सम्पूर्ण धर्मों को अर्थात् सम्पूर्ण कर्तव्य कर्मों को मुझमें त्याग कर तू केवल एक मुझ सर्वशक्तिमान, सर्वाधार परमेश्वर की ही शरण में आ जा। मैं तुझे सम्पूर्ण पापों से मुक्त कर दूँगा, तू शोक मत कर ।।66।।
|
Resigning all your duties to Me, the all-powerful and all-supporting Lord, take refuge' in Me alone. I shall absolve you of all sins, worry not.(66)
|