"गीता 11:53": अवतरणों में अंतर
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जिस प्रकार तुमने मुझको देखा है- इस प्रकार चतुर्भुज रूप वाला मैं न [[वेद|वेदों]]<ref>वेद [[हिन्दू धर्म]] के प्राचीन पवित्र ग्रंथों का नाम है, इससे वैदिक संस्कृति प्रचलित हुई।</ref> से, न तप से, न दान से, और न [[यज्ञ]] से ही देखा जा सकता हूँ ।।53।। | |||
जिस प्रकार तुमने मुझको देखा है- इस प्रकार चतुर्भुज रूप वाला मैं न < | |||
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==संबंधित लेख== | |||
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08:35, 6 जनवरी 2013 के समय का अवतरण
गीता अध्याय-11 श्लोक-53 / Gita Chapter-11 Verse-53
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टीका टिप्पणी और संदर्भ
संबंधित लेख |
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