"साँचा:देव की रचनाएँ": अवतरणों में अंतर

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|रचना प्रकार=कविता
|रचना प्रकार=कविता
|रचना 1=देव मैं सीस बसायो सनेह कै
|रचना 1=देव मैं सीस बसायो सनेह कै
|रचना 2=मुरली सुनत बाम काम-जुर लीन भई
|रचना 2=मुरली सुनत बाम काम
|रचना 3=गोरी गरबीली उठी ऊँघत चकात गात
|रचना 3=गोरी गरबीली उठी
|रचना 4=माथे महावर पाँय को देखि महावर पाय सुढार ढुरीये
|रचना 4=माथे महावर पाँय को
|रचना 5=इन्दिरा के मन्दिर से सुंदर बदन वे
|रचना 5=इन्दिरा के मन्दिर
|रचना 6=देव जियै जब पूछौ तौ प्रेम को पार कहूँ लहि आवत नाहीं
|रचना 6=देव जियै जब पूछौ तौ
|रचना 7=माखन सो मन दूध सो जोबन है दधि ते अधिकै उर ईठी
|रचना 7=माखन सो मन दूध सो जोबन
|रचना 8=आई बरसाने ते बुलाय वृषभानु सुता
|रचना 8=आई बरसाने ते बुलाय
|रचना 9=मँद हास चँद्रिका को मँदिर बदन चँद
|रचना 9=मँद हास चँद्रिका को
|रचना 10=दूलह को देखत हिए
|रचना 10=दूलह को देखत हिए
|रचना 11=आँगन बैठी सुन्यो पिय आवन चित झरोखन मे लख्यो परै
|रचना 11=आँगन बैठी सुन्यो पिय
|रचना 12=मूरति जो मनमोहन की मनमोहनी के थिर ह्वै थिरकी सी
|रचना 12=मूरति जो मनमोहन की
|रचना 13=कुँजन के कोरे मनु केलिरस बोरे लाल
|रचना 13=कुँजन के कोरे मनु
|रचना 14=रूपे के महल धूपे अगर उदार द्वार
|रचना 14=रूपे के महल धूपे
|रचना 15=ग्रीषम प्रचंड घाम चंडकर मंडल तें
|रचना 15=ग्रीषम प्रचंड घाम
|रचना 16=लागत समीर लँक लहकै समूल अँग
|रचना 16=लागत समीर लँक
|रचना 17=आवन सुन्यो है मनभावन को भावती ने
|रचना 17=आवन सुन्यो है मनभावन
|रचना 18=लाज के निगड़ गड़दार अड़दार चँहु
|रचना 18=लाज के निगड़ गड़दार
|रचना 19=दरबार  
|रचना 19=दरबार  
|रचना 20=लाल बिना बिरहाकुल बाल बियोग की ज्वाल भई झुरि झूरी
|रचना 20=लाल बिना बिरहाकुल
|रचना 21=कुन्दन से अँग नवयौवन सुरँग उतै
|रचना 21=कुन्दन से अँग  
|रचना 22=मँद महा मोहक मधुर सुर सुनियत
|रचना 22=मँद महा मोहक  
|रचना 23=घाँघरो घनेरो लाँबी लटैँ लटे लाँक पर
|रचना 23=घाँघरो घनेरो लाँबी
|रचना 24=प्यारे तरु नीजन विपिन तरुनी जन ह्वै
|रचना 24=प्यारे तरु नीजन
|रचना 25=झहरि झहरि झीनी बूँद है परति मानों
|रचना 25=झहरि झहरि झीनी
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{{सूचना बक्सा कविता सूची
{{सूचना बक्सा कविता सूची
|कवि का नाम=देव  
|कवि का नाम=देव  
|रचना प्रकार=
|रचना प्रकार=
|रचना 1=प्रेम चरचा है अरचा है कुल नेमन रचा है
|रचना 1=प्रेम चरचा है अरचा है
|रचना 2=जगमगे जोबन जराऊ तरिवन कान
|रचना 2=जगमगे जोबन
|रचना 3=मँजुल मँजरी पँजरी सी ह्वै मनोज के ओज सम्हारत चीरन
|रचना 3=मँजुल मँजरी पँजरी सी
|रचना 4=कोऊ कहौ कुलटा कुलनि अकुलानि कहौ
|रचना 4=कोऊ कहौ कुलटा कुलनि
|रचना 5=साँवरी सुघर नारी महा सुकुमारी सोहै
|रचना 5=साँवरी सुघर नारी
|रचना 6=नासिका ऊपर भौँहन के मधि
|रचना 6=नासिका ऊपर भौंहन के मधि
|रचना 7=भेष भये विष भावै न भूषन भूख न भोजन की कछु ईछी
|रचना 7=भेष भये विष भावै न भूषन
|रचना 8=धार मैँ धाय धँसी निरधार ह्वै जाय फँसी उकसी न अँधेरी
|रचना 8=धार मैं धाय धँसी निरधार
|रचना 9=प्रेम समुद्र परयो गहिरे अभिमान के फेन रह्यो गहि रे मन
|रचना 9=प्रेम समुद्र परयो गहिरे
|रचना 10=साँवरो रूप  
|रचना 10=साँवरो रूप  
|रचना 11=खरी दुपहरी भरी हरी हरी कुंज मँजु
|रचना 11=खरी दुपहरी भरी
|रचना 12=सीतल महल महा, सीतल पटीर पंक
|रचना 12=सीतल महल महा
|रचना 13=पीत रँग सारी गोरे अँग मिलि गई देव
|रचना 13=पीत रंग सारी
|रचना 14=सुधाकर से मुख बानि सुधा मुसकानि सुधा दरसै रदपाँति
|रचना 14=सुधाकर से मुख बानि
|रचना 15=जबतें कुबर कान्ह रावरी
|रचना 15=जबतें कुबर कान्ह रावरी
|रचना 16=हँसी की चोट
|रचना 16=हँसी की चोट
|रचना 17=फटिक सिलानी सौं सुधारयौ
|रचना 17=फटिक सिलानी सौं सुधारयौ
|रचना 18=बोयो बस बिरद मैँ बोरी भई बरजत
|रचना 18=बोयो बस बिरद मैं
|रचना 19=जोबन के रँग भरी ईँगुर से अँगनि पै
|रचना 19=जोबन के रंग भरी
|रचना 20=सहर सहर सोँधो सीतल समीर डोलै
|रचना 20=सहर सहर सोंधो सीतल
|रचना 21=बारिध बिरह बड़ी बारिधि की बड़वागि
|रचना 21=बारिध बिरह बड़ी
|रचना 22=श्रीब्रजदूलह  
|रचना 22=श्रीब्रजदूलह  
|रचना 23=बरुनी बघँबर मैँ गूदरी पलक दोऊ
|रचना 23=बरुनी बघंबर मैं गूदरी
|रचना 24=वा चकई को भयो चित चीतो चितौत चँहु दिसि चाय सों नाँची
|रचना 24=वा चकई को भयो चित
|रचना 25=
|रचना 25=
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<noinclude>[[Category:देव कवि]]</noinclude>
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15:11, 13 नवम्बर 2011 के समय का अवतरण