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जमुनाके नीर तीर धेनु चरावे। मुखपर मुरली बजैया॥ मे०॥2॥ | जमुनाके नीर तीर धेनु चरावे। मुखपर मुरली बजैया॥ मे०॥2॥ | ||
मोर मुगुट पीतांबर शोभे। कान कुंडल झलकैया॥ मे०॥3॥ | मोर मुगुट पीतांबर शोभे। कान कुंडल झलकैया॥ मे०॥3॥ | ||
ब्रिंदावनके कुंज गलिनमें नाचत है दो भैया॥ | ब्रिंदावनके कुंज गलिनमें नाचत है दो भैया॥ मे०॥4॥ | ||
मीरा कहे प्रभु गिरिधर नागर। चरनकमल लपटैया॥ | मीरा कहे प्रभु गिरिधर नागर। चरनकमल लपटैया॥ ने०॥5॥ | ||
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11:21, 1 नवम्बर 2014 के समय का अवतरण
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मेरी लाज तुम रख भैया। नंदजीके कुंवर कनैया॥ध्रु०॥ |