सद्भावना दिवस

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
यहाँ जाएँ:नेविगेशन, खोजें
सद्भावना दिवस
सद्भावना दिवस
सद्भावना दिवस
विवरण 'सद्भावना दिवस' भारत में प्रत्येक वर्ष भूतपूर्व प्रधानमंत्री राजीव गाँधी की स्मृति में मनाया जाता है। इस दिवस के अवसर पर देश के अलग-अलग राज्यों में सांस्कृतिक कार्यक्रम और प्रतियोगिताएँ आयोजित की जाती हैं।
देश भारत
तिथि '2 अगस्त'
अन्य नाम समरसता दिवस
विशेष विभिन्न क्षेत्रों में प्रतियोगियों द्वारा प्राप्त प्रतिष्ठा को जानने के लिये 'राजीव गाँधी संस्था' द्वारा इस दिन 'राजीव गाँधी राष्ट्रीय सद्भावना पुरस्कार' वितरित किया जाता है।
संबंधित लेख राजीव गाँधी, सोनिया गाँधी, इन्दिरा गाँधी, राहुल गाँधी, प्रियंका गाँधी
अन्य जानकारी भारत को विकसित राष्ट्र बनाने का सपना देखा था। उनकी वर्षगाँठ पर देश के विकास के लिये दिये गये उनके भाषणों के उत्साहयुक्त और प्रेरणादायी शब्द हमेशा याद किये जाते हैं।

सद्भावना दिवस भारत में प्रत्येक वर्ष '20 अगस्त' को मनाया जाता है। इसे 'समरसता दिवस' के नाम से भी जाना जाता है। यह महत्त्वपूर्ण दिवस भारत के दिवंगत भूतपूर्व प्रधानमंत्री राजीव गाँधी की स्मृति में मनाया जाता है। राजीव गाँधी सरकार का एकमात्र मिशन दूसरों के लिये अच्छी भावना रखना था। भारत के सभी धर्मों के बीच सामुदायिक समरसता, राष्ट्रीय एकता, शांति, प्यार और लगाव को लोगों में बढ़ावा देने के लिये यह दिवस हर साल '20 अगस्त' को काँग्रेस पार्टी द्वारा केक काटकर मनाया जाता है।[1]

महत्त्व

राजीव गाँधी की स्मृति में प्रत्येक वर्ष 'सद्भावना दिवस' मनाया जाता है, जिन्होंने भारत को विकसित राष्ट्र बनाने का सपना देखा था। उनके द्वारा देश के लिये किये गये कई सामाजिक और आर्थिक कार्यों के द्वारा भारत को एक विकसित राष्ट्र बनाने के दृष्टिकोण को साफतौर पर देखा जा सकता है। उनकी वर्षगाँठ पर देश के विकास के लिये दिये गये उनके भाषणों के उत्साहयुक्त और प्रेरणादायी शब्द हमेशा याद किये जाते हैं। उनका कहा गया एक-एक शब्द बहुत प्रेरणादायी होता था, जो देश के युवाओं को भारत का नेतृत्व करने के लिये आज भी प्ररित करता है।

सद्भावना दिवस प्रतिज्ञा

"मैं ये पूरी गंभीर प्रतिज्ञा लेता हूँ कि मैं जाति, क्षेत्र, धर्म और भाषा को बिना ध्यान दिये भारत के सभी लोगों की भावनात्मक एकात्मकता और सद्भावना के लिये कार्य करुँगा। और मैं कसम खाता हूँ कि बिना हिंसा के संवैधानिक साधनों और बातचीत के द्वारा एक-दूसरे के बीच की दूरीयों को अवश्य समाप्त कर दूँगा।"[1]

समारोह आयोजन

सद्भावना दिवस के अवसर पर भारत के अलग-अलग राज्यों में कई प्रकार के सांस्कृतिक कार्यक्रम और प्रतियोगिताएँ आयोजित की जाती हैं। इस दिन को लोग पौधे लगाकर, हरियाली को संरक्षित करके, प्राकृतिक सुंदरता को बचाकर, पर्यावरण की सुरक्षा करके साथ ही प्राकृतिक संसाधनों की रक्षा करके मनाते हैं। महत्वपूर्ण पर्यावरण मुद्दे के बारे लोगों को जागरुक करने के लिये इसको पूरी खुशी के साथ मनाया जाता है। फूलों और पुष्पमाला से राजीव गाँधी की प्रतिमा को सजाने के द्वारा भारत में पारिवारिक सदस्यों और करीबी सहभागी, मित्र, राजनीतिक नेता और काँग्रेस द्वारा सद्भावना दिवस को मनाया जाता है। राजीव गाँधी के 'वीरभूमि स्मारक' को लोगों द्वारा सम्मान दिया जाता है। वीरभूमि[2] पर पुष्पमाला के द्वारा राजीव गाँधी की प्रतिमा को श्रद्धांजलि दी जाती है। राष्ट्रीय प्रगति के उनके जुनून को पूरा करने के लिये ये दिन मनाया जाता है।[3][1]

'राजीव गाँधी राष्ट्रीय सद्भावना पुरस्कार' प्राप्तकर्ता

विभिन्न क्षेत्रों में प्रतियोगियों द्वारा प्राप्त प्रतिष्ठा को जानने के लिये 'राजीव गाँधी संस्था' द्वारा इस दिन 'राजीव गाँधी राष्ट्रीय सद्भावना पुरस्कार' वितरित किया जाता है। 'राजीव गाँधी राष्ट्रीय सद्भावना पुरस्कार' प्राप्तकर्ताओं के नाम निम्नलिखित हैं-

'राजीव गाँधी राष्ट्रीय पुरस्कार' प्राप्त व्यक्ति
क्र.सं. व्यक्ति क्र.सं. व्यक्ति
1. मदर टेरेसा 2. सुनील दत्त
3. लता मंगेशकर 4. उस्ताद बिस्मिल्लाह ख़ाँ
5. के. आर. नारायणन 6. जगन नाथ कौल
7. दिलीप कुमार 8. मौलाना वहीदुदीन ख़ाँ
9. कपिला वत्सयान 10. मुहम्मद यूनुस
11. हितेश्वर साईकिया और सुभद्रा जोशी (संयुक्त) 12. निर्मला देशपांडे
13. तीस्ता सीतलवाड़ और हर्ष मंडेर (संयुक्त) 14. एस. एन. सुब्बाराव, स्वामी अग्निवेश और मदारी मोईदीन (संयुक्त)
15. एन. राधाकृष्णन 16. डी. आर. मेहता
17. हेम दत्ता 18. मुजफ़्फ़र अली (भारत के नामी फिल्कार)
19. गौतम भाई 20. स्पिक मैके

राजीव गाँधी

राजीव गाँधी

राजीव गाँधी का जन्म 20 अगस्त, 1944 को मुंबई में हुआ था। उनकी जयंती को देश में 'सद्भावना दिवस' और 'अक्षय ऊर्जा दिवस' के तौर पर मनाया जाता है। वर्ष 1991 के आम चुनाव के प्रचार के दौरान तमिलनाडु के श्रीपेरंबदूर में लिट्टे आतंकियों ने बम विस्फोट से उनकी हत्या कर दी थी। राजीव गांधी इन्दिरा गाँधी के पुत्र, जवाहरलाल नेहरू के पौत्र और भारत के नौवें प्रधानमंत्री थे। वर्ष 1984 में इन्दिरा गाँधी की हत्या के बाद उनके पुत्र राजीव गाँधी भारी बहुमत के साथ प्रधानमंत्री बने थे। उसके बाद 1989 के आम चुनावों में कांग्रेस की हार हुई और पार्टी दो साल तक विपक्ष में रही। 1991 के आम चुनाव में प्रचार के दौरान तमिलनाडु के श्रीपेरंबदूर में एक भयंकर बम विस्फोट में राजीव गाँधी की मौत हो गई।

राजीव गाँधी का विवाह एन्टोनिया मैनो से हुआ, जो उस समय इटली की नागरिक थीं. विवाहोपरान्त उनकी पत्नी ने नाम बदलकर सोनिया गाँधी कर लिया। उनकी शादी 1968 में हुई, जिसके बाद वे भारत में रहने लगीं। राजीव गाँधी व सोनिया गाँधी की दो संतान हैं- राहुल गाँधी तथा प्रियंका गाँधी। राजीव गाँधी की राजनीति में कोई रूचि नहीं थी और वे एयरलाइन पाइलट की नौकरी करते थे। आपातकाल के उपरान्त जब इन्दिरा गाँधी को सत्ता छोड़नी पड़ी थी, तब कुछ समय के लिए राजीव परिवार के साथ विदेश में रहने चले गए थे, परंतु 1980 में अपने छोटे भाई संजय गाँधी की एक हवाई जहाज़ दुर्घटना में असामयिक मृत्यु के बाद माता इन्दिरा गाँधी को सहयोग देने के लिए 1982 में वे राजनीति में आ गए थे। वे अमेठी से लोक सभा का चुनाव जीतकर सांसद बने और 31 अक्टूबर, 1984 को सिक्ख आतंकवादियों द्वारा प्रधानमंत्री इन्दिरा गाँधी की हत्या किए जाने के बाद भारत के प्रधानमंत्री बने और अगले आम चुनावों में सबसे अधिक बहुमत पाकर प्रधानमंत्री बने रहे।[4]


पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. 1.0 1.1 1.2 सद्भावना दिवस (हिन्दी) हिन्दी की दुनिया। अभिगमन तिथि: 21 अगस्त, 2015।
  2. दाह संस्कार की जगह
  3. राजीव गाँधी के 69वें जन्म दिवस पर, लोकनाथ महाराथी के नेतृत्व में भुवनेश्वर में एक सद्भावना साईकिल रैली का आयोजन किया गया था, जो पुराने शहर में मौसिमा मंदिर से मास्टर कैंटीन स्क्वैयर (वानीविहार, रसूलगढ़ और कल्पना चौक तक) में काँग्रेस भवन से शुरु हुआ था। भारत में इस अवसर पर कई स्कूलों में स्टूडेंट रैली आयोजित की गई।
  4. सद्भावना के प्रतीक राजीव गाँधी (हिन्दी) सहारा समय। अभिगमन तिथि: 21 अगस्त, 2015।

संबंधित लेख