पिटिशन रिंग के अलावा चार वॉर्मअप रिंग हैं। यह खेलगाँव से 11 किलोमीटर दूर है। | ||
'''त्यागराज स्टेडियम'''<br /> | '''त्यागराज स्टेडियम'''<br /> | ||
300 करोड़ की लागत से निर्मित इस स्टेडियम में नेटबाल के मैच आयोजित | 300 करोड़ की लागत से निर्मित इस स्टेडियम में नेटबाल के मैच आयोजित हुए। आधुनिक तकनीक से निर्मित इस स्टेडियम की ख़ासियत इसकी सोलर लाईटिंग है। स्टेडियम की बिजली आपूर्ति लगभग इसी से पूरी हो जाती है। | ||
'''यमुना | '''यमुना स्पोर्टस कांप्लेक्स'''<br /> | ||
यहाँ पर तीरंदाज़ी और टेबल टेनिस के मुक़ाबले आयोजित किए | यहाँ पर तीरंदाज़ी और टेबल टेनिस के मुक़ाबले आयोजित किए गये। गेम्स के दौरान यहाँ आठ मैच टेबल जबकि 10 अभ्यास टेबल बनाए गए। स्टेडियम की दर्शक क्षमता लगभग पाँच हज़ार है। खेलगाँव से यमुना स्पोर्ट्स क्लब की दूरी 10 किलोमीटर है। | ||
'''कर्णी सिंह शूटिंग रेंज'''<br /> | '''कर्णी सिंह शूटिंग रेंज'''<br /> | ||
यह स्टेडियम भी पुराने स्टेडियमों में शुमार है। एशियन गेम्स के दौरान बने स्टेडियम में शूटिंग की प्रतिस्पर्द्धाएँ आयोजित | यह स्टेडियम भी पुराने स्टेडियमों में शुमार है। एशियन गेम्स के दौरान बने स्टेडियम में शूटिंग की प्रतिस्पर्द्धाएँ आयोजित हुई। स्टेडियम की शूटिंग रेंज को 10 मीटर, 25 मीटर, 50 मीटर, फ़ाइनल, ट्रैप और स्कीट रेंज में बाँटा गया। खेलगाँव से 21 किलोमीटर दूर। | ||
'''दिल्ली विश्वविद्यालय'''<br /> | '''दिल्ली विश्वविद्यालय'''<br /> | ||
दिल्ली विश्वविद्यालय के उत्तरी परिसर के विभिन्न कॉलेजों में रग्वी सेवंस के अभ्यास मैच आयोजित किए | दिल्ली विश्वविद्यालय के उत्तरी परिसर के विभिन्न कॉलेजों में रग्वी सेवंस के अभ्यास मैच आयोजित किए गये। इस प्रतिस्पर्द्धा में केवल पुरुष टीम ने भाग लिया और प्रतिस्पर्द्धा [[11 अक्टूबर]] और [[12 अक्टूबर]] को आयोजित की गई। दिल्ली यूनिवर्सिटी स्पोर्टस कॉम्प्लेक्स, खेलगाँव से 16 किलोमीटर दूर है। | ||
==खेलों का कार्यक्रम== | |||
राष्ट्रीय राजधानी [[दिल्ली]] राष्ट्रमंडल खेलों में कुल 17 तरह की प्रतियोगिता के लिए 11 स्टेडियम तय किए गए। <ref>{{cite web |url=http://www.samaylive.com/sports-hindi/common-welth-games-delhi-2010/98289.html |title=समय लाइव |accessmonthday=3 अक्टूबर |accessyear=2010 |last= |first= |authorlink= |format=एच.टी.एम.एल |publisher= |language=[[हिन्दी]] }}</ref> | |||
<center> | |||
{| width="80%" class="bharattable" border="1" | |||
|+19वें राष्ट्रमंडल खेलों का कार्यक्रम | |||
|- | |||
! मुक़ाबले | |||
! दिनांक | |||
! स्टेडियम | |||
|- | |||
| एथलेटिक्स | |||
| 6 से 12 और 14 अक्टूबर | |||
| जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम | |||
|- | |||
| लेनबाल्स | |||
| 4 से 13 अक्टूबर | |||
| जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम | |||
|- | |||
| भारोत्तोलन (वेटलिफ्टिंग) | |||
| 4 से 12 अक्टूबर | |||
| जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम | |||
|- | |||
| जिमनास्टिक्स | |||
| 4 से 8 और 12 से 14 अक्टूबर | |||
| इंदिरा गाँधी स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स | |||
|- | |||
| कुश्ती (रेसलिंग) | |||
| 5 से 10 अक्टूबर | |||
| इंदिरा गाँधी स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स | |||
|- | |||
| साइकिलिंग | |||
| 5 से 8, 10 और 13 अक्टूबर | |||
| इंदिरा गाँधी स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स | |||
|- | |||
| तैराकी (स्विमिंग) | |||
| 4 से9 अक्टूबर | |||
| श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम | |||
|- | |||
| डायविंग मुक़ाबला | |||
| 10 से 13 अक्टूबर | |||
| श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम | |||
|- | |||
| सिकनाइज स्विमिंग | |||
| 6 से 7 अक्टूबर | |||
| श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम | |||
|- | |||
| मुक्केबाज़ी (बॉक्सिंग) | |||
| 5 से 11 और 13 अक्टूबर | |||
| तालकटोरा स्टेडियम | |||
|- | |||
| [[हॉकी]] | |||
| 4-14 अक्टूबर | |||
| मेजर ध्यानचंद स्टेडियम | |||
|- | |||
| बैडमिंटन | |||
| 4-14 अक्टूबर | |||
| सिरी फोर्ट स्पोर्टस कांप्लेक्स | |||
|- | |||
| स्क्वॉश | |||
| 4 से 13 अक्टूबर | |||
| सिरी फोर्ट स्पोर्टस कांप्लेक्स | |||
|- | |||
| निशानेबाज़ी (शूटिंग) | |||
| 5 से 13 अक्टूबर | |||
| कर्णी सिंह शूटिंग रैंज | |||
|- | |||
| नेट बाल | |||
| 4 से 12 अक्टूबर | |||
| त्यागराज स्पोर्टस कॉम्प्लेक्स | |||
|- | |||
| टेनिस | |||
| 4 से 10 अक्टूबर | |||
| आर के खन्ना टेनिस कॉम्प्लेक्स | |||
|- | |||
| टेबल टेनिस | |||
| 4 से 14 अक्टूबर, | |||
| यमुना स्पोर्टस कॉम्प्लेक्स | |||
|- | |||
| तीरंदाजी (आर्चरी) | |||
| 4 से 10 अक्टूबर | |||
| यमुना स्पोर्टस कॉम्प्लेक्स | |||
|- | |||
| रग्बी सेवन्स खेल | |||
| 11 से 12 अक्टूबर | |||
| दिल्ली यूनिवर्सिटी | |||
|} | |||
</center> | |||
<div style="float:right; width:30%; border:thin solid #aaaaaa; margin:5px"> | |||
{| width="98%" class="bharattable" style="float:right"; | |||
|+ पदक तालिका | |||
|- | |||
! width="20%"|देश | |||
! width="19%"|स्वर्ण | |||
! width="19%"|रजत | |||
! width="19%"|कांस्य | |||
! width="20%"|कुल | |||
|} | |||
<div style="height: 300px; overflow: auto;overflow-x:hidden;"> | |||
{| class="bharattable" border="1" width="98%" | |||
|- | |||
| ऑस्ट्रेलिया | |||
| 74 | |||
| 55 | |||
| 48 | |||
| 177 | |||
|- | |||
| '''भारत''' | |||
| 38 | |||
| 27 | |||
| 36 | |||
| 101 | |||
|- | |||
| इंग्लैंड | |||
| 37 | |||
| 59 | |||
| 46 | |||
| 142 | |||
|- | |||
| कनाडा | |||
| 26 | |||
| 17 | |||
| 32 | |||
| 75 | |||
|- | |||
| दक्षिण अफ्रीका | |||
| 12 | |||
| 11 | |||
| 10 | |||
| 33 | |||
|- | |||
| [[केन्या]] | |||
| 12 | |||
| 11 | |||
| 09 | |||
| 32 | |||
|- | |||
| मलेशिया | |||
| 12 | |||
| 10 | |||
| 14 | |||
| 36 | |||
|- | |||
| सिंगापुर | |||
| 11 | |||
| 11 | |||
| 09 | |||
| 31 | |||
|- | |||
| नाईजीरिया | |||
| 11 | |||
| 10 | |||
| 14 | |||
| 35 | |||
|- | |||
| स्कॉटलैंड | |||
| 09 | |||
| 10 | |||
| 07 | |||
| 26 | |||
|- | |||
| न्यूजीलैंड | |||
| 06 | |||
| 22 | |||
| 08 | |||
| 36 | |||
|- | |||
| साइप्रस | |||
| 04 | |||
| 03 | |||
| 04 | |||
| 11 | |||
|- | |||
| उत्तरी आयरलैंड | |||
| 03 | |||
| 03 | |||
| 04 | |||
| 10 | |||
|- | |||
| समोआ | |||
| 03 | |||
| 00 | |||
| 01 | |||
| 04 | |||
|- | |||
| वेल्स | |||
| 02 | |||
| 07 | |||
| 10 | |||
| 19 | |||
|- | |||
| जमैका | |||
| 02 | |||
| 04 | |||
| 01 | |||
| 07 | |||
|- | |||
| पाकिस्तान | |||
| 02 | |||
| 01 | |||
| 02 | |||
| 05 | |||
|- | |||
| युगांडा | |||
| 02 | |||
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==पदक तालिका== | |||
दिल्ली में आयोजित राष्ट्रमंडल खेलों में भारत ने नया इतिहास रचते हुए पदक तालिका में दूसरा स्थान पाया। भारत ने पहली बार '''38 स्वर्ण पदकों''' सहित कुल 101 पदक जीत अपनी खेल ताकत की नई लकीर खींच दी । भारत के निशानेबाजों, एथलीटों, पहलवानों, तीरंदाजों और मुक्केबाजों ने स्वर्णिम सफलताएं अर्जित की और अन्य खेलों में भी रजत और कांस्य पदक जीते हैं। | |||
==उपलब्धियाँ== | |||
{{Main|राष्ट्रमंडल खेल 2010 की उपलब्धियाँ}} | |||
भारत ने कॉमनवेल्थ गेम्स के माध्यम से अपनी खेल शक्ति, आयोजन क्षमता और अपनी बढ़ती आर्थिक ताक़त की चकाचौंध से दुनिया को चौंधिया दिया। भारत की अर्थव्यवस्था की प्रगति से दुनिया पहले ही काफ़ी हद तक वाक़िफ़ थी। पर उनके दिमाग में कहीं न कहीं सपेरों और गाय, भैंसों के देश वाली छवि बनी हुई थी। पर आधुनिक साज-सज्जा वाले खेलगाँव और अत्याधुनिक सुविधाओं वाले स्टेडियमों को देखकर भाग लेने वाले देशों के मुँह से 'वाह' निकल ही गई। सच यही है कि विदेशी मीडिया इस आयोजन से अभिभूत है। इसके अलावा भारत ने खेलों में झण्डे गाड़कर सभी को क्षमता से अचम्भित ज़रूर कर दिया है। | |||
==समाचार== | |||
====गुरुवार, 14 अक्टूबर 2010==== | |||
'''<u>राष्ट्रमंडल खेलों में भारत दूसरे स्थान पर</u>''' | |||
[[चित्र:Saina-news.jpg|thumb|साइना नेहवाल]] | |||
19वें राष्टमंडल खेलों में इतिहास रचते हुए [[भारत]] ने कुल 38 स्वर्ण पदकों के साथ दूसरा स्थान प्राप्त किया है। बैडमिंटन के महिला एकल मुक़ाबले में [[साइना नेहवाल]] और युग़ल मुक़ाबले में ज्वाला गुट्टा तथा अश्विनी पोनप्पा की जोड़ी ने सोने का तमगा जीतकर कॉमनवेल्थ गेम्स की पदक तालिका में [[इंग्लैंड]] को पछाड़कर भारत को दूसरे स्थान पर पहुँचा दिया। इस तरह भारत ने आख़िरकार कुल जीते पदकों का शतक लगा दिया। खेलों के आख़िरी दिन भारत के लिए खुशखबरी बैडमिंटन के मुक़ाबलों से आई, लेकिन पुरुष हॉकी में भारत को निराशा हाथ लगी जब उसे फाइनल में ऑस्ट्रेलिया के हाथों शिकस्त झेलनी पड़ी। खेलों का समापन होने तक ऑस्ट्रेलिया 74 स्वर्ण, 54 रजत और 48 काँस्य सहित कुल 176 पदकों के साथ पहले स्थान पर रहा। वहीं, भारत दूसरे स्थान पर रहा, जिसने अपने निशानेबाजों, मुक्केबाजों और अन्य एथलीटों के बेहतरीन प्रदर्शन से 38 स्वर्ण, 27 रजत और 36 काँस्य जीतकर कुल 101 पदक हासिल किए। इंग्लैंड तीसरे स्थान..... | |||
== | ====<u>समाचार को विभिन्न स्रोतों पर पढ़ें</u>==== | ||
*[http://hindi.webdunia.com/sports/others/news/1010/14/1101014088_1.htm वेबदुनिया] | |||
*[http://www.khaskhabar.com/commonwealth-game-2010-102010151756752195.html ख़ास खबर] | |||
*[http://thatshindi.oneindia.in/news/2010/10/14/1287069946.html thatshindi.oneindia.in] | |||
*[http://www.bhaskar.com/article/SPO-CWG-CWG-india-finish-second-in-cwg-medal-tally-wins-101-medal-1456430.html दैनिक] | |||
*[http://www.samaylive.com/sports-hindi/common-welth-games-delhi-2010/101545.html समय लाइव] | |||
*[http://www.bbc.co.uk/hindi/sport/2010/10/101014_india_medalsaina_skj.shtml बी बी सी हिन्दी] | |||
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*[http://www.bharat.gov.in/outerwin.php?id=http://batonrelay.cwgdelhi2010.org/?q=node/2852 प्रतियोगिता कार्यक्रम] | *[http://www.bharat.gov.in/outerwin.php?id=http://batonrelay.cwgdelhi2010.org/?q=node/2852 प्रतियोगिता कार्यक्रम] | ||
*[http://www.bharat.gov.in/outerwin.php?id=http://yas.nic.in/CWG2010.htm राष्ट्रमंडल खेलों पर और अधिक जानकारी] | *[http://www.bharat.gov.in/outerwin.php?id=http://yas.nic.in/CWG2010.htm राष्ट्रमंडल खेलों पर और अधिक जानकारी] | ||
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राष्ट्रमंडल खेल • | राष्ट्रमंडल खेल 2010 • | उपलब्धियाँ |
राष्ट्रमंडल खेल 2010 अथवा 19वें राष्ट्रमंडल खेलों की मेज़बानी दिल्ली ने की। विभिन्न खेलों के लिए आयोजित किया जाने वाला यह अब तक का सबसे बड़ा आयोजन रहा। भारत पूरे तीन दशकों बाद ऐसे किसी आयोजन का मेज़बान बना। इससे पहले भारत 1982 में एशियाई खेलों की मेज़बानी कर चुका है। खेलों का शुभारंभ दिल्ली के जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम में हुआ।
क्वींस बैटन रिले
राष्ट्रमंडल खेलों की क्वींस बैटन आधुनिक तकनीक और ख़ूबसूरती का अनूठा समागम है, जिसके भीतर लोकेशन ट्रैकिंग सिस्टम और खेलों की वेबसाइट को तस्वीरें भेजने में सक्षम कैमरा भी लगा हुआ है। एल्युमीनियम और सोने से बनी बैटन पर बनी 18 कैरेट सोने की पत्ती में महारानी एलिजावेथ का संदेश उकेरा हुआ है। यह प्राचीन भारतीय ताम्रपत्र का द्योतक है, जिसमें लेजर तकनीक का इस्तेमाल किया गया है।
- फोले डिजाइन के माइकल फोले के साथ टाइटन इंडस्ट्रीज और भारत इलेक्ट्रानिक्स ने मिलकर बैटन को तैयार किया।
- इसमें दुनिया भर से खेल प्रेमियों के एसएमएस रिसीव करने वाली प्रणाली भी है।
क्वींस बैटन यात्रा
क्वींस बैटन रिले दिल्ली 2010 की शुरुआत 29 अक्टूबर 2009 में लंदन में हुई थी, जब भारत के ओलिंपिक स्वर्ण पदक विजेता अभिनव बिंद्रा को यह बैटन दी गई थी। जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम में 19वें राष्ट्रमंडल खेलों की शुरुआत 3 अक्टूबर, 2010 से हुई। इस दौरान बैटन ने दुनिया के एक तिहाई देशों से होते हुए 190,000 किलोमीटर से ज़्यादा की दूरी तय की। बैटन का यह सफर परिवहन के हर संभव माध्यम जैसे हवा, पानी और ज़मीन के रास्ते से होते हुए हज़ारों हाथों से गुजरा। यह मैराथन 240 दिनों में 70 देशों से होते हुए भारत पहुंचा। क्वींस बैटन 2010 दिल्ली को भारतीयता के भाव, सद्भाव, विकास तथा विविधता के रंग में रंगा गया। इसे हस्तशिल्प तथा उन्नत किस्म की इंजीनियरिंग व तकनीक का इस्तेमाल करके बनाया गया। यह बैटन एल्यूमीनियम से त्रिकोणकार बनाई गई। इसे हेलिक्स के रूप में ऊपर से मोड़ा गया। इस पर भारत के सभी कोनों में मिलने वाली मिट्टी के रंग का लेपन भी किया गया। [1]
शुभंकर तथा प्रतीक चिह्न
दिल्ली राष्ट्रमंडल खेल 2010 के लिए "शेरा" को शुभंकर बनाया गया, जो भारत का राष्ट्रीय पशु बाघ है। शेरा को सबसे पहले मेलबर्न राष्ट्रमंडल खेलों के दौरान दिखाया गया था, जो महिमा, साहस तथा अनुग्रह शक्ति का प्रतीक है। नारंगी तथा काले रंग की पट्टियों वाला यह बाघ भारत के भाव को प्रदर्शित करता है और खिलाडियों को सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए प्रेरित करता है। दिल्ली राष्ट्रमंडल खेल का प्रतीक चिह्न चक्र से प्रेरित है, जो देश की आज़ादी को प्रदर्शित करता है। ऊपर की ओर जाती इंद्रधनुषी रंगों वाली पट्टियां मानव अंगुलियों की प्रतीक हैं, जो सभी भारतवासियों को एकसाथ आकर देश को गौरवान्वित करने तथा जीवंत राष्ट्र के रूप में बढ़ावा देने के लिए प्रेरित करता है। प्रतीक चिह्न की टैगलाइन 'कम आउट एंड प्ले' है, जिसका अर्थ है "आइए साथ मिलकर खेलें"। यह देश के सभी नागरिकों के लिए आमंत्रण है कि वो साथ आएं और देश के लिए खेलें और अपना बेहतरीन प्रदर्शन दें, जिससे देश का सिर गर्व से ऊंचा हो सके। यह दिल्ली के लोगों के लिए भी एक संदेश है कि वो राष्ट्रमंडल खेल 2010 के दौरान मेज़बानी के नए प्रतिमान स्थापित करें।[1] आधिकारिक वेबसाइट (हिन्दी) (पीएचपी)। । अभिगमन तिथि: 28 सितंबर, 2010।</ref>
17 स्पर्धाएँ
19वें राष्ट्रमंडल खेलों में लॉन टेनिस को पहली बार शामिल किया गया। हॉकी भी मुख्य स्पर्धा के तौर पर रही, जिसे 1998 के कुआलालंपुर में अस्थायी रूप से शामिल किया गया था। दिल्ली में होने वाले खेलों में महिला और पुरुष दोनों स्पर्धाएँ हुई। रग्बी सेवन और लॉन बॉल भारतीय के लिए ख़ास आकर्षण थे। खेलों की सूची में 17 खेल शामिल हैं, जो इस प्रकार है-[1] आधिकारिक वेबसाइट (हिन्दी) (पीएचपी)। । अभिगमन तिथि: 2 अक्टूबर, 2010।</ref>
- तीरंदाजी,
- एक्वेटिक्स,
- एथलेटिक्स,
- बैडमिंटन,
- बॉक्सिंग,
- साइकिलिंग,
- जिमनास्टिक,
- हॉकी,
- लॉन बाउल,
- नेटबॉल,
- रग्बी सेवेन,
- शूटिंग,
- स्क्वॉश,
- टेबल टेनिस,
- टेनिस,
- भारोत्तोलन और
- कुश्ती
- विशिष्ट विकलांग एथलिटों के लिए 4 खेलों में 15 स्पर्धाएं आयोजित हुई। इनमें एथलेटिक्स, तैराकी, पॉवरलिफ्टिंग और टेबल टेनिस है।
देशों की संख्या
1930 के पहले राष्ट्रमंडल खेलों में सिर्फ़ 11 देशों के 400 एथलीटों ने ही हिस्सा लिया था। लेकिन 2010 तक देशों की संख्या बढ़कर 72 हो चुकी है। भाग लेने वाले खिलाड़ियों की संख्या भी क़रीब साढ़े सात हज़ार तक पहुँच चुकी है। आस्ट्रेलिया, कनाडा और इंग्लैण्ड इन खेलों के पावरहाउस हैं। हालाँकि शुरुआती दो संस्करणों में आस्ट्रेलिया का प्रदर्शन ख़ास अच्छा नहीं रहा, लेकिन 1938 के बाद से कंगारू टीम कभी भी शीर्ष तीन की सूची से बाहर नहीं रही। आस्ट्रेलिया ने अब तक सबसे ज़्यादा 11 बार अंकतालिका में अव्वल स्थान हासिल किया है। मेज़बान भारत का इस बार सबसे बड़ा दल उतरा।
आयोजन स्थल
जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम |
मेजर ध्यानचन्द स्टेडियम |
सिरी फोर्ट स्पोर्टस कांप्लेक्स |
आर के खन्ना स्टेडियम |
श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम |
तालकटोरा स्टेडियम |
त्यागराज स्टेडियम |
यमुना स्पोर्टस कांप्लेक्स |
कर्णी सिंह शूटिंग रेंज |
राष्ट्रमंडल खेलों के मुख्य आयोजन स्थल रहे–जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम, इंदिरा गांधी इंडोर स्टेडियम, श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम, सीरी फोर्ट कांप्लेक्स, करणी सिंह शूटिंग रेंज, तालकटोरा स्टेडियम, त्यागराज स्टेडियम, यमुना स्पोर्टस कांप्लेक्स, आर.के. खन्ना स्टेडियम और दिल्ली विश्वविद्यालय। इनमें मुख्य आठ स्टेडियम हैं। गेम्स के आयोजन के लिए कुछ पुराने स्टेडियमों का जीर्णोद्वार किया गया तो कुछ को नए सिरे से बनाया गया।
जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम
1980 में निर्मित यह स्टेडियम देश के सबसे पुराने स्टेडियमों में शुमार है। वैसे दर्शकों की क्षमता 78 हज़ार है, लेकिन उदघाटन और समापन समारोह के दौरान तक़रीबन 1.30 लाख दर्शक इसका आनन्द उठा सकते हैं। खेलगाँव से 12 किलोमीटर दूर है।
मेजर ध्यानचन्द स्टेडियम
मेजर ध्यानचन्द के नाम पर बने इस स्टेडियम का नाम पहले नेशनल स्टेडियम था। यह एशियाई खेलों का गवाह भी है। इसे मुख्य रूप से हॉकी को समर्पित कर दिया गया है। यहाँ पर तीन सिथेंटिक पिच बनाए गए। दो कॉम्पिटिशन पिच, एक वॉर्मअप पिच। खेलगाँव से 10 किलोमीटर दूर।
सिरी फोर्ट स्पोर्टस कांप्लेक्स
डीडीए स्वामित्व वाली इस स्टेडियम में बैडमिंटन और स्क्वैश की प्रतिस्पर्द्धाएँ आयोजित हुई। बैडमिंटन मैच के लिए जहाँ पाँच कोर्ट बनाए गए, वहीं स्क्वैश के लिए 11 कोर्ट बनाए गए। खेलगाँव से 17 किलोमीटर दूर।
आर के खन्ना स्टेडियम
पुराने टेनिस स्टेडियमों में शुमार यह स्टेडियम अपनी विशेष स्थापत्य के लिए विख्यात है। यहाँ टेनिस के सभी मैच आयोजित किए गये। एक सेंट्रल कोर्ट के साथ छह कॉम्पिटिशन कोर्ट और छह वॉर्मअप कोर्ट हैं। खेलगाँव से 22 किलोमीटर दूर।
श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम
इसे मुख्य रूप से दिल्ली कॉमनवेल्थ गेम्स के लिए ही बनाया गया । स्पोर्टस अथॉरितटी ऑफ़ इंडिया (साई) के स्वामित्व वाली इस स्वीमिंग कांप्लेक्स में स्वीमिंग की सारी प्रतिस्पर्द्धाएँ आयोजित की गई। यहाँ एक 8 लेन वाला बड़ा कॉम्पिटिशन पूल तैयार। एक डायविंग पूल के साथ छह लेन वाला एक वॉर्म अप पूल भी है। यह खेलगाँव से 12 किलोमीटर दूर और इसकी दर्शक क्षमता लगभग 6 हज़ार है।
तालकटोरा स्टेडियम
इस स्टेडियम में मुक्केबाज़ी की प्रतिस्पर्द्धाएँ आयोजित हुई। लगभग तीन हज़ार की क्षमता वाली इस स्टेडियम में भारतीय मुक्केबाज़ी के हालिया शानदार प्रदर्शन को देखते हुए कई पदक मिलने की सम्भावना है। एक कॉम्पिटिशन रिंग के अलावा चार वॉर्मअप रिंग हैं। यह खेलगाँव से 11 किलोमीटर दूर है।
त्यागराज स्टेडियम
300 करोड़ की लागत से निर्मित इस स्टेडियम में नेटबाल के मैच आयोजित हुए। आधुनिक तकनीक से निर्मित इस स्टेडियम की ख़ासियत इसकी सोलर लाईटिंग है। स्टेडियम की बिजली आपूर्ति लगभग इसी से पूरी हो जाती है।
यमुना स्पोर्टस कांप्लेक्स
यहाँ पर तीरंदाज़ी और टेबल टेनिस के मुक़ाबले आयोजित किए गये। गेम्स के दौरान यहाँ आठ मैच टेबल जबकि 10 अभ्यास टेबल बनाए गए। स्टेडियम की दर्शक क्षमता लगभग पाँच हज़ार है। खेलगाँव से यमुना स्पोर्ट्स क्लब की दूरी 10 किलोमीटर है।
कर्णी सिंह शूटिंग रेंज
यह स्टेडियम भी पुराने स्टेडियमों में शुमार है। एशियन गेम्स के दौरान बने स्टेडियम में शूटिंग की प्रतिस्पर्द्धाएँ आयोजित हुई। स्टेडियम की शूटिंग रेंज को 10 मीटर, 25 मीटर, 50 मीटर, फ़ाइनल, ट्रैप और स्कीट रेंज में बाँटा गया। खेलगाँव से 21 किलोमीटर दूर।
दिल्ली विश्वविद्यालय
दिल्ली विश्वविद्यालय के उत्तरी परिसर के विभिन्न कॉलेजों में रग्वी सेवंस के अभ्यास मैच आयोजित किए गये। इस प्रतिस्पर्द्धा में केवल पुरुष टीम ने भाग लिया और प्रतिस्पर्द्धा 11 अक्टूबर और 12 अक्टूबर को आयोजित की गई। दिल्ली यूनिवर्सिटी स्पोर्टस कॉम्प्लेक्स, खेलगाँव से 16 किलोमीटर दूर है।
खेलों का कार्यक्रम
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली राष्ट्रमंडल खेलों में कुल 17 तरह की प्रतियोगिता के लिए 11 स्टेडियम तय किए गए। [2]
मुक़ाबले | दिनांक | स्टेडियम |
---|---|---|
एथलेटिक्स | 6 से 12 और 14 अक्टूबर | जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम |
लेनबाल्स | 4 से 13 अक्टूबर | जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम |
भारोत्तोलन (वेटलिफ्टिंग) | 4 से 12 अक्टूबर | जवाहर लाल नेहरू स्टेडियम |
जिमनास्टिक्स | 4 से 8 और 12 से 14 अक्टूबर | इंदिरा गाँधी स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स |
कुश्ती (रेसलिंग) | 5 से 10 अक्टूबर | इंदिरा गाँधी स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स |
साइकिलिंग | 5 से 8, 10 और 13 अक्टूबर | इंदिरा गाँधी स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स |
तैराकी (स्विमिंग) | 4 से9 अक्टूबर | श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम |
डायविंग मुक़ाबला | 10 से 13 अक्टूबर | श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम |
सिकनाइज स्विमिंग | 6 से 7 अक्टूबर | श्यामा प्रसाद मुखर्जी स्टेडियम |
मुक्केबाज़ी (बॉक्सिंग) | 5 से 11 और 13 अक्टूबर | तालकटोरा स्टेडियम |
हॉकी | 4-14 अक्टूबर | मेजर ध्यानचंद स्टेडियम |
बैडमिंटन | 4-14 अक्टूबर | सिरी फोर्ट स्पोर्टस कांप्लेक्स |
स्क्वॉश | 4 से 13 अक्टूबर | सिरी फोर्ट स्पोर्टस कांप्लेक्स |
निशानेबाज़ी (शूटिंग) | 5 से 13 अक्टूबर | कर्णी सिंह शूटिंग रैंज |
नेट बाल | 4 से 12 अक्टूबर | त्यागराज स्पोर्टस कॉम्प्लेक्स |
टेनिस | 4 से 10 अक्टूबर | आर के खन्ना टेनिस कॉम्प्लेक्स |
टेबल टेनिस | 4 से 14 अक्टूबर, | यमुना स्पोर्टस कॉम्प्लेक्स |
तीरंदाजी (आर्चरी) | 4 से 10 अक्टूबर | यमुना स्पोर्टस कॉम्प्लेक्स |
रग्बी सेवन्स खेल | 11 से 12 अक्टूबर | दिल्ली यूनिवर्सिटी |
देश | स्वर्ण | रजत | कांस्य | कुल |
---|
पदक तालिका
दिल्ली में आयोजित राष्ट्रमंडल खेलों में भारत ने नया इतिहास रचते हुए पदक तालिका में दूसरा स्थान पाया। भारत ने पहली बार 38 स्वर्ण पदकों सहित कुल 101 पदक जीत अपनी खेल ताकत की नई लकीर खींच दी । भारत के निशानेबाजों, एथलीटों, पहलवानों, तीरंदाजों और मुक्केबाजों ने स्वर्णिम सफलताएं अर्जित की और अन्य खेलों में भी रजत और कांस्य पदक जीते हैं।
उपलब्धियाँ
भारत ने कॉमनवेल्थ गेम्स के माध्यम से अपनी खेल शक्ति, आयोजन क्षमता और अपनी बढ़ती आर्थिक ताक़त की चकाचौंध से दुनिया को चौंधिया दिया। भारत की अर्थव्यवस्था की प्रगति से दुनिया पहले ही काफ़ी हद तक वाक़िफ़ थी। पर उनके दिमाग में कहीं न कहीं सपेरों और गाय, भैंसों के देश वाली छवि बनी हुई थी। पर आधुनिक साज-सज्जा वाले खेलगाँव और अत्याधुनिक सुविधाओं वाले स्टेडियमों को देखकर भाग लेने वाले देशों के मुँह से 'वाह' निकल ही गई। सच यही है कि विदेशी मीडिया इस आयोजन से अभिभूत है। इसके अलावा भारत ने खेलों में झण्डे गाड़कर सभी को क्षमता से अचम्भित ज़रूर कर दिया है।
समाचार
गुरुवार, 14 अक्टूबर 2010
राष्ट्रमंडल खेलों में भारत दूसरे स्थान पर
19वें राष्टमंडल खेलों में इतिहास रचते हुए भारत ने कुल 38 स्वर्ण पदकों के साथ दूसरा स्थान प्राप्त किया है। बैडमिंटन के महिला एकल मुक़ाबले में साइना नेहवाल और युग़ल मुक़ाबले में ज्वाला गुट्टा तथा अश्विनी पोनप्पा की जोड़ी ने सोने का तमगा जीतकर कॉमनवेल्थ गेम्स की पदक तालिका में इंग्लैंड को पछाड़कर भारत को दूसरे स्थान पर पहुँचा दिया। इस तरह भारत ने आख़िरकार कुल जीते पदकों का शतक लगा दिया। खेलों के आख़िरी दिन भारत के लिए खुशखबरी बैडमिंटन के मुक़ाबलों से आई, लेकिन पुरुष हॉकी में भारत को निराशा हाथ लगी जब उसे फाइनल में ऑस्ट्रेलिया के हाथों शिकस्त झेलनी पड़ी। खेलों का समापन होने तक ऑस्ट्रेलिया 74 स्वर्ण, 54 रजत और 48 काँस्य सहित कुल 176 पदकों के साथ पहले स्थान पर रहा। वहीं, भारत दूसरे स्थान पर रहा, जिसने अपने निशानेबाजों, मुक्केबाजों और अन्य एथलीटों के बेहतरीन प्रदर्शन से 38 स्वर्ण, 27 रजत और 36 काँस्य जीतकर कुल 101 पदक हासिल किए। इंग्लैंड तीसरे स्थान.....
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