"तोबा ककड़": अवतरणों में अंतर
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*तोबा ककड़ की शुष्क पहाड़ियों से गुज़रने का सबसे प्रसिद्ध रास्ता [[बोलन दर्रा]] है, जिसका भारतीय उपमहाद्वीप के [[इतिहास]] पर गहरा प्रभाव है, क्योंकि बहुत-सी जातियाँ और फ़ौजें इसी मार्ग से [[भारत]] और [[अफ़ग़ानिस्तान]] व [[ईरान]] के बीच आई-गई हैं। | *तोबा ककड़ की शुष्क पहाड़ियों से गुज़रने का सबसे प्रसिद्ध रास्ता [[बोलन दर्रा]] है, जिसका भारतीय उपमहाद्वीप के [[इतिहास]] पर गहरा प्रभाव है, क्योंकि बहुत-सी जातियाँ और फ़ौजें इसी मार्ग से [[भारत]] और [[अफ़ग़ानिस्तान]] व [[ईरान]] के बीच आई-गई हैं। | ||
*वर्ष [[1980]] के दशक के बाद यह [[पर्वत]] विशेष रूप से ख़बरों में रहे, क्योंकि पहले इनमें पाकिस्तानी परमाणु विस्फोट परीक्षण स्थल होने की अफ़वाह थी। | *वर्ष [[1980]] के दशक के बाद यह [[पर्वत]] विशेष रूप से ख़बरों में रहे, क्योंकि पहले इनमें पाकिस्तानी परमाणु विस्फोट परीक्षण स्थल होने की अफ़वाह थी। | ||
*[[पाकिस्तान]] के चमन के शहर के बाद यह श्रृंखला दक्षिण-पश्चिम की ओर मुड़ जाती है और उसके बाद इसे 'ख़्वाजा अमरान' के नाम से जाना जाता है। | *[[पाकिस्तान]] के चमन के शहर के बाद यह श्रृंखला दक्षिण-पश्चिम की ओर मुड़ जाती है और उसके बाद इसे 'ख़्वाजा अमरान' के नाम से जाना जाता है। | ||
08:15, 21 जून 2014 के समय का अवतरण
तोबा ककड़ अथवा 'तोबा काकड़' या 'तोबा ककड़ी' सफ़ेद कोह पहाड़ों की एक दक्षिणी उपशाखा है, जो बलूचिस्तान, पाकिस्तान में स्थित है। कभी-कभी इस श्रृंखला को बलूचिस्तान और अफ़ग़ानिस्तान के बीच एक प्राकृतिक सीमा माना जाता है।
- तोबा ककड़ की शुष्क पहाड़ियों से गुज़रने का सबसे प्रसिद्ध रास्ता बोलन दर्रा है, जिसका भारतीय उपमहाद्वीप के इतिहास पर गहरा प्रभाव है, क्योंकि बहुत-सी जातियाँ और फ़ौजें इसी मार्ग से भारत और अफ़ग़ानिस्तान व ईरान के बीच आई-गई हैं।
- वर्ष 1980 के दशक के बाद यह पर्वत विशेष रूप से ख़बरों में रहे, क्योंकि पहले इनमें पाकिस्तानी परमाणु विस्फोट परीक्षण स्थल होने की अफ़वाह थी।
- पाकिस्तान के चमन के शहर के बाद यह श्रृंखला दक्षिण-पश्चिम की ओर मुड़ जाती है और उसके बाद इसे 'ख़्वाजा अमरान' के नाम से जाना जाता है।
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