- इसकी उत्पत्ति राँची, झारखण्ड के नगड़ी गाँव से हुई है।
- यहाँ से यह निकल कर सीधे पश्चिम दिशा में बहती हुई लोहरदग्गा पहुँचती है।
- लोहरदग्गा से 8 किलोमीटर उत्तर-पूर्व में यह दक्षिण दिशा की ओर मुड़ जाती है और यह लोहरदग्गा ज़िला तथा गुमला ज़िला होते हुए सिंहभूम में प्रवेश कर जाती है।
- अन्त में यह नदी उड़ीसा में प्रवेश करती है।
- यहाँ से आगे बढ़ कर दक्षिणी कोयल गंगापुर के पास शंख नामक नदी में मिल जाती है।
- इसकी सबसे बड़ी सहायक नदी कारो है।
- इसी स्थान पर विवादास्पद कोयलाकारो परियोजना का निर्माण किया जाना है।
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