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नष्ट होने वाला || नश्वर | |- | ||
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| नभ (आकाश) में विचरण करने वाला || नभचर/खेचर | | नभ (आकाश) में विचरण करने वाला || नभचर/खेचर |
12:13, 5 मार्च 2017 का अवतरण
हिन्दी भाषा में कई शब्दों के स्थान पर एक शब्द बोल कर हम भाषा को प्रभावशाली एवं आकर्षक बनाते हैं। इसी प्रकार, अनेक शब्दों के स्थान पर एक शब्द का प्रयोग कर सकते हैं। भाषा की सुदृढ़ता, भावों की गम्भीरता और चुस्त शैली के लिए यह आवश्यक है कि लेखक शब्दों (पदों) के प्रयोग में संयम से काम ले, ताकि वह विस्तृत विचारों या भावों को थोड़े-से-थोड़े शब्दों में व्यक्त कर सके।
समास, तद्धित और कृदन्त वाक्यांश या वाक्य एक शब्द या पद के रूप में संक्षिप्त किये जा सकते हैं। ऐसी हालत में मूल वाक्यांश या वाक्य के शब्दों के अनुसार ही एक शब्द या पद का निर्माण होना चाहिए। दूसरा तथ्य यह कि वाक्यांश को संक्षेप में सामासिक पद का भी रूप दिया जाता है। कुछ ऐसे लाक्षणिक पद या शब्द भी हैं, जो अपने में पूरे एक वाक्य या वाक्यांश का अर्थ रखते हैं। भाषा में कई शब्दों के स्थान पर एक शब्द बोल कर हम भाषा को प्रभावशाली एवं आकर्षक बनाते हैं, जैसे-
- उदाहरण - 1.
"राम कविता लिखता है।" - इस वाक्य में अनेक शब्दों के स्थान पर हम एक ही शब्द 'कवि' का प्रयोग कर सकते हैं।
- उदाहरण - 2.
"जिस स्त्री का पति मर चुका हो।" - इस वाक्य में शब्द-समूह के स्थान पर 'विधवा' शब्द का प्रयोग करना अधिक उपयुक्त है।
इसी प्रकार अनेक शब्दों के स्थान पर एक शब्द का प्रयोग कर सकते है। यहाँ पर अनेक शब्दों के लिए एक शब्द के कुछ उदाहरण दिए जा रहे हैं-
वाक्यांश या शब्द-समूह | शब्द |
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जिसका कोई आश्रय न हो | निराश्रय |
निर्वाचन में अपना मत देने वाला | निर्वाचक |
जिसमें मल (गंदगी) न हो | निर्मल |
जिस स्थान पर अभिनेता अपना वेश-विन्यास करते हैं | नेपथ्य |
जो अपने लाभ या स्वार्थ का ध्यान न रखता हो | नि:स्वार्थ |
जो निंदा के योग्य हो | निंदनीय |
जो कामना रहित हो | निष्काम |
जो चिंता रहित हो | निश्चिन्त |
जिसका कोई आधार न हो | निराधार |
नया उदित होने वाला | नवोदित |
अभी-अभी जन्म लेने वाला | नवजात |
नदी से सींचा जाने वाला प्रदेश | नदीमातृक |
जिसका कोई आकार न हो | निराकार |
बिना पलक गिराये हुए | निर्निमेष |
जो अति (बहुत) लद्यु (छोटा) नहीं है | नातिलद्यु |
उच्च न्यायालय का न्यायाधीश | न्यायमूर्ति |
जो तेजहीन हो | निस्तेज |
जिसे कोई भय न हो | निर्भय |
जो एक अक्षर भी न जानता हो | निरक्षर |
जिसमें कोई दोष न हो | निर्दोष |
जिसकी उपमा न दी जा सके | निरुपम |
जिसके हृदय में ममता न हो | निर्मम |
जिसके हृदय में दया न हो | निर्दय |
जिसमें हानि या अनर्थ का भय न हो | निरापद |
जिसे कोई आकांक्षा न हो | नि:स्पृह |
नगर में रहने वाला | नागरिक |
जिसे देश से निकाला गया हो | निर्वासित |
जिसका मूल नहीं है | निर्मूल |
जिसका कोई अर्थ न हो | निरर्थक |
जो सत्व, रज और तम तीनों गुणों से परे हो | निर्गुण |
जो अति (बहुत) दीर्घ (बड़ा) नहीं है | नातिदीर्घ |
जो नृत्यु करता है | नृत्यकार/नर्तक |
जिसमें तेज नहीं है | निस्तेज |
जो नीचे लिखा गया है | निम्नलिखित |
जिसके बारे में मतभेद न हो | निर्विवाद |
जिसके पास शक्ति न हो | निर्बल |
जिस पर किसी प्रकार का अंकुश (नियंत्रण) न हो | निरंकुश |
जो उत्तर न दे सके | निरुत्तर |
जो न्याय जानता है | नैयायिक |
शासकीय अधिकारियों का शासन | नौकरशाही |
नया-नया आया हुआ | नवागन्तुक |
नगर में जन्म लेने वाला | नागरिक |
जिसे ईश्वर पर विश्वास ने हो | नास्तिक |
जिसके हृदय में पाप न हो | निष्पाप |
निशि में विचरण | निशाचर |
जिसे कोई भ्रम या संदेह न हो | निर्भ्रांत |
एक देश से माल दूसरे देश में जाने की क्रिया | निर्यात |
जिसका कोई शुल्क न लिया जाये | नि:शुल्क |
किसी के साथ सम्बन्ध न रखने वाला | नि:संग |
जिसके कोई संतान न हो | नि:संतान |
नाक से रक्त बहने का रोग | नकसीर |
नख से शिखा तक के सब अंग | नखशिख |
नष्ट होने वाला | नश्वर |
नभ (आकाश) में विचरण करने वाला | नभचर/खेचर |
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टीका टिप्पणी और संदर्भ
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