गोविन्द राम (वार्ता | योगदान) No edit summary |
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* महापुरुषों की जीवनियाँ हमें याद दिलाती हैं कि हम भी अपना जीवन महान बना सकते हैं और मरते समय अपने पदचिन्ह समय की बालू पर छोड़ सकते हैं। | * महापुरुषों की जीवनियाँ हमें याद दिलाती हैं कि हम भी अपना जीवन महान बना सकते हैं और मरते समय अपने पदचिन्ह समय की बालू पर छोड़ सकते हैं। | ||
* प्राचीन महापुरुषों के जीवन से अपरिचित रहना जीवन-भर निरंतर | * प्राचीन महापुरुषों के जीवन से अपरिचित रहना जीवन-भर निरंतर बाल्यावस्था में ही रहना है। | ||
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07:51, 21 जून 2011 का अवतरण
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