चन्द्रबली पाण्डेय

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चन्द्रबली पाण्डेय
चन्द्रबली पाण्डेय
पूरा नाम चन्द्रबली पाण्डेय
जन्म 25 अप्रॅल, 1904
जन्म भूमि आज़मगढ़ ज़िला, उत्तर प्रदेश
मृत्यु 24 जनवरी, 1958
पति/पत्नी आजीवन अविवाहित
मुख्य रचनाएँ उर्दू का रहस्य, भाषा का प्रश्न, राष्ट्रभाषा पर विचार, हिन्दी गद्य का निर्माण आदि
भाषा हिंदी, अंग्रेज़ी, उर्दू, फ़ारसी और अरबी
नागरिकता भारतीय
अन्य जानकारी चन्द्रबली पाण्डेय द्वारा रचित छोटे-बड़े कुल ग्रन्थों की संख्या लगभग 34 है।
इन्हें भी देखें कवि सूची, साहित्यकार सूची

चन्द्रबली पाण्डेय (अंग्रेज़ी: Chandrabali Pandey, जन्म-25 अप्रॅल, 1904 - मृत्यु- 24 जनवरी, 1958) हिन्दी भाषा और साहित्य के उन्नयन, संवर्धन और संरक्षण के लिए समर्पित थे।

जीवन परिचय

चन्द्रबली का जन्म उत्तर प्रदेश के आज़मगढ़ ज़िले के एक गाँव में हुआ था। चन्द्रबली ने हिन्दी की उच्च शिक्षा काशी हिन्दू विश्वविद्यालय से प्राप्त की। आचार्य रामचन्द्र शुक्ल के आप प्रिय शिष्य थे। विश्वविद्यालय की परिधि से बाहर रहकर हिन्दी में शोध कार्य करने वालों में इनका प्रमुख स्थान है। हिन्दी के साथ अंग्रेज़ी, उर्दू, फ़ारसी, अरबी तथा प्राकृत भाषाओं के ज्ञाता चन्द्रबली पाण्डेय के सम्बन्ध में भाषा शास्त्री डॉ. सुनीति कुमार चटर्जी की यह उक्ति सटीक है कि, 'पाण्डेय जी के एक-एक पैंफलेट भी डॉक्टरेट के लिए पर्याप्त हैं।' आजीवन अविवाहित रहकर चन्द्रबली ने हिन्दी की सेवा की थी। अपनी व्यक्तिगत सुख-सुविधा के लिए चन्द्रबली ने कभी चेष्टा नहीं की थी। चन्द्रबली पाण्डेय द्वारा रचित छोटे-बड़े कुल ग्रन्थों की संख्या लगभग 34 है।

प्रमुख रचनाएँ

पाण्डेय जी की प्रमुख रचनाएँ हैं, जो इस प्रकार है:-

  • उर्दू का रहस्य
  • तसव्वुफ़ अथवा सूफ़ीमत
  • भाषा का प्रश्न
  • राष्ट्रभाषा पर विचार
  • कालिदास
  • केशवदास
  • तुलसीदास
  • हिन्दी कवि चर्चा
  • शूद्रक
  • हिन्दी गद्य का निर्माण

निधन

चन्द्रबली पाण्डेय का निधन 24 जनवरी, 1958 ई. में हो गया था।


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

लीलाधर, शर्मा भारतीय चरित कोश (हिन्दी)। भारतडिस्कवरी पुस्तकालय: शिक्षा भारती, 265।

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