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*धार्मिक दृष्टि से उदार होने के कारण उसने अनेक [[बौद्ध]] मठों एवं हिन्दू मंदिरों का निर्माण करवाया था। | *धार्मिक दृष्टि से उदार होने के कारण उसने अनेक [[बौद्ध]] मठों एवं हिन्दू मंदिरों का निर्माण करवाया था। | ||
*उसके | *उसके महत्त्वपूर्ण निर्माण कार्यो में सूर्य का प्रसिद्ध मार्तण्ड मंदिर शामिल हैं। | ||
*ललितादित्य ने कश्मीर में परिहासपुर नगर बसाया था। | *ललितादित्य ने कश्मीर में परिहासपुर नगर बसाया था। | ||
*[[कन्नौज]] के राजा यशोधर्मन को हराने के बाद उसके दरबारी कवियों [[भवभूति]] तथा वाक्पतिराज को ललितादित्य ने [[कश्मीर]] बुलाकर अपने दरबार में रखा। | *[[कन्नौज]] के राजा यशोधर्मन को हराने के बाद उसके दरबारी कवियों [[भवभूति]] तथा वाक्पतिराज को ललितादित्य ने [[कश्मीर]] बुलाकर अपने दरबार में रखा। |
13:48, 4 जनवरी 2011 का अवतरण
(724 से 770 ई.)
- ललितादित्य कर्कोटक वंश का सर्वाधिक शक्तिशाली शासक था।
- उसने तिब्बतियों, कम्बोजों एवं तुर्को को पराजित किया।
- उसकी श्रेष्ठ उपलब्धि थी - कन्नौज नरेश यशोवर्मन की पराजय।
- 733 ई. में ललितादित्य ने चीन में अपना दूत मण्डल भेजा।
- विजेता होने के साथ ही ललितादित्य एक महान निर्माता भी था।
- धार्मिक दृष्टि से उदार होने के कारण उसने अनेक बौद्ध मठों एवं हिन्दू मंदिरों का निर्माण करवाया था।
- उसके महत्त्वपूर्ण निर्माण कार्यो में सूर्य का प्रसिद्ध मार्तण्ड मंदिर शामिल हैं।
- ललितादित्य ने कश्मीर में परिहासपुर नगर बसाया था।
- कन्नौज के राजा यशोधर्मन को हराने के बाद उसके दरबारी कवियों भवभूति तथा वाक्पतिराज को ललितादित्य ने कश्मीर बुलाकर अपने दरबार में रखा।
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