"मलिक करनफूल मुबारकशाह": अवतरणों में अंतर

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*'''मलिक करनफूल मुबारकशाह''' ने 1399-1402 ई. तक राज्य किया।
*'''मलिक करनफूल मुबारकशाह''' ने 1399-1402 ई. तक राज्य किया।
*वह प्रथम [[शर्की वंश|शर्की]] शासक [[ख़्वाजा जहान]] का दत्तक पुत्र था।
*वह प्रथम [[शर्की वंश|शर्की]] शासक [[ख़्वाजा जहान]] का [[दत्तक पुत्र]] था।
*ख़्वाजा जहान के बाद वह मुबारकशाह सुल्तान की उपाधि के साथ जौनपुर के राजसिंहासन पर बैठा।
*ख़्वाजा जहान के बाद वह मुबारकशाह सुल्तान की उपाधि के साथ [[जौनपुर]] के राजसिंहासन पर बैठा।
*उसने अपने नाम से 'खुतबे' (उपदेश या प्रशंसात्मक रचना) भी पढ़वाये।
*उसने अपने नाम से 'खुतबे'<ref> उपदेश या प्रशंसात्मक रचना</ref> भी पढ़वाये।
*उसके शासन काल में सुल्तान [[महमूद तुग़लक़]] के वज़ीर 'मल्लू-इकबाद ख़ाँ' ने [[जौनपुर]] पर आक्रमण किया, परन्तु उसका प्रयास असफल रहा।
*उसके शासन काल में सुल्तान [[महमूद तुग़लक़]] के वज़ीर 'मल्लू-इकबाद ख़ाँ' ने [[जौनपुर]] पर आक्रमण किया, परन्तु उसका प्रयास असफल रहा।
*1402 ई. में मलिक करनफूल मुबारकशाह की मृत्यु हो गई।
*1402 ई. में मलिक करनफूल मुबारकशाह की मृत्यु हो गई।

10:55, 13 मार्च 2012 के समय का अवतरण

  • मलिक करनफूल मुबारकशाह ने 1399-1402 ई. तक राज्य किया।
  • वह प्रथम शर्की शासक ख़्वाजा जहान का दत्तक पुत्र था।
  • ख़्वाजा जहान के बाद वह मुबारकशाह सुल्तान की उपाधि के साथ जौनपुर के राजसिंहासन पर बैठा।
  • उसने अपने नाम से 'खुतबे'[1] भी पढ़वाये।
  • उसके शासन काल में सुल्तान महमूद तुग़लक़ के वज़ीर 'मल्लू-इकबाद ख़ाँ' ने जौनपुर पर आक्रमण किया, परन्तु उसका प्रयास असफल रहा।
  • 1402 ई. में मलिक करनफूल मुबारकशाह की मृत्यु हो गई।


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. उपदेश या प्रशंसात्मक रचना

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