चित्रखंडी ऋषि
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चित्रखंडी ऋषि सात ऋषियों का सामूहिक नाम है। इसमें मरीचि, अंगिरा, अत्रि, पुलस्त्य, पुलह, ऋतु और वशिष्ठ ऋषि सम्मिलित हैं।
- इन ऋषियों ने 'पांचराज शास्त्र' का संकलन किया था। इसमें वेदों का निष्कर्ष निकाल कर रखा गया है। इस शास्त्र में धर्म, अर्थ, काम और मोक्ष चारों पुरुषार्थों का विवेचन है। यह ग्रंथ आजकल उपलब्ध नहीं है। अन्य ग्रंथों में ही इसका उल्लेख मिलता है।[1]
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टीका टिप्पणी और संदर्भ
- ↑ भारतीय संस्कृति कोश |लेखक: लीलाधर शर्मा 'पर्वतीय' |प्रकाशक: राजपाल एंड सन्ज, मदरसा रोड, कश्मीरी गेट, दिल्ली |संकलन: भारतकोश पुस्तकालय |पृष्ठ संख्या: 331 |