"कबीर के पद -कबीर": अवतरणों में अंतर
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सुन मेरे साजन सुन मेरे मीता, या जीवन में क्या क्या बीता॥ | सुन मेरे साजन सुन मेरे मीता, या जीवन में क्या क्या बीता॥ | ||
सिर पाहन का बोझा लीता, आगे कौन छुड़ावैगा॥ | सिर पाहन का बोझा लीता, आगे कौन छुड़ावैगा॥ | ||
परली पार मेरा मीता | परली पार मेरा मीता खड़िया, उस मिलने का ध्यान न धरिया॥ | ||
टूटी नाव, उपर जो बैठा, गाफिल गोता खावैगा॥ | टूटी नाव, उपर जो बैठा, गाफिल गोता खावैगा॥ | ||
दास कबीर कहैं समझाई, अंतकाल तेरा कौन सहाई॥ | दास कबीर कहैं समझाई, अंतकाल तेरा कौन सहाई॥ | ||
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2. | 2. | ||
रहना नहीं देस बिराना है॥ | रहना नहीं देस बिराना है॥ | ||
यह संसार कागद की | यह संसार कागद की पुड़िया, बूँद पड़े घुल जाना है॥ | ||
यह संसार काँटे की बाड़ी, उलझ-पुलझ मरि जाना है॥ | यह संसार काँटे की बाड़ी, उलझ-पुलझ मरि जाना है॥ | ||
यह संसार झाड़ और झाँखर, आग लगे बरि जाना है॥ | यह संसार झाड़ और झाँखर, आग लगे बरि जाना है॥ |
15:01, 1 नवम्बर 2015 का अवतरण
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