"गीता 10:32": अवतरणों में अंतर
छो (Text replace - "<td> {{महाभारत}} </td> </tr> <tr> <td> {{गीता2}} </td>" to "<td> {{गीता2}} </td> </tr> <tr> <td> {{महाभारत}} </td>") |
व्यवस्थापन (वार्ता | योगदान) छो (Text replace - "तत्व " to "तत्त्व ") |
||
पंक्ति 32: | पंक्ति 32: | ||
|- | |- | ||
| style="width:100%;text-align:center; font-size:110%;padding:5px;" valign="top" | | | style="width:100%;text-align:center; font-size:110%;padding:5px;" valign="top" | | ||
अर्जुन=हे अर्जुन; सर्गाणाम्=सृष्टियों का; आदि:=आदि अन्त:=अन्त च=और; मध्यम्=मध्य; च=भी; अहम्=मैं; एव=ही हूं(तथा); विद्यानाम्=विद्याओं में; अध्यात्मविद्या=अध्यात्मविद्या अर्थात् ब्रह्मविद्या; प्रवदताम्=परस्पर में विवाद करने वालों में; वाद:= | अर्जुन=हे अर्जुन; सर्गाणाम्=सृष्टियों का; आदि:=आदि अन्त:=अन्त च=और; मध्यम्=मध्य; च=भी; अहम्=मैं; एव=ही हूं(तथा); विद्यानाम्=विद्याओं में; अध्यात्मविद्या=अध्यात्मविद्या अर्थात् ब्रह्मविद्या; प्रवदताम्=परस्पर में विवाद करने वालों में; वाद:=तत्त्व निर्णय के लिये किया जाने वाला वाद; (अस्मि)=हूँ; | ||
|- | |- | ||
|} | |} |
06:58, 17 जनवरी 2011 का अवतरण
गीता अध्याय-10 श्लोक-32 / Gita Chapter-10 Verse-32
|
||||
|
||||
|
||||
|
||||